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पिता के ‘क्लासमेट’ रहे अटल बिहारी वाजपेयी से जुड़ी 10 बड़ी दिलचस्प बातें
साल 1977 में जनता सरकार में विदेश मंत्री के तौर पर अटल बिहारी वाजपेयी ने संयुक्त राष्ट्रसंघ में अपना पहला भाषण हिंदी में दिया था.

नई दिल्ली: पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी कल से दिल्ली के एम्स में भर्ती हैं. यूरीन में इनफैक्शन की वजह से उन्हें भर्ती कराया गया था. डॉक्टरों के मुताबिक उनकी हालत में अब काफी सुधार है. अटल बिहारी वाजपेयी न सिर्फ देश के तीन बार प्रधानमंत्री रहे, बल्कि उनका शुमार देश के एक हरदिल अजीज राजनेता के तौर पर किया जाता है. लोकप्रिय राजनेता, ओजस्वी कवि, सम्मानपूर्वक समाजसेवी और नरम हिंदूत्व के रूप में उनके व्यक्तित्व की कई छवियां हैं.
जानिए अटल जी के जीवन की ऐसी 10 दिलचस्प बातें, जिनकी चर्चा के बिना उन्हें याद करना अधूरा है.
- राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) में शामिल होने से पहले अटल बिहारी वाजपेयी ने साम्यवाद के रूप में शुरुआत की थी, लेकिन बाद में बाबासाहेब आप्टे से प्रभावित होकर साल 1939 में आरएसएस से जुड़कर उन्होंने साम्यवाद को छोड़ दिया. साल 1947 में अटल आरएसएस के फुल टाइम वर्कर बन गए.
- ब्रिटिश सरकार के खिलाफ चलाए गए ‘भारत छोड़ो आंदोलन’ के दौरान साल 1942 में अटल विहारी वाजपेयी को उनके बड़े भाई प्रेम बिहारी वाजपेयी के साथ गिरफ्तार कर लिया गया था.
- अटल बिहारी वाजपेयी और उनके पिता कृष्ण बिहारी वाजपेयी ने कानपुर के डीएवी कॉलेज से एक साथ कानून की पढ़ाई की थी. इतना ही नहीं दोनों ने एक ही क्लास में दाखिला लिया था. दोनों को होस्टल में भी एक ही कमरा दिया गया था.
- साल 1953 में अटल जी भारतीय जनसंघ के संस्थापक श्यामा प्रसाद मुखर्जी के साथ आमरण अनशन में बैठे थे. कश्मीर को भारतीय जनसंघ में मिलाए जाने की मांग को लेकर श्यामा प्रसाद मुखर्जी ने भूख हड़ताल की थी.
- साल 1996 चुनाव में बीजेपी सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी थी. राष्ट्रपति ने सबसे बड़ी पार्टी के नेता के तौर पर अटल बिहारी वाजपेयी को सरकार बनाने का न्योता दिया. पहली बार प्रधानमंत्री बने अटलजी विश्वास प्रस्ताव रखने के लिए खड़े हुए और भूल गए कि वो खुद प्रधानमंत्री बन चुके हैं. जैसे ही उन्होंने लोकसभा में खड़े होकर कहा, ‘प्रधानमंत्री जी’, वैसे ही पूरा सदन हंसी से गूंज उठा.
- साल 1977 में जनता सरकार में विदेश मंत्री के तौर पर अटल बिहारी वाजपेयी ने संयुक्त राष्ट्रसंघ में अपना पहला भाषण हिंदी में दिया था.
- साल 2000 के बाद अटल जी की तबियत अचानक से बिगड़ गई. साल 2001 में जब अटल बिहारी वाजपेयीप्रधानमंत्री थे, तब अटल जी के दाएं घुटने का ऑपरेशन हुआ था. वहीं, साल 2009 में अटल जी को आघात (स्ट्रोक) लगा था और इसके बाद उन्हें बोलने में समस्या होने लगी थी.
- एक ब्राह्मण परिवार में जन्मे अटल जी को मांस-मच्छी खाने का बहुत शोक था. वह प्रोन्स खाने के शौकीन थे. पुरानी दिल्ली का करीम होटल उनका पसंदीदा मांसाहारी होटल है.
- अटल बिहारी वाजपेयी सिर्फ एक बेहतरीन पीएम ही नहीं थे, बल्कि एक बेहतरीन सांसद भी थे. वाजपेयी 10 बार लोकसभा और दो बार राज्यसभा के सदस्य रहे. वह उत्तर प्रदेश, दिल्ली, मध्य प्रदेश और गुजरात से सांसद रहे.
- अटल बिहारी वाजपेयी देश में एक अच्छे कवि के रूप में जाने जाते हैं. एक बार उन्होंने एक इंटरव्यू में कहा था कि वह एक राजनेता के रूप में नहीं बल्कि एक कवि के रूप में अपनी पहचान बनाना चाहते हैं.
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Last Updated: Sat 19 July, 2025 at 10:52 am | Data Source: MoHFW/ABP Live Desk