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Losing Weight: करना चाहते हैं वेट लूज तो रनिंग शूज खरीदते वक़्त ध्यान में रखें ये बातें, मिलेगा दोगुना फायदा
वजन कम करने के लिए जितना जरूरी वर्कआउट है उतना ही जरूरी वर्कआउट एसेसरीज भी हैं. अच्छे जूते रनिंग में आपको दोगुना फायदा पंहुचा सकते हैं.
रनिंग के जरुरी है की जूतों का वजन कम हो
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घंटों की सैर से करीब 150 कैलोरी तक बर्न की जा सकती है. स्वास्थ्य विशेषज्ञ हर रोज या सप्ताह में कम से कम 5 दिन चलने की सलाह देते हैं. वॉकिंग एक आसान एक्सरसाइज है जिसमें आपको अन्य किसी भी उपकरण की जरूरत नहीं पड़ती. साथ ही ये आरामदायक भी है. वॉकिंग के साथ-साथ वॉकिंग एक्सेसरीज भी मायने रखती है. अगर वॉकिंग एक्सेसरीज जैसे कपड़े और जूते कंफर्टेबल हो तो इससे दोगुना फायदा मिलता है. कई लोग रनिंग शूज खरीदते वक्त कुछ भी खरीद लाते हैं जोकि सरासर गलत है. रनिंग के लिए अच्छे शूज और उनका वजन बेहद मायने रखता है. भारी शूज आपको दौड़ने में परेशानी और दर्द दे सकते हैं.
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हम में से ज्यादातर लोग जब जूते खरीदने निकलते हैं तो उसका लुक देखकर उसे घर ले आते हैं जोकि सबसे बड़ी गलती है. जूते खरीदते वक्त हमें अपना पैर , वजन और जूते का वेट देखना चाहिए. ठीक उसी प्रकार जब आप ड्रेस खरीदने जाते हैं तो उसकी फिटिंग भी मायने रखती है.
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कितना हो जूतों का वजन? रनिंग शूज बेचने वाली कंपनी नाइके के जूतों का वजन आमतौर पर 184 ग्राम से लेकर 368 ग्राम के बीच होता है. न्यू यॉर्क शहर के पोडियाट्रिस्ट, नेल्या लोबकोवा ने बताया कि एक अच्छे या आइडियल रनिंग शूज का वजन 227 ग्राम के आस-पास होना चाहिए. 300 ग्राम से अधिक वजन वाले जूते भारी होते हैं जो रनिंग के लिए सही नहीं हैं. लोबकोवा कहती हैं कि मिडिल सोल का वजन जूतों के वजन को प्रभावित करता है. वास्तव में मिडिल सोल एक सामान्य चलने वाले जूते के वजन का 75% तक होता है. जूते का मिडसोल आउटसोल से जुड़ा होता है और ये जूते की कुशनिंग की तरह काम करता है.
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इंजरी: सही जूते पहनने और उनमें चलने से आपके पैरों पर कम बोज पड़ता है. ढीले और खराब फिटिंग के जूते न सिर्फ आपके पैरों को खराब करते हैं बल्कि आपकी एड़ी, टखनों, घुटनों, कूल्हों और पीठ के निचले हिस्से पर जबरदस्त दबाव डालते है जिससे दर्द शुरू हो सकता है.
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पैर की उंगलियों के लिए हो जगह: ये सुझाव हमेशा दिया जाता है कि जूते खरीदते समय पैर की उंगलियों को हिलाएं, आपके पैर की उंगलियों और जूतों के नोक के बीच कुछ दूरी होनी चाहिए जिससे जब आप चलते और दौड़ते हैं तो आपके पैर की उंगलियां जूते के तलवे पर सही पकड़ बना सके. अच्छे जूते शिन स्प्लिन्ट्स, टेंडोनाइटिस, एड़ी के दर्द आदि के खतरे को कम करते हैं.
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सैंडल चप्पल पहन कर चलना सही नहीं: डायबिटोलॉजिस्ट डॉक्टर राहुल बक्शी ने बताया कि वे अपने अधिकांश मधुमेह रोगियों को हमेशा एक अच्छा जूता खरीदने के लिए कहते हैं. क्योंकि ये स्थिरता, कुशनिंग, लचीलापन प्रदान करते हैं. साथ ही चोट लगने का खतरा भी कम हो जाता है.
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महत्वपूर्ण बातें: जूते खरीदते वक्त जल्दबाजी न करें. जूते खरीदने से पहले आर्च, पैरों का आकार और वजन जान लें. सैंडल और चप्पल पहनकर लंबी दूरी न तय करें
Published at : 12 Dec 2022 02:47 PM (IST)
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