गांदरबल में मुस्लिम युवक को पत्थर की खदान के बीच मिला शिवलिंगनुमा ढांचा, फिर जो हुआ उसने सबको चौंकाया!
Ganderbal News: गांदरबल की पत्थर खदान में मिला शिवलिंगनुमा ढांचा धार्मिक सौहार्द का प्रतीक बना. स्थानीय मुस्लिमों ने सूचना दी और कश्मीरी पंडितों ने मौके पर पूजा-अर्चना की.

जम्मू-कश्मीर के गांदरबल जिले में एक अनोखी घटना सामने आई है. यहां चेक्की यांगूरा मनसबाल क्षेत्र की पत्थर की खदान में शिवलिंग जैसी आकृति मिली है. शिवलिंग मिलने की सूचना स्थानीय मुस्लिमों ने तुरंत नजदीकी सशस्त्र सीमा बल (SSB) पोस्ट और प्रशासन को दी.
इस दौरान कश्मीरी पंडितों को भी जानकारी दी गई, जिन्होंने मौके पर पहुंचकर पूजा-अर्चना शुरू की. यह घटना स्थानीय स्तर पर धार्मिक सौहार्द और भाईचारे की मिसाल बन गई है।
स्थानीय मुस्लिमों ने दी पहली जानकारी
जानकारी के मुताबिक, खदान में काम कर रहे मुस्लिम समुदाय के लोगों ने जैसे ही शिवलिंग जैसी आकृति देखी, तुरंत इसे प्रशासन और सुरक्षा बलों तक पहुंचाया. स्थानीय मुस्लिमों ने SSB पोस्ट सैनिक स्कूल मनसबाल को सूचित किया. SSB ने तुरंत जिला प्रशासन गांदरबल को जानकारी दी.
प्रशासन ने मामले को संवेदनशील मानते हुए कश्मीरी पंडित समुदाय को भी इस बारे में अवगत कराया. इस पूरे घटनाक्रम में किसी भी तरह का विवाद न होकर आपसी विश्वास और धार्मिक आस्था का सम्मान देखने को मिला.
कश्मीरी पंडितों ने की पूजा-अर्चना
सूचना मिलने के बाद कश्मीरी पंडित समुदाय के लोग मौके पर पहुंचे. उन्होंने शिवलिंगनुमा संरचना के सामने विशेष पूजा और प्रार्थना की. खास बात यह रही कि पूजा-अर्चना स्थानीय मुस्लिमों की मौजूदगी में हुई, जिससे धार्मिक एकता और आपसी भाईचारे का माहौल और गहरा हुआ. पूजा के दौरान स्थानीय मुसलमान भी उपस्थित रहे. कश्मीरी पंडितों ने आस्था के साथ पूजा संपन्न की. पूरे क्षेत्र में शांति और सहयोग का संदेश दिया गया.
अईजाज अहमद की गवाही
इस खोज के केंद्र में स्थानीय मुस्लिम अईजाज अहमद इलाही रहे, जिन्होंने शिवलिंग जैसी आकृति सबसे पहले देखी. उन्होंने तुरंत SSB को इसकी जानकारी दी. भावुक होते हुए उन्होंने बताया कि कुछ साल पहले उनके पिता की मौत इसी पत्थर की खदान में एक हादसे के दौरान हुई थी. इस वजह से यह स्थान उनके लिए पहले से ही भावनात्मक जुड़ाव रखता है. अब यहां शिवलिंगनुमा संरचना मिलना उनके लिए एक विशेष अनुभव बन गया.
इस घटना ने जहां कश्मीरी पंडित समुदाय को उनकी धार्मिक आस्था से जोड़ने का अवसर दिया, वहीं मुस्लिम समुदाय की सतर्कता और सहयोग ने पूरे क्षेत्र में भाईचारे का संदेश फैलाया. गांदरबल की यह घटना इंसानियत और परस्पर विश्वास का अद्भुत उदाहरण बनकर सामने आई है.
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