दिल्ली में बीमा पॉलिसी रिन्यू कराने के नाम पर लाखों की ठगी, पुलिस के शिकंजे में ऐसे आए जालसाज
Delhi News: दिल्ली पुलिस की टीम ने बीमा रिन्युअल कराने का झांसा देकर ठगी करने वाले दो जालसाज को पकड़ा है. दोनों की गिरफ्तारी के बाद अन्य आरोपियों की तलाश में छापेमारी शुरू कर दी गयी है.
Delhi News: दिल्ली में बीमा पॉलिसी रिन्यू कराने के नाम पर ठगी का खुलासा हुआ है. शाहदरा जिले की साइबर पुलिस ने दो जालसाजों को पकड़ा है. जालसाज जीवन बीमा पॉलिसी को रिन्यू कराने का झांसा देकर ठगी की वारदात को अंजाम देते थे.
आरोपियों की पहचान उमा शंकर और कमल शर्मा उर्फ सोनू के रूप में हुई है. पुलिस ने जालसाजों के पास से दो लाख 90 हजार कैश और हुंडई कार बरामद किया है. दोनों ठग मयूर विहार फेज-1 और नाथू कॉलोनी के रहने वाले हैं.
डीसीपी प्रशांत गौतम ने बताया कि संतोष कुमार राम को मार्च 2024 में अज्ञात नंबर से कॉल आया. कॉलर ने बीमा के रिन्युअल कराने का लालच दिया. झांसे में आकर पीड़ित 5 लाख 58 हजार से ज्दाया की रकम गंवा बैठा. ठगी का एहसास होने पर रकम की मांग की. अज्ञात शख्स ने कॉल को रिसीव करना बंद कर दिया. पीड़ित ने पुलिस से शिकायत की. शिकायत के आधार पर तफ्तीश शुरू की गयी. जांच के दौरान पता चला कि ठगी की रकम से एक लाख 4 हजार रुपये आईसीआईसीआई बैंक के एक खाते में ट्रांसफर हुआ है.
बीमा पॉलिसी रिन्युअल के नाम पर ठगी
खाता उमाशंकर के नाम पर था. पुलिस ने बैंक खाते से मोबाइल नंबर को निकाला. नंबर के आधार पर खाताधारक की तलाश शुरू की गयी. जांच में पुलिस को पता चला कि संदिग्ध के अन्य बैंकों में भी खाते हैं. संदिग्ध के बैंक लेनदेन का विश्लेषण किया गया. तकनीकी पहलुओं पर काम करते हुए गुप्त सूत्रों की भी सहायता ली गयी. नैनीताल बैंक से मोटी रकम निकालने वाले उमाशंकर का पता चल गया. तकनीकी निगरानी और गुप्त सूचना के आधार पर 11 अक्टूबर को पुलिस ने छापेमारी कर उमाशंकर को दबोच लिया.
पुलिस के शिकंजे में आये दो जालसाज
तलाशी लेने पर 2.9 लाख रुपये नकद, विभिन्न बैंकों के पासबुक और डेबिट कार्ड बरामद हुए. पूछताछ के बाद उमाशंकर की निशानदेही पर पुलिस ने ठगी की रकम कलेक्ट करने वाले सह-आरोपी कमल शर्मा उर्फ सोनू को भी गिरफ्तार कर लिया.
पुलिस के मुताबिक उमाशंकर एक साल पहले कमल शर्मा उर्फ सोनू के संपर्क में आया था. कमल शर्मा कमीशन लेने के बाद ठगी की राशि अन्य आरोपियों को सौंप देता है. सौरभ उर्फ हनी कुमार के लिए भी कमल शर्मा काम करता है. ठगी का खुलासा करने के लिए एसीपी ऑपरेशन गुरुदेव सिंह की देखरेख में एसएचओ मनीष कुमार वर्मा, एसआई विक्रांत चौधरी, हेड कॉन्स्टेबल अजीत, राजेश और कॉन्स्टेबल मनीष की टीम का गठन किया गया था. पुलिस की टीम ठग गिरोह के अन्य सदस्यों की तलाश में जगह-जगह छापेमारी कर रही है.
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