एक्सप्लोरर
ATM कार्ड बंद हो गया है तो तुरंत दूसरा मंगवाएं, नहीं तो हो जाएगा नुकसान, जानें वजह
ATM कार्ड ब्लॉक होने आप सिर्फ ATM मशीन से पैसे ही नहीं निकाल पाएंगे. बल्कि इसके चलते हैं आपको और भी नुकसान उठाने पड़ सकते हैं. इसलिए कार्ड ब्लॉक होने के बाद नया कार्ड तुरंत मंगाना जरूरी है.
ATM कार्ड हर किसी की जिंदगी में जरूरी हिस्सा बन चुका है. पैसे निकालना, पेमेंट करना या ऑनलाइन ट्रांजैक्शन. लगभग हर जगह इसकी जरूरत पड़ती है. लेकिन कई बार कार्ड ब्लॉक हो जाता है या एक्सपायर होने के बाद भी लोग नया नहीं बनवाते.
1/6

कई लोग सोचते हैं कि कैश तो UPI से निकल जाएगा. फिर ATM कार्ड तुरंत बनवाने की क्या जरूरत है. लेकिन कार्ड बंद होने के चलते ATM से पैसे निकालने में दिक्कत नहीं आती है. बल्कि इसके चलते आपके दूसरे काम भी रुक सकते हैं.
2/6

अगर आपने अपने कार्ड से ऑटो-डेबिट सेट किया है. जैसे EMI, क्रेडिट कार्ड बिल या लोन की किस्त, तो कार्ड ब्लॉक होने पर यह पेमेंट पूरे नहीं होंगे. बैंक आपके अकाउंट से पैसा काट ही नहीं पाएगा. और जब पेमेंट वक्त पर नहीं होगा. तो पेनल्टी और लेट फीस लग जाएगी.
3/6

यह सिलसिला सिर्फ लेट फीस तक ही नहीं रुकती है. बल्कि बार-बार ऑटो-डेबिट फेल होने से आपकी बैंकिंग हिस्ट्री भी खराब हो जाती है. बैंक या लेंडर इसे गैर-जिम्मेदारी मानते हैं. यानी आपकी जरा सी लापरवाही से आपका रिकॉर्ड नेगेटिव हो सकता है.
4/6

इसका सीधा असर आपके CIBIL स्कोर पर पड़ता है. एक बार स्कोर नीचे गया. तो नया लोन या क्रेडिट कार्ड की एप्रूवल मुश्किल हो जाती है. यानी सिर्फ कार्ड ब्लॉक रहने की वजह से आपको भविष्य में फाइनेंशियल दिक्कत झेलनी पड़ सकती है.
5/6

अगर कार्ड ब्लॉक हो गया है तो सबसे पहले बैंक से तुरंत कॉन्टैक्ट करें. नया कार्ड मंगाने की प्रक्रिया आसान है और ज्यादातर बैंक ऑनलाइन रिक्वेस्ट भी लेते हैं. नया कार्ड मिलने तक कोशिश करें कि पेमेंट मैन्युअल तरीके से समय पर करते रहें. ताकि पेनल्टी न लगे.
6/6

कुलमिलाकर कहें तो ATM कार्ड को हल्के में लेना भारी पड़ सकता है. यह सिर्फ कैश निकालने का जरिया नहीं. बल्कि कार्ड बंद होने से और भी प्राॅब्लम हो सकते हैं. इससे न सिर्फ पैसे का नुकसान होगा बल्कि आपका CIBIL स्कोर भी गिर सकता है.
Published at : 06 Sep 2025 04:55 PM (IST)
और देखें
Advertisement
Advertisement
Advertisement
टॉप हेडलाइंस
इंडिया
बिहार
विश्व
उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड

























