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हिरन लेपर्ड मोर लकड़ बग्घे... की बढ़ी संख्या देख वन्यजीव प्रेमियों में खुशी की लहर, कैमरे में कैद खूबसूरत तस्वीरें
Rajasthan Wildlife Census: वन विभाग के प्रशिक्षित कर्मियों ने वाटर होल मेथड के जरिये वन्य जीवों की गणना सफलतापूर्वक पूरी की. पशु पक्षियों का बढ़ा हुआ कुनबा देख वन्य जीव प्रेमी काफी खुश हैं.
![Rajasthan Wildlife Census: वन विभाग के प्रशिक्षित कर्मियों ने वाटर होल मेथड के जरिये वन्य जीवों की गणना सफलतापूर्वक पूरी की. पशु पक्षियों का बढ़ा हुआ कुनबा देख वन्य जीव प्रेमी काफी खुश हैं.](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2024/05/25/d5d0d26b534cf73ebdd26355728de7031716620549587651_original.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=720)
उदयपुर के जंगलों में बढ़ी वन्यजीवों की संख्या
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![वन विभाग की तरफ से वैशाख पूर्णिमा पर 24 घंटे तक वन्यजीवों की गणना की गई. इस गणना में जंगलों के बीच लेपर्ड सहित कई वन्यजीव दिखाई पड़े.](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2024/05/25/93ae475371a2e7305f76c8c4460c6d690e2fe.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=720)
वन विभाग की तरफ से वैशाख पूर्णिमा पर 24 घंटे तक वन्यजीवों की गणना की गई. इस गणना में जंगलों के बीच लेपर्ड सहित कई वन्यजीव दिखाई पड़े.
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![एक साथ बड़ी संख्या में वन्यजीवों का कुनबा बढ़ने से वन्यजीव प्रेमियों में खुशी की लहर दौड़ गई. इस तरह उदयपुर की बात करें, तो यहां पहले ही लेपर्ड बड़ी संख्या मौजूद हैं.](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2024/05/25/df8cbd8c83af7e06e6c84f22fa16a57204748.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=720)
एक साथ बड़ी संख्या में वन्यजीवों का कुनबा बढ़ने से वन्यजीव प्रेमियों में खुशी की लहर दौड़ गई. इस तरह उदयपुर की बात करें, तो यहां पहले ही लेपर्ड बड़ी संख्या मौजूद हैं.
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![हालांकि इस बार जिस तरह से गणना के समय दिखाई पड़े हैं, इससे इनके और बढ़ने की पूरी संभावना जताई जा रही है. वन विभाग की गणना में हिरन, पैंथर, जरख, लेपर्ड, लकड़ बग्घे, मोर, जंगली सुअर सहित कई जानवर और पशु पक्षी दिखाई पड़े.](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2024/05/25/939b27e3f43f70b52b519fe70b1ccdd2769cc.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=720)
हालांकि इस बार जिस तरह से गणना के समय दिखाई पड़े हैं, इससे इनके और बढ़ने की पूरी संभावना जताई जा रही है. वन विभाग की गणना में हिरन, पैंथर, जरख, लेपर्ड, लकड़ बग्घे, मोर, जंगली सुअर सहित कई जानवर और पशु पक्षी दिखाई पड़े.
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![गुरुवार (23 मई) की सुबह से शुक्रवार तक, लगभग 24 घंटे तक वन विभाग की तरफ से वन्यजीवों की गणना की गई. इससे पहले सभी को प्रशिक्षण भी दिया गया था.](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2024/05/25/e4d9a93de668a50c8b49eaa6daee2e99b86af.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=720)
गुरुवार (23 मई) की सुबह से शुक्रवार तक, लगभग 24 घंटे तक वन विभाग की तरफ से वन्यजीवों की गणना की गई. इससे पहले सभी को प्रशिक्षण भी दिया गया था.
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![वन्य जीवों की गणना के लिए वाटर होल बनाए गए थे. प्रशिक्षित वनकर्मी अपने- अपने क्षेत्र में जलाशयों के पास पहुंचे और मचान बनाकर बैठे. कई जगह कैमरा ट्रैप भी लगाए गया था.](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2024/05/25/020987764fc0877907aad15a85b0b289d9590.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=720)
वन्य जीवों की गणना के लिए वाटर होल बनाए गए थे. प्रशिक्षित वनकर्मी अपने- अपने क्षेत्र में जलाशयों के पास पहुंचे और मचान बनाकर बैठे. कई जगह कैमरा ट्रैप भी लगाए गया था.
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![कुछ जगहों पर तो वन विभाग के कर्मियों ने जलाशयों पर वन्यजीवों को देखा और कैमरे में उनकी तस्वीरें कैद की. जबकि कुछ जगह कैमरे ट्रैप से वन्य जीवों की फोटो सामने आए.](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2024/05/25/b5d788cea30813d5dd1fad84bd907fe4b305e.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=720)
कुछ जगहों पर तो वन विभाग के कर्मियों ने जलाशयों पर वन्यजीवों को देखा और कैमरे में उनकी तस्वीरें कैद की. जबकि कुछ जगह कैमरे ट्रैप से वन्य जीवों की फोटो सामने आए.
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![रिपोर्ट के अनुसार, पिछले साल बारिश के कारण गणना प्रभावित हुई थी. इससे पहले कोरोना काल में भी वन्य जीवों की गणना नहीं हो पाई थी.](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2024/05/25/48cfb4c612a5d216d05338de60fd479e987cd.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=720)
रिपोर्ट के अनुसार, पिछले साल बारिश के कारण गणना प्रभावित हुई थी. इससे पहले कोरोना काल में भी वन्य जीवों की गणना नहीं हो पाई थी.
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![इससे पहले साल 2019 में उदयपुर में लेपर्ड की संख्या 50 सामने आई थी, जो को इस बार बढ़ने की पूरी संभावना है. बता दें, उदयपुर प्रदेश का सबसे बड़ा जंगल है. ऐसे में यहां बड़ी संख्या में लेपर्ड सहित कई वन्यजीव रहते हैं.](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2024/05/25/bea34bb8e08ff680fb27c0ed38384ccf2b1da.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=720)
इससे पहले साल 2019 में उदयपुर में लेपर्ड की संख्या 50 सामने आई थी, जो को इस बार बढ़ने की पूरी संभावना है. बता दें, उदयपुर प्रदेश का सबसे बड़ा जंगल है. ऐसे में यहां बड़ी संख्या में लेपर्ड सहित कई वन्यजीव रहते हैं.
Published at : 25 May 2024 02:35 PM (IST)
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उमेश चतुर्वेदी, वरिष्ठ पत्रकारCommentator
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