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Baisakhi 2024: बैसाखी का त्यौहार क्यों मनाया जाता है?, जानें वजह
Baisakhi 2024: बैसाखी का त्योहार सिख धर्म का प्रमोख त्योहार है. बैसाखी के दिन सिख लोग एक दूसरे को बधाई और शुभकामनाएं देते हैं, आइये जानते हैं क्यों मनाया जाता है बैसाखी का त्योहार.
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बैसाखी 2024
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![बैसाखी का पर्व सिख धर्म का प्रमुख त्योहार है. हर साल 13 या 14 अप्रैल के दिन बैसाखी का पर्व मनाया जाता है.](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2024/04/03/33f9a943c22304c4f8f121a019c1e7a003771.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=720)
बैसाखी का पर्व सिख धर्म का प्रमुख त्योहार है. हर साल 13 या 14 अप्रैल के दिन बैसाखी का पर्व मनाया जाता है.
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![साल 2024 में बैसाखी 13 अप्रैल, शनिवार के दिन पड़ेगी. बैसाखी को मेष संक्रांति के नाम से भी जानते हैं. इस दिन सूर्य मीन राशि से मेष राशि में प्रवेश करता है.](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2024/04/03/d4c25576c09d65f9ef618ff56a09cac211c72.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=720)
साल 2024 में बैसाखी 13 अप्रैल, शनिवार के दिन पड़ेगी. बैसाखी को मेष संक्रांति के नाम से भी जानते हैं. इस दिन सूर्य मीन राशि से मेष राशि में प्रवेश करता है.
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![उत्तर भारत में पंजाब, हरियाणा के क्षेत्र में सिखों के लिए बैसाखी का पर्व बहुत महत्व रखता है. साथ ही इस दिन को सिख, सिख नव वर्ष के रूप में मनाते हैं.](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2024/04/03/c6387c66a54f5eaaaacfdb9439a3d5830086d.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=720)
उत्तर भारत में पंजाब, हरियाणा के क्षेत्र में सिखों के लिए बैसाखी का पर्व बहुत महत्व रखता है. साथ ही इस दिन को सिख, सिख नव वर्ष के रूप में मनाते हैं.
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![बैसाखी को खालसा पन्थ के स्थापना दिवस के रूप में भी मनाया जाता है. खालसा पन्थ में उच्च और निम्न जाति-समुदायों के बीच भेदभाव को खत्म किया था.](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2024/04/03/81b6495a001b651dd8fdc05f00bfabbb786a3.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=720)
बैसाखी को खालसा पन्थ के स्थापना दिवस के रूप में भी मनाया जाता है. खालसा पन्थ में उच्च और निम्न जाति-समुदायों के बीच भेदभाव को खत्म किया था.
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![सिखों के 10वें, गुरू श्री गुरु गोविंद सिंह जी ने खालसा पंथ की स्थापना की थी. तभी से बैसाखी का त्योहार मनाया जाता है. मान्यता है इस दिन रबी की फसल पककर पूरी तरह से तैयार हो जाती है और उनकी कटाई भी शुरू हो जाती है. इसी खुशी में लोग ईश्वर को धन्यवाद करते हैं.](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2024/04/03/83446989b58afac2ff1df9737cde0b0b64ac0.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=720)
सिखों के 10वें, गुरू श्री गुरु गोविंद सिंह जी ने खालसा पंथ की स्थापना की थी. तभी से बैसाखी का त्योहार मनाया जाता है. मान्यता है इस दिन रबी की फसल पककर पूरी तरह से तैयार हो जाती है और उनकी कटाई भी शुरू हो जाती है. इसी खुशी में लोग ईश्वर को धन्यवाद करते हैं.
Published at : 03 Apr 2024 01:09 PM (IST)
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डॉ. सब्य साचिन, वाइस प्रिंसिपल, जीएसबीवी स्कूल
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