दक्षिण चीन सागर और भारत के समर्थन में ऑस्ट्रेलियाई उच्चायुक्त की टिप्पणी से तिलमिलाया चीन, कही ये बड़ी बात
सुन वेइदोंग ने कहा कि चीन की दक्षिण चीन सागर में क्षेत्रीय संप्रभुत और संचालन करने के अधिकार और हित अंतरराष्ट्रीय कानूनों के मुताबिक हैं.
नई दिल्ली: ऑस्ट्रेलिया ने भारत-चीन सीमा पर भारत के रुख का समर्थन करते हुए वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) पर यथास्थिति में बदलाव के किसी भी प्रयास का विरोध किया तो चीन तिलमिला उठा. इसके साथ ही चीन ने ऑस्ट्रेलिया के दक्षिण सागर पर दिए बयान पर भी कड़ी आपत्ति जताई है. भारत में चीन के राजदूत सुन वेइदोंग ने ऑस्ट्रेलिया के राजदूत के बयान पर आपत्ति जताते हुए कहा है कि उनका बयान तथ्यों से अलग है.
सुन वेइदोंग ने कहा कि चीन की दक्षिण चीन सागर में क्षेत्रीय संप्रभुत और संचालन करने के अधिकार और हित अंतरराष्ट्रीय कानूनों के मुताबिक हैं. यह स्पष्ट है कि कौन शांति और स्थिरता की रक्षा कर रहा है और कौन क्षेत्र में अस्थिरता को बढ़ा रहा है और उकसावे वाली कार्रवाई कर रहा है.
Remarks by Australian HC to India on the South China sea disregards facts. China's territorial sovereignty, maritime rights & interests conform with international law: Sun Weidong, Chinese Ambassador to India (1/2) https://t.co/WxIZosQfdg pic.twitter.com/p2mmGCgVDH
— ANI (@ANI) July 31, 2020
बता दें कि इससे पहले ऑस्ट्रेलियाई उच्चायुक्त ने दक्षिण चीन सागर को लेकर चीन पर निशाना साधते हुए कहा था कि हम साउथ चाइना सी में उठाए जा रहे कदमों से चिंतित हैं जो अस्थिरता को बढ़ा रहा है और संघर्ष को भड़का सकता है.
ऑस्ट्रेलियाई उच्चायुक्त ने कहा कि भारत आत्मनिर्भर बनना चाहता है और व्यापार बढ़ाना चाहता है. हम भारत के साथ सहयोग करने के लिए और दोनों देशों के बीच निवेश बढ़ाने के लिए तत्पर हैं. भारत कई कारणों से आकर्षण का केंद्र बना है. हम स्पष्ट रूप से देख रहे हैं कि भारत में आर्थिक सुधार लाने और निवेश आकर्षित करने के लिए प्रयास किए जा रहे हैं.
बता दें कि दक्षिण चीन सागर में चल रहे तनाव के बीच अमेरिका, जापान और ऑस्ट्रेलिया की नेवी ने संयुक्त गश्त शुरू किया है। अमेरिका के दो एयरक्राफ्ट कैरियर इस इलाके में लगातार गश्त कर रहे हैं.
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