Shrikant Tyagi Case: श्रीकांत त्यागी केस में बदले सांसद महेश शर्मा के सुर, अब बोले- उनके परिवार के प्रति मेरी सहानूभुति
Noida News: महिला के साथ अभद्रता करने के आरोपी श्रीकांत त्यागी (Shrikant Tyagi) को लेकर बीजेपी (BJP) सांसद महेश शर्मा (Mahesh Sharma) के सुर बदल गए हैं.

Shrikant Tyagi Case: उत्तर प्रदेश स्थित नोएडा (Noida) के ग्रैंड ओमेक्स सोसाइटी (Omaxe Society) में महिला के साथ अभद्रता करने के बाद श्रीकांत त्यागी (Shrikant Tyagi) लगातार चर्चा में बने हुए हैं. वहीं इस केस में बीजेपी (BJP) सांसद महेश शर्मा (Mahesh Sharma) की भी चर्चा हो रही है. अब इस मामले को लेकर पूरा त्यागी समाज विरोध में उतर गया है. जिसके बाद अब महेश शर्मा के सुर बदले-बदले से नजर आ रहे हैं. वहीं उन्होंने कहा है कि श्रीकांत त्यागी के परिवार के प्रति मेरी पूरी सहानुभूति है.
बीते कुछ दिनों से कई जगहों पर त्यागी समाज ने श्रीकांत त्यागी का समर्थन किया. इसके बाद खबरें आईं कि त्यागी समाज बीजेपी सांसद महेश शर्मा का विरोध कर रहा है. अब सांसद का एक चिट्ठी वायरल हो रहा है. इस चिट्ठी में बीजेपी सांसद ने लिखा, "ओमेक्स सोसाईटी में पीड़ित महिला मेरठ सांसद राजेंद्र अग्रवाल की रिश्तेदार हैं. उनकी मदद की उन्होंने फोन कर अपेक्षा की थी. जिसके बाद मैंने तमाम अधिकारियों के साथ फोन बात की और घटना स्थल पर पहुंचा तो देखा कि अफरा तफरी का माहौल था."

श्रीकांत त्यागी परिवार के लिए कही ये बात
सांसद ने आगे लिखा, "उसके बाद से ही मेरे खिलाफ सोशल मीडिया पर दुष्प्रचार और भ्रांतियां फैलायी जा रही है कि मैं किसी एक समाज के खिलाफ बोले रहा हूं. ऐसी चीजों को देखकर और सुनकर मेरा मन दुखी है. मैं इस क्षेत्र का ऋणी हूं. मुझे 39 वर्ष इस शहर में रहते हुए हो गए. मैंने कभी धर्म, जाति बिरादरी की राजनीति नहीं की है. वर्तमान विषय में कहना चाहता हूं कि श्रीकांत त्यागी परिवार के साथ मेरी पूरी सहानुभूति है. त्यागी समाज हमेशा से मेरा और बीजेपी का समर्थक रहा है. मैंने एक भी शब्द त्यागी समाज के खिलाफ नहीं बोला है."

उन्होंने कहा, "कुछ लोग इसमें विशेष रुचि लेकर स्थिति को खराब कर रहे हैं और पार्टी को बदनाम कर रहे हैं. वे सीएम योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में चल रही सख्त कानून व्यवस्था पर भी प्रश्न चिन्ह उठा रहे हैं. इस विषय की जांच होनी चाहिए. अपराधी और पीड़ित को किसी धर्म और जाति से जोड़कर देखना उचित नहीं है. मेरा उद्देश्य किसी जाति और समुदाय की भावनाओं को ठेस पहुंचाना नहीं है."
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Source: IOCL





















