मुजफ्फरनगर में BKU नेता ने सिंचाई विभाग के कर्मचारी की कीचड़ में कराई परेड, कॉलर पकड़कर घुमाया
Muzaffarnagar News: इस घटना का वीडियो भी सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है, जिसमें आरोपी युवक सिंचाई विभाग के जेई का गला पकड़कर कीचड़ में परेड कराता दिख रहा है.

पश्चिमी उत्तर प्रदेश के मुज़फ्फरनगर में हैरान करने वाला मामला सामने आया है जहां सिंचाई विभाग के कर्मचारी की कीचड़ में परेड कराई गई. इस घटना का वीडियो भी सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है, जिसमें भारतीय किसान यूनियन के नेता अंकुश प्रधान एक सींचपाल को कीचड़ में उतरकर परेड कराते दिखाई दे रहा है.
ये मामला खतौली तहसील क्षेत्र के भुड़ गांव का बताया जा रहा है. इस गांव के पास स्थित रजबाहे की सफाई सिंचाई विभाग के कर्मचारी पिछले कई दिनों से कर रहे थे. आरोप है कि कर्मचारियों ने कीचड़ निकालकर सूखने के लिए वहीं पर छोड़ दी, जिसकी वजह से रास्ते में कीचड़ और बदबू फैल गई.
ग़ुस्साए ग्रामीणों ने जताया विरोध
इस सिल्ट को सूखने के बाद हटाया जाना था. बुधवार को जब सींचपाल अरविंद कुमार मीणा इलाके में पहुंचे तो गुस्साए ग्रामीणों ने उन्हें घेर लिया और अपना विरोध जताया. इसी दौरान बीकेयू नेता अंकुश प्रधान वहां पहुँच गया और सींचपाल अरविंद का गला पकड़कर उसने कीचड़ में ही उसकी परेड करा दी. इस दौरान ग्रामीण भी उसके विरोध में नारेबाजी कर रहे थे.
इस घटना को लेकर सिंचाई विभाग के कर्मचारियों में भी जबरदस्त आक्रोश देखने को मिल रहा है. जिसके बाद उन्होंने खतौली कोतवाली पहुंचकर आरोपी नेता के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई. पुलिस ने इस मामले में आरोपी अंकुश प्रधान के खिलाफ सरकारी कार्य में बाधा डालने का मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू कर दी है.
आरोपी ने अपनी सफ़ाई में कही ये बात
वहीं इस पूरे मामले पर सफ़ाई देते हुए आरोपी अंकुश प्रधान ने कहा कि खतौली बूथ से एक राजवाया निकलता है, जिसकी हर साल सफ़ाई होती है. इसकी वजह से आसपास काफी गंदगी हो जाती है. हमने विभाग के लोगों से कहा था कि यहां से कैसे निकला जाएगा. जब उनसे इसे हटाने के लिए कहा तो उनका व्यवहार बहुत ख़राब था.
सिंचाई विभाग के क्षेत्रीय (खतौली) जेई सचिन पाल का आरोप है कि उस समय राजावाये की सफाई चल रही थी. दो-तीन हफ्ते से काम चल रहा है. जहां सिल्ट रखी गई थी वो विभाग की ज़मीन है. बस्ती के नालों में लोगों के द्वारा ही पानी फेंका जाता है. इन सबको सूचित भी किया गया है कि इसमें कूड़ा और नाले का पानी न डालें.
अब जब यह सफाई हो रही थी तो लोगों ने विरोध किया कि इसे यहां न डाला जाए. गीली सिल्ट को ट्रॉली में लेकर जाना संभव नहीं है. इसलिए पटरी पर सिल्ट रखी गई थी, जब ये सूख जाएगी तो हम इसको उठवा देंगे.
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