पादरी बजिंदर सिंह को हुई सजा तो स्वाति मालीवाल बोलीं, 'कभी ये मरे हुए इंसान को...'
Bajinder Singh News: स्वयंभू पादरी बजिंदर सिंह को कोर्ट ने मंगलवार को रेप मामले में उम्रकैद की सजा सुनाई. इस पर राज्यसभा सांसद स्वाति मालीवाल की प्रतिक्रिया सामने आई.

Swati Maliwal On Bajinder Singh: स्वयंभू पादरी बजिंदर सिंह को 2018 के रेप के एक मामले में मंगलवार (01 अप्रैल) को आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई है. इसे लेकर अब राज्यसभा सांसद स्वाति मालीवाल ने प्रतिक्रिया दी है. उन्होंने कोर्ट के फैसले का स्वागत करते हुए कहा कि बजिंदर सिंह पूरी तरह से धोखेबाज और पाखंडी आदमी है. साथ ही उन्होंने पंजाब सरकार पर भी सवाल खड़े किए हैं.
राज्यसभा सांसद स्वाति मालीवाल ने कहा, "फेक पादरी बजिंदर सिंह को यौन यौन शोषण मामले में उम्रकैद की सजा सुनाई गई है. मैं इस सजा का स्वागत करती हूं क्योंकि बजिंदर सिंह पूरी तरह से झूठा और पाखंडी आदमी है. अपने पाखंड के कारण, उसने पिछले कुछ वर्षों में कई धर्मांतरण किए हैं.''
Delhi: AAP Rajya Sabha MP Swati Maliwal on Pastor Bajinder Singh, who has been sentenced to life imprisonment in connection with a 2018 rape case says, "Fake Pastor Bajinder Singh has been sentenced to life imprisonment in a sexual assault case. I welcome this verdict because… pic.twitter.com/Kh1jH4Ho4Z
— IANS (@ians_india) April 1, 2025
'कई सालों से पंजाब सरकार बजिंदर को क्यों संरक्षण दे रही'
उन्होंने आगे कहा, ''वह नकली चमत्कार करने के लिए जाना जाता है. कभी ये मरे हुए इंसान को जिंदा करने का नाटक करता है तो कभी किसी दिव्यांग को ठीक करने का पाखंड रचता है. मुझे एक बात समझ में नहीं आती है कि पिछले कई सालों से पंजाब सरकार इस बजिंदर सिंह को क्यों संरक्षण दे रही है? हाई लेबल की सिक्योरिटी भी इसको पंजाब सरकार की ओर से दी गई. मैं आशा करती हूं कि अब तो कम से कम इसके ऊपर जांच तेज होगी. ऐसा हो सकता है कि कई और लड़कियां हों, उनको रेस्क्यू करना जरूरी है.''
28 मार्च को कोर्ट ने ठहराया था दोषी
बता दें कि पंजाब के मोहाली की एक अदालत ने स्वयंभू पादरी बजिंदर सिंह को 2018 के बलात्कार के एक मामले में मंगलवार को उम्रकैद की सजा सुनाई. एडिशनल डिस्ट्रिक्ट एंड सेशन जज (एडीएसजे) विक्रांत कुमार की कोर्ट ने बजिंदर सिंह की सजा पर फैसला सुनाया. बजिंदर को 28 मार्च को भारतीय दंड संहिता की धाराओं 376 (रेप), 323 (स्वेच्छा से चोट पहुंचाने की सजा) और 506 (आपराधिक धमकी) के तहत दोषी ठहराया गया था. यह मामला 2018 में जीरकपुर थाने में एक महिला की ओर से कराई गई शिकायत के आधार पर दर्ज किया गया था.
Source: IOCL























