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भूकंप आने के बाद क्यों बढ़ जाता है सुनामी का खतरा, आखिर धरती के अंदर ऐसा क्या होता है?
Risk Of Tsunami After An Earthquake: धरती के भीतर भूकंप की टकराहट जब समुद्र के सीने को हिला देती है, तो उसकी प्रतिक्रिया होती है सुनामी. आइए जानें कि इस दौरान धरती के नीचे आखिर होता क्या है.
जब भूकंप से धरती कांपती है, तो उसका असर सिर्फ जमीन तक सीमित नहीं रहता है. कई बार यही कंपन समुद्र की गहराइयों को भी झकझोर देता है, और कुछ ही मिनटों में शांत दिखने वाला समुद्र मौत बनकर तटों की ओर बढ़ने लगता है. अब सवाल यह उठता है कि आखिर ऐसा क्या होता है जो भूकंप के तुरंत बाद सुनामी का खतरा कई गुना बढ़ जाता है? धरती के भीतर होने वाली यह हलचल कैसे समुद्र के सीने में ऐसी ऊर्जा भर देती है जो पूरे तटीय इलाकों को निगल जाती है?
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पृथ्वी जब कांपती है, तो उसका असर आसमान से लेकर समुद्र की गहराइयों तक पहुंच जाता है. भूकंप आने के बाद सुनामी का खतरा क्यों बढ़ जाता है, यह सवाल अक्सर तब उठता है जब किसी समुद्री तट पर लहरों का रौद्र रूप तबाही मचा देता है. दरअसल, इसका कारण धरती के नीचे मौजूद टेक्टॉनिक प्लेटों की हलचल है, जो पृथ्वी के स्थायित्व की असली कुंजी भी हैं और उसकी सबसे बड़ी कमजोरी भी.
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धरती के नीचे कई विशाल प्लेटें होती हैं, जिन्हें टेक्टॉनिक प्लेट्स कहा जाता है. ये प्लेटें लगातार हलचल करती रहती हैं, लेकिन जब दो प्लेटें एक-दूसरे से टकराती हैं या एक प्लेट दूसरी के नीचे धंस जाती है, तो भूकंप पैदा होता है. अगर यह टक्कर समुद्र के नीचे होती है, तो यह न सिर्फ जमीन बल्कि पूरे समुद्र तल को भी हिला देती है.
Published at : 10 Nov 2025 12:32 PM (IST)
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