एक्सप्लोरर

Supreme Court ने पलटा पूर्व सीजेआई का फैसला, रजिस्ट्रार को मूल कैडर प्रसार भारती में भेजा वापस

SC Reverses Ex CJI’s Decision: सुप्रीम कोर्ट ने पूर्व सीजेआई के फैसले को पलटते हुए रजिस्ट्रार प्रसन्ना कुमार सूर्यदेवरा की कोर्ट के स्थायी कर्मचारी के तौर पर की गई नियुक्ति को रद्द कर दिया है.

Supreme Court Reverses Ex CJI’s Decision: सुप्रीम कोर्ट ने भारत के पूर्व मुख्य न्यायाधीश (CJI) एन वी रमणा का एक फैसला पलट दिया है. कोर्ट ने रजिस्ट्रार (Registrar) प्रसन्ना कुमार सूर्यदेवरा (Prasanna Kumar Suryadevara) की अदालत के स्थायी कर्मचारी के तौर पर नियुक्ति को रद्द कर दिया है. सूर्यदेवरा को 30 सितंबर तक ऑल इंडिया रेडियो (All India Radio) के न्यूज डिवीजन में वापस भेज दिया गया है.

प्रसार भारती (Prasar Bharati) के संयुक्त निदेशक सूर्यदेवरा (Suryadevara) को 2021 में पूर्व सीजेआई रमणा (Chief Justice N V Ramana) के कार्यकाल के दौरान मीडिया सलाहकार की भूमिका में विशेष कर्तव्य अधिकारी (Officer On Special Duty) के तौर पर नियुक्ति दी गई थी. ये पद अदालत में अतिरिक्त रजिस्ट्रार ( Additional Registrar) के रैंक का है.

क्या है मामला

प्रसार भारती में संयुक्त निदेशक सूर्यदेवरा को 2021 में पूर्व सीजेआई रमणा के कार्यकाल के दौरान मीडिया सलाहकार की भूमिका में एक अतिरिक्त रजिस्ट्रार के पद पर विशेष कर्तव्य अधिकारी (Officer On Special Duty) नियुक्त किया गया था. बाद में उन्हें अदालत के अतिरिक्त रजिस्ट्रार स्थायी संवर्ग (Permanent Cadre) में शामिल कर लिया गया. मतलब वो अदालत के स्थाई कमर्चारियों में शामिल कर लिए गए. जानकारी के मुताबिक सीजेआई रमणा के कार्यकाल के आखिरी हफ्ते के दौरान उनके सूर्यदेवरा को न्यायालय के स्थाई कर्मचारियों में शामिल करने के आदेश को पलटकर सूर्यदेवरा को उनके मूल कैडर (Parent Cadre) में वापस भेज दिया गया.

दरअसल भारत के मुख्य न्यायाधीश न्यायालय के प्रशासनिक मुखिया की भूमिका निभाते हैं. सूत्रों की माने तो सुप्रीम कोर्ट में अपनी न्यायिक सेवाओं से ही नियमित तौर पर  प्रतिनियुक्ति (Deputation) पर अधिकारी हैं. न्यायायिक सेवाओं में अकाउंट यानी लेखा-जोखा विभाग और आईटी जैसे खास सेक्टर्स में ही सरकारी कैडर के अधिकारियों की प्रतिनियुक्ति पर लाया जा सकता है. यानी बाहर से केवल इन सेक्टर में ही अधिकारी नियुक्त किए जा सकते हैं. अपने मूल कैडर में भेजे जाने पर अभी तक  सूर्यदेवरा की तरफ से कोई बयान जारी नहीं किया गया है.

कौन है सूर्यदेवरा

सूर्यदेवरा प्रसार भारती में न्यूज रीडर-कम-ट्रांसलेटर (तेलुगु) के तौर पर शामिल हुए थे. उन्होंने प्रतिनियुक्ति (Deputation) पर कई हाई-प्रोफाइल पदों पर किए. साल 2004-2009 दौरान सूर्यदेवरा पूर्व लोकसभा अध्यक्ष दिवंगत सोमनाथ चटर्जी (Lok Sabha Speaker Somnath Chatterjee) के कार्यालय में ओएसडी (OSD) रहे हैं. उन्होंने साल 2009-2015 तक राज्यसभा के पूर्व सभापति हामिद अंसारी (Rajya Sabha Chairperson Hamid Ansari) के साथ काम किया.

साल 2015 में उन्हें दिल्ली विधानसभा का सचिव बनाया गया था. दिल्ली विधानसभा भी उनके हाई प्रोफाइल असाइनमेंट में से एक रही है. वह इस विधान सभा में सचिव रहे थे. इस दौरान वो दिल्ली के लेफ्टिनेंट गवर्नर नजीब जंग और आम आदमी पार्टी (Aam Admi Party) के नेतृत्व वाली दिल्ली सरकार के बीच  राजनीतिक संघर्ष का केंद्र भी रहे.

जब विधानसभा अध्यक्ष उतरे थे बचाव में

दिल्ली विधानसभा अध्यक्ष राम निवास गोयल (Ram Niwas Goel) ने ऑल इंडिया रेडियो महानिदेशालय से  दिल्ली के एनसीटी (NCT) विधान सभा के स्थायी सचिव के तौर पर सूर्यदेवा को शामिल करने की मंजूरी मांगी थी. तब एलजी नजीब जंग ने सूर्यदेवरा को वापस उनके मूल कैडर में भेजने का आदेश निकाला था. इसके बाद दिल्ली विधानसभा अध्यक्ष गोयल एलजी के इस फैसले को चुनौती देने के लिए दिल्ली उच्च न्यायालय गए थे.

दिल्ली विधानसभा अध्यक्ष गोयल ने सितंबर 2016 में सूर्यदेवरा का बचाव करते हुए विधानसभा में दिए गए एक बयान में कहा था कि सूर्यदेवरा ने विधायी क्षेत्र में 12 साल से अधिक की अपनी सेवाओं के जरिए विधायी कामकाज के मामलों में अनुभव और विशेषज्ञता हासिल की है.  उन्होंने अपने 23 साल के कार्यकाल के दौरान 11 साल से अधिक का वक्त भारतीय संसद (Parliament Of India) की सेवाओं में बिताया है. उन्होंने अब तक बहुत कुछ इन सेवाओं को दिया है.

सूर्यदेवरा के दिल्ली विधान सभा में सचिव पद पर रहते हुए 2016 में दिल्ली के लेफ्टिनेंट गवर्नर  (Lieutenant Governor-LG) एलजी नजीब जंग (LG Najeeb Jung) ने उन्हें ऑल इंडिया रेडियो में वापस लाने के आदेश निकाले थे. इस मामले में प्रसार भारती ने भी अदालत में एक स्टैंड लिया था कि सूर्यदेवरा को तुरंत अपने मूल संगठन (Parent Organisation) में शामिल होना था. ऐसा करने में असफल होने पर  उन्हें अनधिकृत तौर पर गैरहाजिर माना जाएगा.

ये भी पढ़ेंः

Delhi: अनुकंपा के आधार पर नियुक्ति कोई अधिकार नहीं बल्कि रियायत- सुप्रीम कोर्ट की टिप्पणी

Marital Rape: पत्नी से जबरदस्ती संबंध बनाना रेप है या नहीं? जानें सुप्रीम कोर्ट ने क्या कहा

और देखें
Advertisement
Advertisement
25°C
New Delhi
Rain: 100mm
Humidity: 97%
Wind: WNW 47km/h
Advertisement

टॉप हेडलाइंस

Lok Sabha Elections 2024: दिल्ली में आज चुनावी शंखनाद करेंगे PM मोदी और राहुल, 4 लेयर सिक्योरिटी, चप्पे चप्पे पर तैनात रहेंगे सुरक्षाकर्मी
दिल्ली में आज चुनावी शंखनाद करेंगे PM मोदी और राहुल, 4 लेयर सिक्योरिटी, चप्पे चप्पे पर तैनात रहेंगे सुरक्षाकर्मी
Swati Maliwal Case: क्या कोई राजनीतिक पार्टी अपने सांसद की संसद सदस्यता खत्म करा सकती है?
क्या कोई राजनीतिक पार्टी अपने सांसद की संसद सदस्यता खत्म करा सकती है?
स्वाति मालीवाल ने बदल दी ट्विटर प्रोफाइल, अरविंद केजरीवाल का फोटो हटाकर जानें अब क्या लगाया
स्वाति मालीवाल ने बदल दी ट्विटर प्रोफाइल, अरविंद केजरीवाल का फोटो हटाकर जानें अब क्या लगाया
Supreme Court: 'नियमित जमानत के लिए निचली कोर्ट जाएं', सुप्रीम कोर्ट ने गिरफ्तारी के खिलाफ केजरीवाल की याचिका पर फैसला रखा सुरक्षित
'नियमित जमानत के लिए निचली कोर्ट जाएं', SC ने केजरीवाल की याचिका पर फैसला रखा सुरक्षित
Advertisement
for smartphones
and tablets

वीडियोज

Bhagya Ki Baat 18 May 2024: क्या कहते हैं आपके भाग्य के सितारे? जानिए आज का राशिफलSwati Maliwal Case: स्वाति मालीवाल केस को लेकर सीएम आवास पर हलचल तेज, क्या जवाब देंगे केजरीवाल?कौन था सबसे शक्तिशाली...अर्जुन या कर्ण Dharma LiveSansani: मनाली के होटल में 'सनकी आशिक' ने कर दिया प्रेमिका का कत्ल

फोटो गैलरी

पर्सनल कार्नर

टॉप आर्टिकल्स
टॉप रील्स
Lok Sabha Elections 2024: दिल्ली में आज चुनावी शंखनाद करेंगे PM मोदी और राहुल, 4 लेयर सिक्योरिटी, चप्पे चप्पे पर तैनात रहेंगे सुरक्षाकर्मी
दिल्ली में आज चुनावी शंखनाद करेंगे PM मोदी और राहुल, 4 लेयर सिक्योरिटी, चप्पे चप्पे पर तैनात रहेंगे सुरक्षाकर्मी
Swati Maliwal Case: क्या कोई राजनीतिक पार्टी अपने सांसद की संसद सदस्यता खत्म करा सकती है?
क्या कोई राजनीतिक पार्टी अपने सांसद की संसद सदस्यता खत्म करा सकती है?
स्वाति मालीवाल ने बदल दी ट्विटर प्रोफाइल, अरविंद केजरीवाल का फोटो हटाकर जानें अब क्या लगाया
स्वाति मालीवाल ने बदल दी ट्विटर प्रोफाइल, अरविंद केजरीवाल का फोटो हटाकर जानें अब क्या लगाया
Supreme Court: 'नियमित जमानत के लिए निचली कोर्ट जाएं', सुप्रीम कोर्ट ने गिरफ्तारी के खिलाफ केजरीवाल की याचिका पर फैसला रखा सुरक्षित
'नियमित जमानत के लिए निचली कोर्ट जाएं', SC ने केजरीवाल की याचिका पर फैसला रखा सुरक्षित
देव आनंद की इस  फिल्म पर प्रोड्यूसर को था डाउट, न सिर्फ बॉक्स ऑफिस पर हुई कमाई बल्कि ऑस्कर में भी हुई एंट्री!
देव आनंद की फिल्म पर प्रोड्यूसर को था डाउट, फिर बॉक्स ऑफिस पर हुई जबरदस्त कमाई
Forbes 30 Under 30: फोर्ब्स की लिस्ट में इन युवा भारतीय बिजनेसमैन ने बनाई जगह
फोर्ब्स की लिस्ट में इन युवा भारतीय बिजनेसमैन ने बनाई जगह
NITI Aayog: स्किल डेवलपमेंट सेंटर को प्राइवेट कंपनियों को सौंप दे सरकार, देश में सुधार की जरूरत
प्राइवेट कंपनियों के हवाले कर दें स्किल डेवलपमेंट सेंटर: नीति आयोग
यूपी में चुनाव प्रचार में क्यों नजर नहीं आ रहे हैं कांग्रेस के मुस्लिम नेता, क्या है इसकी वजह?
यूपी में चुनाव प्रचार में क्यों नजर नहीं आ रहे हैं कांग्रेस के मुस्लिम नेता, क्या है इसकी वजह?
Embed widget