Monsoon: दिल्ली समेत कई राज्यों में बारिश से तापमान में गिरावट, 4-5 जुलाई को फिर बरस सकते हैं बादल
Monsoon: भारतीय मौसम विभाग का यह भी कहना है कि अभी दो-तीन दिन तक तापमान में कमी तो रहेगी लेकिन फिलहाल ज्यादा बारिश नहीं होगी लेकिन फिर 4 और 5 तारीख को बारिश होने का अनुमान है.

नई दिल्ली: देश में मानसून (Monsoon) ने दस्तक दे दी है जिसके बाद दिल्ली-एनसीआर (Delhi-NCR) समेत देश के कई राज्यों में बारिश (Rain) हो रही है. फिलहाल की मौजूदा स्थिति यह है कि मानसून के दस्तक देते ही तापमान (Temperature) में कुछ हद तक गिरावट भी दर्ज की गई है. मौजूदा स्थिति के हिसाब से दक्षिण पश्चिम मानसून पूरे पंजाब (Punjab) और हरियाणा (Haryana) में आगे बढ़ गया है और राजस्थान (Rajasthan) के अधिक भागों में भी यह आगे बढ़ चुका है. अगले दो-तीन दिनों के दौरान राजस्थान और गुजरात के शेष हिस्सों में मानसून के आगे बढ़ने के लिए परिस्थितियां अनुकूल है. इसलिए अगले दो-तीन दिनों के दौरान दक्षिण पश्चिम मानसून के पूरे देश में आने की अनुमान है.
राजस्थान से होता हुआ उत्तर प्रदेश के बीच से गुजरता हुआ मानसून बंगाल की खाड़ी तक मौजूद है. उत्तर भारत के राजस्थान, उत्तराखंड, हिमाचल प्रदेश, जम्मू कश्मीर में अभी भी बादलों का समूह बना हुआ है.
आने वाली 4 और 5 तारीख को बारिश का अनुमान
पिछले 24 घंटों में सिक्किम, हरियाणा, चंडीगढ़, दिल्ली, पंजाब, वेस्ट राजस्थान, वेस्ट मध्य प्रदेश, कोस्टल कर्नाटका में भारी से भारी बारिश देखी गई है. बारिश से तापमान में गिरावट के साथ साथ भारतीय मौसम विभाग का यह भी कहना है कि अभी दो-तीन दिन तक तापमान में कमी तो रहेगी लेकिन फिलहाल ज्यादा बारिश नहीं होगी लेकिन एक बार वेस्टर्न डिस्टरबेंस आने से फिर दोबारा से 4 और 5 तारीख को में बारिश होने का अनुमान है.
देश में मॉनसून और दिल्ली-एनसीआर के मौसम के बारे में भारतीय मौसम विभाग के वैज्ञानिक डॉक्टर आर. के जीनामनी का कहना है, “मानसून दस्तक दे चुका है और आगे आने वाले दिनों में पूरे देश में अच्छी बारिश होने का अनुमान है फिलहाल अभी जो बारिश हुई है उससे तापमान में गिरावट है और यह तापमान आने वाले कुछ दिनों में 30 से 34 डिग्री तक रहने वाला है. वेस्टर्न डिस्टरबेंस दोबारा देखा जाएगा जिसके बाद 4 और 5 तारीख में फिर बारिश होने के अनुमान है.”
दिल्ली के कई हिस्सों में बारिश का पानी हुआ जमा
बारिश से मौसम तो अच्छा हो जाता है लेकिन देश के कई ऐसे राज्य हैं जहां पर बारिश के बाद बदहाली दिखाई देती है. खासतौर से देश की राजधानी दिल्ली की बात करें तो मानसून की पहली बारिश से ही दिल्ली में बदहाली की तस्वीर उजागर होने लगी थी. 29 जून को हुई मानसून की पहली बारिश के बाद दिल्ली एनसीआर के कई हिस्सों में पानी जमा हो गया जिसकी वजह से लोगों को काफी समस्याओं का सामना करना पड़.
एमसीडी ने मानसून की तैयारियों को लेकर कही ये बात
दिल्ली में हर साल मानसून से पहले दिल्ली नगर निगम नालों की सफाई से लेकर वाटर लॉगिंग की समस्या को खत्म करने के लिए पंपिंग स्टेशन और मोबाइल पंप के इंतजाम करती है. मानसून को लेकर तैयारी इस बार कैसी तैयारी की गई इस पर दिल्ली नगर निगम ने जानकारी दी कि मानसून के मद्देनजर दिल्ली के लोगों को जलभराव के चलते परेशानी का सामना न करना पड़े इसके लिए दिल्ली नगर निगम ने अपने नालों में डिसिल्टिंग का कार्य तेज कर दिया है. इस दिशा में कार्य करते हुए एमसीडी के दिल्ली नगर निगम क्षेत्राधिकार में स्थित कुल 688 नालों से लगभग 91380.25 मिट्रिक टन सिल्ट निकाला जा चुका है और इस प्रकार डिसिल्टिंग का करीब 101.27 प्रतिशत कार्य पूरा कर लिया गया है.
दिल्ली नगर निगम के वरिष्ठ अधिकारी ने विस्तार से जानकारी देते हुए बताया कि दिल्ली नगर निगम के दक्षिणी क्षेत्र के 275 नालों से लगभग 35044.63 मिट्रिक टन सिल्ट निकाला जा चुका है. इसके अलावा उत्तरी क्षेत्र में 195 नालों से 9920.29 मिट्रिक टन सिल्ट निकाला जा चुका है. वहीं पूर्वी क्षेत्र से 218 नालों से लगभग 46415.33 मिट्रिक टन सिल्ट निकाला जा चुका है. उन्होंने जानकारी देते हुए बताया कि नालों से निकाले गए सिल्ट को लैंडफिल साइट भेजा गया है.
दिल्ली में जलभराव की समस्या एक बड़ी समस्या है जिसकी वजह से कई बड़े हादसे भी देखे गए हैं इससे तुरंत निमटने के लिए दिल्ली नगर निगम के बेड़े में 73 परमानेंट पंपिंग स्टेशन तथा 617 मोबाइल पंपिंग सेट मौजूद हैं.
वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि इस संबंध में निगमायुक्त ने अधिकारियों को सख्त निर्देश दिए हैं कि मानसून के आगमन से पूर्व जलभराव ना हो इसके सभी प्रबंध समय पर पूरे कर लिए जाएं.
नगर निगम (MCD) की तैयारियां तो मुकम्मल लग रही है लेकिन क्या यह तैयारियां काफी है इस बार दिल्ली में मानसून से होने वाली समस्याएं से लड़ने के लिए? क्योंकि मानसून की पहली बारिश से ही दिल्ली में कई जगह वॉटर लॉगिंग (Water Logging) जैसी समस्याएं हो गई थीं. ऐसे में ट्रैफिक जाम (Traffic Jam) की स्तिथि भी देखी जाती है. आगे बारिश होने वाली है और उसके बाद की स्थिति ही बताएगी की तैयारियां कितनी मुकम्मल है.
यह भी पढ़ें:
Source: IOCL





















