एक्सप्लोरर

Gujarat Result 2022: नाराज पटेलों को भुनाने में कामयाब हो गई बीजेपी, पाटीदार बहुल 50 से ज्यादा सीटों पर जीत, जानें विस्तार से

Patidar BJP Support: पिछली बार पाटीदार समुदाय की नाराजगी की वजह से बीजेपी सौ का आंकड़ा नहीं पार कर पाई थी. इस बार बीजेपी पाटीदारों को साधने में कामयाब रही. बीजेपी को आदिवासियों का भी खूब समर्थन मिला.

Gujarat Result 2022: गुजरात की राजनीति में पाटीदार समुदाय के लोग हमेशा से निर्णायक भूमिका में रहे हैं. इस बार बीजेपी को गुजरात में पाटीदार समुदाय का भी जमकर साथ मिला है. इसी वजह से पाटीदार बहुल 50 से ज्यादा सीटों पर बीजेपी को जीत दर्ज हुई है.

गुजरात की 182 में से 70 सीटों पर इस समुदाय के लोगों का प्रभाव है. यहां की 52 सीटों पर पाटीदार समुदाय की आबादी 20 फीसदी से ज्यादा है. 

दक्षिण गुजरात और सौराष्ट्र में पाटीदार वोट निर्णायक

दक्षिण गुजरात और सौराष्ट्र की ज्यादातर सीटों पर हार-जीत का फैसला पाटीदार समुदाय के लोगों के वोट से ही होता है. गुजरात में पाटीदार समुदाय के लोग लेउवा पटेल और कडवा पटेल उपजातियों में बंटे हुए हैं. गुजरात में 70 फीसदी लेउवा पटेल और 30 फीसदी कडवा पटेल हैं. लेउवा पटेल, सौराष्ट्र और कच्छ के इलाके में ज्यादा हैं. इस समुदाय के लोग की आबादी राजकोट, जामनगर, अमरेली, भावनगर, जूनागढ़, पोरबंदर, सुरेंद्रनगर जिलों में काफी है. लेउवा पटेल, पाटीदार समुदाय की एक उपजाति है. सौराष्ट्र के 11 जिलों के अलावा सूरत में भी पाटीदार समुदाय के लोगों का प्रभाव है.  

सौराष्ट्र में बीजेपी की बंपर जीत

इस बार सौराष्ट्र-कच्छ की 54 सीटों में से 47 सीटों पर बीजेपी की जीत हुई है. वहीं कांग्रेस सिर्फ 3 सीट ही जीत पाई है. आम आदमी पार्टी को यहां 4 सीटें हासिल हुई हैं. पिछली बार के विधान सभा चुनाव में पाटीदार आंदोलन के कारण सौराष्ट्र के इलाकों में बीजेपी को भारी नुकसान उठाना पड़ा था. यहां बीजेपी को सिर्फ 23 सीटें ही मिल पाई थीं. कांग्रेस पिछली बार 30 सीटों पर जीतने में कामयाब रही थी. पाटीदार आंदोलन के कारण बीजेपी को इन इलाकों में सियासी नुकसान उठाना पड़ा था. 2012 के चुनाव में बीजेपी इस इलाके की 35 सीटें जीतने में कामयाब रही थी.

पिछले चुनाव में बीजेपी से नाराज से पाटीदार

पाटीदार समुदाय को बीजेपी का परंपरागत वोट बैंक माना जाता था. 2017 में बीजेपी को पाटीदार आंदोलन का खामियाजा भुगतना पड़ा था. पिछड़े पाटीदार समुदाय के लिए आरक्षण की मांग को लेकर हुए आंदोलन से पिछली बार बीजेपी को इस समुदाय की नाराजगी झेलनी पड़ी थी. इस आंदोलन की अगुवाई युवा नेता हार्दिक पटेल कर रहे थे. 2017 के चुनाव में हार्दिक पटेल कम उम्र की वजह से चुनाव नहीं लड़ सकते थे. हालांकि उन्होंने खुलकर कांग्रेस की मदद की. बाद में 2019 में वे औपचारिक तौर से कांग्रेस में शामिल भी हो गए.

पाटीदार वोट को साधने में कामयाब रही बीजेपी

इस बार बीजेपी ने पाटीदार लोगों को मनाने के लिए खास रणनीति पर काम किया. बीजेपी ने इस बार पाटीदार समुदाय के 41 लोगों को उम्मीदवार बनाया. हालात कुछ ऐसे बने कि जून 2022 में हार्दिक पटेल ने कांग्रेस का दामन छोड़ बीजेपी का हाथ थाम लिया. इस बार हार्दिक पटेल खुद बीजेपी से चुनाव लड़ रहे थे. अहमदाबाद जिले के वीरमगाम सीट पर बीजेपी के हार्दिक पटेल ने आम आदमी पार्टी के प्रत्याशी को 50 हजार से ज्यादा के अंतर से मात दी.

बीजेपी ने सौराष्ट्र में नए चेहरों को दिया मौका

सौराष्ट्र के सियासी समीकरण को साधने के लिए बीजेपी ने ज्यादातर नए चेहरों को मौका दिया. पिछली बार बीजेपी को सौराष्ट्र की कई सीटों पर बहुत कम अंतर हार का सामना करना पड़ा था. पिछली बार डांग में बीजेपी को मात्र 786 वोटों से हार मिली थी, लेकिन इस बार बीजेपी ने विजयभाई रमेशभाई पटेल ने कांग्रेस के मुकेश भाई को करीब 20 हजार के अंतर से हरा दिया है. उसी तरह से पिछली बार मात्र 170 वोट से कपराडा सीट बीजेपी ने गंवा दी थी. लेकिन इस बार इस सीट पर बीजेपी के जीतू भाई चौधरी ने बहुत बड़े मार्जिन से कांग्रेस से ये सीट छीन ली. सौराष्ट्र में बीजेपी ने कांग्रेस छोड़कर आने वाले कुंवरजीभाई बावलिया जैसे नेताओं पर भी दांव लगाया. जसदण सीट पर कुंवरजीभाई बावलिया ने जीत भी दर्ज की. इस एरिया में आने वाले राजकोट से 4 मौजूदा विधायकों का टिकट काट दिया. इसी का नतीजा है कि इस बार बीजेपी ने राजकोट की सभी 8 सीटों पर कब्जा जमा लिया है. 

अहमदाबाद की 21 में से 19 सीटों पर बीजेपी की जीत

सूरत की सभी 16 सीटों पर जीतकर दर्ज कर बीजेपी ने यहां अपना पुराना दबदबा कायम रखा है. सूरत में पाटीदार समुदाय के लोगों का अच्छा खास प्रभाव माना जाता है. अहमदाबाद की 21 में से 19 सीटों पर बीजेपी ने कब्जा जमाया है. अहमदाबाद में ऐसी कम से कम पांच सीट हैं, जिन पर पाटीदार समुदाय के वोट निर्णायक साबित होते हैं. ये घाटलोडिया, साबरमती, मणिनगर, निकोल और नरोदा हैं. इन सभी सीटों पर बीजेपी को जीत मिली है. दक्षिण गुजरात की 35 में से 33 सीटों पर बीजेपी जीतने में कामयाब रहा. 

बीजेपी को आदिवासियों का भी मिला भरपूर साथ

बीजेपी को गुजरात में इस बार आदिवासियों का भी खूब समर्थन मिला है. इससे पहले आदिवासियों को कांग्रेस का परंपरागत वोट बैंक माना जाता था. 2011 की जनगणना के मुताबिक गुजरात में आदिवासियों की संख्या 89 लाख से ज्यादा है. ये गुजरात की कुल आबादी का करीब 15 प्रतिशत है. बनासकांठा, अंबाजी, दाहोद, पंचमहल, छोटा उदयपुर और नर्मदा जिलों में आदिवासियों की बड़ी आबादी रहती है. यहां 27 सीटें आदिवासियों के लिए आरक्षित हैं.

अब तक आदिवासी क्षेत्र में बीजेपी को संघर्ष करना पड़ता था. 2017 में सत्ताधारी पार्टी बीजेपी को इनमें से सिर्फ 9 सीटों पर जीत मिली थी. कांग्रेस पिछली बार इनमें से 15 सीटें जीतने में कामयाब रही थी. इस बार बीजेपी ने 23 सीटों पर जीत दर्ज की है. ऐतिहासिक जीत से साफ है कि गुजरात में इस बार बीजेपी को हर समुदाय का समर्थन मिला है. चाहे दलित हो या फिर मुस्लिम समुदाय. सबने बीजेपी पर भरोसा जताया है. 

ये भी पढ़ें: Gujarat Result 2022: आखिर क्यों गुजरात में PM मोदी ने किया वो कमाल, जो CM मोदी भी नहीं कर पाए, जानें दिलचस्प कहानी

 

और पढ़ें
Sponsored Links by Taboola

टॉप हेडलाइंस

अजित पवार के बेटे जय पवार की बहरीन में शादी, दुल्हन संग ऐसे किया खुशी का इजहार, देखें तस्वीरें
अजित पवार के बेटे जय पवार की बहरीन में शादी, दुल्हन संग ऐसे किया खुशी का इजहार, देखें तस्वीरें
पुतिन के भारत दौरे से अमेरिका में खलबली! ट्रंप ने दिल्ली के पक्ष में ले लिया बड़ा फैसला; बताया कैसे देगा साथ
पुतिन के भारत दौरे से US में खलबली! ट्रंप ने दिल्ली के पक्ष में लिया बड़ा फैसला; बताया कैसे देगा साथ
गौतम गंभीर पर भड़के रविचंद्रन अश्विन, ये ऑलराउंडर है वजह; कहा- वो खुद की पहचान...
गौतम गंभीर पर भड़के रविचंद्रन अश्विन, ये ऑलराउंडर है वजह; कहा- वो खुद की पहचान...
न्यू डैड विक्की कौशल ने खरीदी करोड़ों की लग्जरी कार, कीमत जान रह जाएंगे हक्के-बक्के
न्यू डैड विक्की कौशल ने खरीदी करोड़ों की लग्जरी कार, कीमत जान रह जाएंगे हक्के-बक्के

वीडियोज

Interview: Tarun Garg, COO, Hyundai Motor India on Hyundai Creta electric | Auto Live
Haval H9: क्या ये गाड़ी India में मिलती है? | Auto Live #havalh9
Passenger anger On Flight Delay: Indi'Go' कहें या फिर Indi'Stop'? | Bharat Ki Baat With Pratima
Road Test Review Of Volkswagen Golf GTI India  | Auto Live
दोस्ती इम्तिहान लेती है...दोस्तों की जान लेती है। | Sansani | Crime News

फोटो गैलरी

Petrol Price Today
₹ 94.72 / litre
New Delhi
Diesel Price Today
₹ 87.62 / litre
New Delhi

Source: IOCL

पर्सनल कार्नर

टॉप आर्टिकल्स
टॉप रील्स
अजित पवार के बेटे जय पवार की बहरीन में शादी, दुल्हन संग ऐसे किया खुशी का इजहार, देखें तस्वीरें
अजित पवार के बेटे जय पवार की बहरीन में शादी, दुल्हन संग ऐसे किया खुशी का इजहार, देखें तस्वीरें
पुतिन के भारत दौरे से अमेरिका में खलबली! ट्रंप ने दिल्ली के पक्ष में ले लिया बड़ा फैसला; बताया कैसे देगा साथ
पुतिन के भारत दौरे से US में खलबली! ट्रंप ने दिल्ली के पक्ष में लिया बड़ा फैसला; बताया कैसे देगा साथ
गौतम गंभीर पर भड़के रविचंद्रन अश्विन, ये ऑलराउंडर है वजह; कहा- वो खुद की पहचान...
गौतम गंभीर पर भड़के रविचंद्रन अश्विन, ये ऑलराउंडर है वजह; कहा- वो खुद की पहचान...
न्यू डैड विक्की कौशल ने खरीदी करोड़ों की लग्जरी कार, कीमत जान रह जाएंगे हक्के-बक्के
न्यू डैड विक्की कौशल ने खरीदी करोड़ों की लग्जरी कार, कीमत जान रह जाएंगे हक्के-बक्के
UP AQI: नोएडा-गाजियाबाद नहीं थम रहा जहरीली हवा का कहर, घुट रहा दम, आज भी हालत 'बेहद खराब'
नोएडा-गाजियाबाद नहीं थम रहा जहरीली हवा का कहर, घुट रहा दम, आज भी हालत 'बेहद खराब'
कहीं आपका गैस सिलेंडर एक्सपायर तो नहीं हो गया, घर पर ही ऐसे कर सकते हैं चेक
कहीं आपका गैस सिलेंडर एक्सपायर तो नहीं हो गया, घर पर ही ऐसे कर सकते हैं चेक
CBSE में 124 नॉन-टीचिंग पदों पर भर्ती, जानें किस उम्र सीमा तक के उम्मीदवार कर सकते हैं अप्लाई?
CBSE में 124 नॉन-टीचिंग पदों पर भर्ती, जानें किस उम्र सीमा तक के उम्मीदवार कर सकते हैं अप्लाई?
स्टील के बर्तन में कभी न रखें ये फूड आइटम्स, हो सकता है फूड पॉइजनिंग का खतरा
स्टील के बर्तन में कभी न रखें ये फूड आइटम्स, हो सकता है फूड पॉइजनिंग का खतरा
Embed widget