Bihar Assembly Election: आचार संहिता में कितनी होती है सरकार की पावर, किन चीजों पर होती है पाबंदी?
Bihar Assembly Election: बिहार विधानसभा चुनाव के लिए आधिकारिक तौर पर तारीखों की घोषणा कर दी गई है. आइए जानते हैं आचार संहिता के दौरान मौजूदा सरकार की शक्तियां कितनी सीमित हो जाती हैं.

Bihar Assembly Election: भारत निर्वाचन आयोग ने बिहार विधानसभा चुनावों की तारीखों की आधिकारिक घोषणा कर दी है. राज्य के इतिहास में पहली बार दो चरणों में चुनाव किए जाएंगे. पहला चरण 6 नवंबर को होगा, जिसमें 121 निर्वाचन क्षेत्रों के लिए मतदान किए जाएंगे. इसी के साथ दूसरा चरण 11 नवंबर को होगा और इसमें बाकी 122 सीटें शामिल होंगी. चुनावों की घोषणा होते ही आचार संहिता लागू हो जाती है. आइए जानते हैं कि आचार संहिता के दौरान वर्तमान सरकार की शक्तियां कितनी हद तक सीमित हो जाती हैं.
आचार संहिता के अंतर्गत सरकारी शक्तियां और सीमाएं
आचार संहिता के लागू होते ही सभी राजनीतिक दलों के लिए समान अवसर सुनिश्चित करने के लिए सरकार की नीति निर्माण शक्तियां सीमित हो जाती हैं. मतदाताओं को प्रभावित करने वाली किसी भी नई योजना, परियोजना या फिर नीति की घोषणा पर बैन लगा दिया जाता है. इसी के साथ कोई भी वित्तीय अनुदान या फिर प्रोत्साहन राशि नहीं जारी की जा सकती.
इतना ही नहीं बल्कि मंत्रियों को नई परियोजनाओं का शिलान्यास या फिर उद्घाटन करने से रोक दिया जाता है. साथ ही चुनाव अधिकारियों के तबादलों पर भी कड़ा नियंत्रण रखा जाता है. इसी के साथ चुनाव से संबंधित कामों के लिए सरकारी संसाधनों, जैसे कि सरकारी वाहन, विमान, मशीनरी या फिर कर्मचारियों का इस्तेमाल रोक दिया जाता है. आचार संहिता के दौरान सार्वजनिक धन का इस्तेमाल करके सरकारी उपलब्धियों को दर्शाने वाले विज्ञापनों पर भी प्रतिबंध लगा दिया जाता है.
चुनाव के दौरान सरकारी भवनों, अतिथि घर, और विश्राम घर का इस्तेमाल प्रचार कार्यालय या चुनावी सभाओं के लिए नहीं किया जा सकता. खेल के मैदान, हेलीपैड और सभागार जैसे सार्वजनिक स्थल सभी दलों के लिए होने चाहिए. इसी के साथ मंदिर, मस्जिद और गिरजाघरों के साथ-साथ किसी भी धार्मिक स्थल का इस्तेमाल चुनाव प्रचार के लिए नहीं किया जा सकता.
किन चीजों पर है छूट
इन सभी प्रतिबंधों के बावजूद कुछ जरूरी चीजों पर छूट दी जाती है. जैसे प्राकृतिक आपदा या फिर मानव निर्मित दुर्घटनाओं के मामले में प्रभावित नागरिकों को सहायता के लिए आपदा राहत कार्य बिना किसी सीमा के जारी रह सकता है. इसी तरह आचार संहिता लागू होने से पहले जो काम शुरू हुए थे वह सभी विकास कार्य जारी रह सकते हैं.
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Source: IOCL






















