महामंडलेश्वर की पदवी छोड़ते हुए भावुक हुईं ममता कुलकर्णी, इन लोगों को ठहराया जिम्मेदार
Mamta Kulkarni News: ममता कुलकर्णी को किन्नर अखाड़े ने 24 जनवरी को संन्यास की दीक्षा दिलाकर महामंडलेश्वर की उपाधि दी थी. सार्वजनिक समारोह में उनका पट्टाभिषेक कर चादर पेशी की रस्म अदा की गई थी.

UP News: फिल्म एक्ट्रेस से साध्वी बनीं ममता कुलकर्णी ने महामंडलेश्वर की पदवी छोड़ दी है और महामंडलेश्वर के पद से इस्तीफा दे दिया है. ममता कुलकर्णी ने पदवी मिलने और पट्टाभिषेक होने के 18वें दिन ही इस्तीफा दे दिया है. शंकराचार्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती और अर्धनारीश्वर धाम की प्रमुख हिमांगी सखी को अपने इस्तीफा के लिए जिम्मेदार ठहराया है.
ममता कुलकर्णी ने कहा कि लगातार हो रही गलत आलोचना और आरोपों से आहत होकर इस्तीफा दे रही हूं. ममता कुलकर्णी ने एबीपी न्यूज के संवाददाता को अपना वीडियो संदेश भेजकर महामंडलेश्वर की पदवी से इस्तीफा देने की बात कही है. उन्होंने महामंडलेश्वर की पदवी दिए जाने के लिए दो लाख रुपये मांगे जाने का गंभीर आरोप भी लगाया है. उन्होंने कहा है कि किन्नर अखाड़े में पैसे लेकर महामंडलेश्वर बनाए जा रहे हैं और उनसे भी दो लाख रुपये मांगे गए थे.
हालांकि उन्होंने कह दिया था कि उनके पास पैसे नहीं हैं, किन्नर अखाड़े के लोगों ने एक महामंडलेश्वर की जेब से दो लाख रुपये निकाल लिए थे.
ममता कुलकर्णी ने तकरीबन पांच मिनट के वीडियो संदेश में कहा है कि आखिरकार उनके महामंडलेश्वर बनने से तमाम लोगों को दिक्कत क्यों हो रही है. क्यों लोगों ने कोहराम मचा कर रख दिया है, वह तो तकरीबन 25 साल पहले ही साध्वी बन चुकी हैं.
ममता कुलकर्णी ने कहा कि उन्होंने 25 साल पहले फिल्में छोड़ने के बाद ही दीक्षा ले ली थी. वह लगातार सनातन धर्म के प्रचार प्रसार का काम कर रही थीं. उन्हें लगता है कि उन पर बेवजह निशाना साधा जा रहा है, इसी से आहत होकर वह अब महामंडलेश्वर की पदवी छोड़ रही हैं. उन्होंने खुद पर निशाना साधने वालों के ज्ञान पर भी सवालिया निशान खड़े किए हैं.
ममता कुलकर्णी ने 24 जनवरी को ली थी संन्यास की दीक्षा
प्रयागराज महाकुंभ में किन्नर अखाड़े ने 24 जनवरी को संन्यास की दीक्षा दिलाकर महामंडलेश्वर की उपाधि दी थी. सार्वजनिक समारोह में उनका पट्टाभिषेक कर चादर पेशी की रस्म अदा की गई थी. ममता कुलकर्णी को महामंडलेश्वर बनाए जाने पर काफी विवाद हुआ था.
धीरेंद्र शास्त्री ने भी किया था व्यंग्य
शंकराचार्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती समेत तमाम संत महात्माओं ने एतराज जताया था और सवाल खड़े किए थे. बागेश्वर धाम के कथा वाचक धीरेंद्र शास्त्री ने भी व्यंग्य करते हुए कहा था कि कई सालों तक सक्रिय रहने के बाद उन्हें आज तक महामंडलेश्वर नहीं बनाया गया.
ममता कुलकर्णी के किन्नर अखाड़ा छोड़ने पर अभी सस्पेंस
हालांकि ममता कुलकर्णी ने एबीपी न्यूज को भेजे गए अपने वीडियो संदेश में यह नहीं साफ किया है कि उन्होंने किन्नर अखाड़ा भी छोड़ दिया है या नहीं. ममता कुलकर्णी को महामंडलेश्वर की पदवी दिए जाने पर उनके पुराने जीवन पर भी सवालिया निशान खड़े किए गए थे. आरोप लगाया गया था कि वह देश विरोधी लोगों से मिली हुई थी.
अखाड़ा परिषद ने किया था ममता कुलकर्णी का बचाव
वहीं इस मामले में केंद्र और यूपी की सरकार से दखल दिए जाने की मांग की गई थी. किसी बड़ी साजिश की आशंका जताते हुए इंटेलिजेंस से जांच कराए जाने की मांग संतों की तरफ से की गई थी. हालांकि साधु संतों की सबसे बड़ी संस्था अखाड़ा परिषद ने ममता कुलकर्णी और किन्नर अखाड़े का बचाव किया था. महामंडलेश्वर की पदवी दिए जाने के बाद उन्हें नया नाम श्री यमाई नंद गिरि दिया गया था.
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Source: IOCL























