'मानसून पूर्व की बारिश ने ही दिल्ली को पानी-पानी...', रेखा गुप्ता सरकार पर देवेंद यादव ने साधा निशाना
Delhi Politics: दिल्ली प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष देवेंद्र यादव ने दिल्ली में बारिश के बाद जलभराव पर बीजेपी सरकार की आलोचना की है. उन्होंने बीजेपी सरकार के दावों को खोखला करार दिया है.

Devender Yadav News: दिल्ली प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष देवेंद्र यादव ने राजधानी में बारिश के बाद बने जलभराव के हालात पर कड़ी प्रतिक्रिया दी है. उन्होंने कहा कि बीजेपी की रेखा गुप्ता सरकार की आधी-अधूरी तैयारियों ने मानसून पूर्व की बारिश ने ही दिल्ली को पानी-पानी कर दिया है.
देवेंद्र यादव ने कहा, “हर साल की तरह इस बार भी बारिश के साथ दिल्ली डूब गई है. बीजेपी सरकार की लापरवाही और खोखले दावों के कारण राजधानी की सड़कों पर जलभराव और ट्रैफिक जाम ने आपातकाल जैसी स्थिति बना दी.”
उन्होंने बताया कि नालों की सफाई के लिए निर्धारित 31 मई की डेडलाइन के बावजूद, कई जगहों पर गाद निकालने का काम अधूरा है. रेखा गुप्ता सरकार की चार इंजनों वाली व्यवस्था पूरी तरह फेल साबित हो रही है.
'पानी भरने से घंटों लंबा ट्रैफिक जाम रहा'
दिल्ली कांग्रेस अध्यक्ष ने बताया कि एयरपोर्ट रोड, मिंटो ब्रिज, धौला कुआं, आईटीओ, कनॉट प्लेस, दिल्ली कैंट, तिमारपुर, चाणक्यपुरी, सफदरजंग, नानकपुरा, रोहतक रोड और दिल्ली के बाहरी व उत्तरी इलाकों में पानी भरने से घंटों लंबा ट्रैफिक जाम रहा. कई वाहन पानी में फंसे और सामान्य जीवन अस्त-व्यस्त हो गया.
उन्होंने सवाल उठाया सरकार खुद अपनी जिम्मेदारी लेने के बजाय असिस्टेंट इंजीनियर, जूनियर इंजीनियर और पंप ऑपरेटर को निलंबित कर जनता को क्या संदेश देना चाहती है?
देवेंद्र यादव ने बीजेपी और आम आदमी पार्टी दोनों पर निशाना साधते हुए कहा, “दिल्ली की जनता को जलभराव से निजात दिलाने की बजाय दोनों पार्टियां एक-दूसरे पर आरोप मढ़कर अपने राजनीतिक हित साध रही हैं.”
उन्होंने कहा कि आम आदमी पार्टी ने एक दशक तक सत्ता में रहते हुए जल निकासी की समस्या का समाधान नहीं किया और अब विपक्ष में आकर वही कर रही है जो पहले बीजेपी करती थी—मात्र आलोचना.
देवेंद्र यादव ने मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता के मार्च 2025 में दिए गए बयान कि याद दिलाते हुए कहा कि उन्होंने वादा किया था “इस साल कुछ बदला हुआ दिखेगा” लेकिन PWD और दिल्ली पुलिस के साझा आंकड़ों के अनुसार 2025 में अब तक 445 जलभराव वाले स्थानों की पहचान हुई है. इसका मतलब है कि वादे खोखले थे और तैयारी अधूरी. आखिर में देवेंद्र यादव ने जोर देकर कहा कि शीला दीक्षित सरकार के समय दिल्ली में कभी भी जलभराव की यह स्थिति नहीं आई थी, क्योंकि हर साल मई के मध्य तक नालों की सफाई पूरी कर दी जाती थी.
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Source: IOCL





















