मांझी ने पांच सांसदों पर लगाया फर्जी प्रमाण पत्र बनवा कर आरक्षण का लाभ उठाने का आरोप, कहा- जांच होनी चाहिए
मांझी ने आरोप लगाया कि 15 से 20 परसेंट लोग ऐसे हैं जो फर्जी प्रमाण पत्र के आधार पर आरक्षण का लाभ लेकर काम कर रहे हैं. उन्होंने कहा कि दलितों के आरक्षित सीटों से सामान्य वर्ग के लोग चुनाव जीत रहे हैं.

पटना: बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी (Jitan Ram Manjhi) ने बुधवार को बड़ा बयान दिया है. उन्होंने देश के पांच सांसदों पर फर्जी तरीके से आरक्षण का लाभ उठाने का आरोप लगाया है. साथ ही स्पेशल कमीशन बनाकर इस मामले की जांच की मांग की है. मांझी ने पंजाब के फरीदकोट से कांग्रेस (Congress) सांसद मोहम्मद सादिक अली (Mohammad Sadiq), आरामबाग से टीएमसी सांसद आफरीन अली (Afreen Ali), अमरावती महाराष्ट्र से सांसद नवनीत कौर राणा (Navneet Kaur Rana), आगरा से बीजेपी सांसद और केंद्रीय मंत्री एसपी सिंह बघेल (SP Singh Baghel) और महाराष्ट्र के सोलापुर से बीजेपी (BJP) सांसद जय सिद्धेश्वर शिवाचार्य स्वामी पर ये आरोप लगाया है.
कमीशन बनाकर जांच कराई जाए
बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री और हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा के राष्ट्रीय अध्यक्ष ने कहा कि उक्त पांचों सांसद फर्जी सर्टिफिकेट बनाकर आरक्षण का लाभ उठा रहे हैं. ऐसे में हमारी मांग है कि अलग से कमीशन बनाकर इन लोगों की जांच कराई जाए. मांझी ने ये आरोप लगाया कि 15 से 20 परसेंट लोग ऐसे हैं जो फर्जी प्रमाण पत्र के आधार पर आरक्षण का लाभ लेकर नौकरी कर रहे हैं. उन्होंने कहा कि दलितों के आरक्षित सीटों से सामान्य वर्ग के लोग चुनाव जीत रहें हैं.
बता दें कि बुधवार को हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा की राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक बुलाई गई थी. बैठक दिल्ली में संपन्न हुई. बैठक में पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जीतन राम मांझी, पार्टी के राष्ट्रीय प्रधान महासचिव, बिहार सरकार में लघु जल संसाधन, अनुसूचित जाति/जनजाति कल्याण मंत्री संतोष कुमार सुमन समेत विभिन्न प्रदेश से आए हुए प्रतिनिधियों ने हिस्सा लिया.
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