मनी लॉन्ड्रिंग मामले में ED का बड़ा एक्शन, 115 करोड़ रुपये की संपत्ति की कुर्क
जांच के दौरान ED को पता चला कि निवेशकों से एकत्र किए गए धन को एनएसईएल के व्यापारिक सदस्यों (डिफॉल्टरों) ने रियल एस्टेट में निवेश, बकाया ऋणों के पुनर्भुगतान और अन्य गतिविधियों के लिए डायवर्ट किया.

प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के मुंबई जोनल कार्यालय ने मनी लॉन्ड्रिंग निवारण अधिनियम (पीएमएलए) 2002 के प्रावधानों के तहत नेशनल स्पॉट एक्सचेंज लिमिटेड (एनएसईएल) और अन्य के मामले में 31 मार्च को 115.86 करोड़ रुपये (लगभग) मूल्य की अचल संपत्तियों को अंतिम रूप से कुर्क किया है.
इन संपत्तियों में मुंबई, दिल्ली और राजस्थान में स्थित 15 अचल संपत्तियां शामिल हैं जो एनएसईएल के विभिन्न डिफॉल्टरों से संबंधित हैं. मेसर्स मोहन इंडिया ग्रुप, मेसर्स विमलादेवी एग्रोटेक लिमिटेड, मेसर्स यथुरी एसोसिएट्स और मेसर्स लोटस रिफाइनरीज. ईडी ने भारतीय दंड संहिता 1860 की विभिन्न धाराओं के तहत दर्ज एफआईआर के आधार पर जांच शुरू की.
निवेशकों को धोखा देने के लिए आपराधिक साजिश रची
ईडी की जांच से पता चला कि इस मामले में आरोपी व्यक्तियों ने निवेशकों को धोखा देने के लिए आपराधिक साजिश रची उन्हें एनएसईएल के मंच पर व्यापार करने के लिए प्रेरित किया, फर्जी गोदाम रसीदों जैसे जाली दस्तावेज बनाए, खातों में हेराफेरी की और इस तरह आपराधिक विश्वासघात किया और निवेशकों को 5600 करोड़ रुपये का चूना लगाया. ये भी पता चला है कि वास्तविक निवेशकों को गंभीर गबन के माध्यम से उनके निवेश से धोखा दिया गया था, जो इस तथ्य से स्पष्ट है कि एनएसईएल ने विक्रेताओं द्वारा वस्तुओं के व्यापार की अनुमति दी, बिना यह सुनिश्चित किए कि उचित मात्रा और गुणवत्ता के सामान एक्सचेंज-नियंत्रित गोदामों में संग्रहित किए गए थे, जिसके परिणामस्वरूप हजारों निवेशक गैर-मौजूद वस्तुओं में व्यापार कर रहे थे.
यह भी पता चला है कि विभिन्न निवेशकों से एकत्र किए गए धन को एनएसईएल के व्यापारिक सदस्यों (डिफॉल्टरों) द्वारा अन्य गतिविधियों जैसे रियल एस्टेट में निवेश, बकाया ऋणों के पुनर्भुगतान और अन्य गतिविधियों के लिए डायवर्ट किया गया था. पीएमएलए 2002 के तहत जांच के दौरान, इस मामले में अब तक कुल 3433.06 करोड़ रुपये की संपत्तियां कुर्क की गई हैं. इस मामले में एनएसईएल, विभिन्न डिफॉल्टरों और ब्रोकिंग संस्थाओं के खिलाफ सात (07) अभियोजन शिकायतें दर्ज की गई हैं. इस पूरे मामले में ईडी की जांच जारी है.
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Source: IOCL























