पीएम के विदेश आने जाने के खर्चों का कौन रखता है हिसाब- क्या प्रधानमंत्री को भी लेना होता है वीजा?
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जब भी विदेश यात्रा करते हैं तो वो सुर्खियों में रहती है. लेकिन आज हम आपको बताएंगे कि क्या भारत के प्रधानमंत्री को भी विदेश जाने के लिए वीजा की जरूरत पड़ती है?

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जब किसी विदेश यात्रा पर जाते हैं तो उनकी यात्राएं अक्सर सुर्खियों में रहती हैं. लेकिन आपके मन में भी सवाल उठता होगा कि पीएम के विदेश यात्राओं की योजना कौन बनाता है और इसका खर्च कौन संभालता है इसके साथ ही क्या देश प्रधानमंत्री को विदेश यात्रा के लिए वीजा की जरूरत होती है. चलिए इसी सवालो का जवाब जानने की कोशिश करते हैं.
पीएम की विदेश यात्रा का खर्च
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की विदेश यात्रा का खर्च विदेश मंत्रालय और प्रधानमंत्री कार्यालय (PMO)के तहत आने वाले विभिन्न विभागों द्वारा संयुक्त रूप से प्रबंधित किया जाता है. विदेश मंत्रालय का प्रोटोकॉल डिवीजन इन यात्राओं की योजना बनाता है और खर्चों का ब्यौरा तैयार करता है. इसके अलावा, भारतीय दूतावास और उच्चायोग भी मेजबान देश में व्यवस्थाओं के लिए खर्च करते हैं. संसद में भी यह जानकारी समय-समय पर साझा की जाती है.
क्या पीएम को वीजा की जरूरत होती है
चलिए अब बात करते हैं कि क्या भारत के प्रधानमंत्री को विदेश यात्रा के लिए वीजा की जरूरत होती है. बता दें कि भारत के प्रधानमंत्री के पास एक विशेष पासपोर्ट होता है, जिसे डिप्लोमैटिक पासपोर्ट कहते हैं. ये भारत के सीनीयर सरकारी अधिकारियों या डिप्लोमैट्स को सरकारी विदेश यात्राओं के लिए जारी किया जाता है. डिप्लोमैटिक पासपोर्ट होल्डर को किसी देश मेंजाने के लिए वीजा की जरूरत नहीं होती.
डिप्लोमैटिक पासपोर्ट
भारत में राजनयिक पासपोर्ट मैरून रंग का होता है. इस पासपोर्ट की वैलिडिटी 5 साल की होती है. इस पासपोर्ट के साथ यात्रा करने वालों को सीमा शुल्क में छूट, तेजी से इमिग्रेशन प्रक्रिया और कुछ देशों में विशेष प्रोटोकॉल सुविधाएं मिलती हैं. प्रधानमंत्री के मामले में उनकी यात्रा से पहले संबंधित देश के दूतावास या विदेश मंत्रालय के साथ समन्वय किया जाता है, जिससे औपचारिकताएं न्यूनतम होती हैं.
राजनयिक पासपोर्ट कैसे बनता है?
भारत में राजनयिक पासपोर्ट बनाने की प्रक्रिया सामान्य पासपोर्ट से अलग होती है और यह विदेश मंत्रालय के तहत संचालित होती है. राजनयिक पासपोर्ट केवल विशिष्ट व्यक्तियों जैसे राष्ट्रपति, उपराष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, केंद्रीय मंत्री, राजदूत और अन्य उच्च पदस्थ अधिकारियों को जारी किया जाता है.
पीएम मोदी की विदेश यात्रा के खर्च
साल 2025 में पीएम ने 14 देशों की यात्राएं की हैं जिनमें थाईलैंड, अमेरिका, सऊदी अरब, फ्रांस और श्रीलंका की यात्राओं का कुल खर्चा 66.8 करोड़ रुपये आया है. इसमें से फ्रांस का खर्चा 25.5 करोड़, अमेरिका का 16.5 करोड़, सऊदी अरब का 15.5 करोड़, थाईलैंड का 4.9 करोड़ और श्रीलंका का खर्चा 4.4 करोड़ रुपये आया है.
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