एक्सप्लोरर

दिल्ली में प्राइवेट स्कूलों की मनमानी फीस पर लगेगी लगाम, रेखा गुप्ता सरकार उठाएगी ये कदम

Delhi School Fee Hike: दिल्ली विधानसभा का मानसून सत्र 4 अगस्त से शुरू होगा, जो पेपरलेस होगा. सरकार निजी स्कूलों की फीस वृद्धि पर लगाम लगाने के लिए बिल लाएगी.

दिल्ली विधानसभा का मानसून सत्र सोमवार (4 अगस्त) शुरू होने जा रहा है.. यह दिल्ली में बीजेपी सरकार बनने के बाद तीसरा सत्र होगा और इस सेशन से पहली बार दिल्ली विधानसभा पूरी तरह से पेपरलेस होगी.

साथ ही 4 अगस्त से 8 अगस्त तक चलने वाले दिल्ली विधानसभा के इस मानसून सेशन में बीजेपी सरकार दिल्ली के प्राइवेट स्कूलों में फीस बढ़ोतरी पर लगाम लगाने का बिल भी लेकर आएगी, साथ ही 2 CAG रिपोर्ट भी पेश करेगी.

राजधानी दिल्ली में बीजेपी सरकार बनने के बाद अप्रैल के महीने में कई प्राइवेट स्कूलों द्वारा मनमर्जी से फीस बढ़ाने की शिकायत सामने आई थी जिसके ख़िलाफ़ अभिभावकों ने प्रदर्शन भी किए थे. इसके बाद 29 अप्रैल को दिल्ली सरकार के शिक्षा मंत्री आशीष सूद ने जानकारी दी थी कि दिल्ली सरकार में प्राइवेट स्कूलों की फीस पर लगाम लगाने के लिए Delhi School Education (Transparency in Fixation and Regulation of Fees) Bill, 2025 का ड्राफ्ट तैयार कर लिया है और मई में स्पेशल सेशन बुला कर इस बिल को पारित कर लिया जाएगा. हालांकि ऑपरेशन सिंदूर और भारत पाकिस्तान के बीच 4 दिन चले संघर्ष में ना ही दिल्ली विधानसभा का स्पेशल सेशन हो सका और ना ही बिल आ पाया.

लगभग 2 महीने के बाद नहीं आ सका है अध्यादेश

इसके बाद 10 जून को दिल्ली सरकार ने कैबिनेट में प्राइवेट स्कूल की फीस पर लगाम लगाने के लिए अध्यादेश लाने की जानकारी दी और Delhi School Education (Transparency in Fixation and Regulation of Fees) Ordinance, 2025 के प्रस्ताव को कैबिनेट में पारित करके उपराज्यपाल के पास अध्यादेश का प्रस्ताव भेजा. जिसके प्रावधान था कि अध्यादेश retroactive तरीके से 1 अप्रैल से लागू होगा लेकिन अभिभावकों के विरोध और कानूनी अड़चनों की वजह से यह अध्यादेश भी आज लगभग 2 महीने के बाद नहीं आ सका है.

फीस बढ़ोतरी पर लगाम लगाने के लिए जल्द ला सकती है बिल

अब सूत्रों के मुताबिक दिल्ली सरकार कल से शुरू हो रहे मानसून सेशन में प्राइवेट स्कूलों की फीस बढ़ोतरी पर लगाम लगाने के लिए जिस बिल का वादा अप्रैल से कर रही है, उसे ला सकती है. बीजेपी सरकार ने जानकारी दी थी कि बिल में प्रावधान रहेगा कि सभी प्राइवेट स्कूलों में स्कूल लेवल फीस रेगुलेशन कमेटी गठित होगी और इस समिति के अध्यक्ष स्कूल प्रबंधन के चेयरपर्सन होंगे, सचिव स्कूल की प्रिंसिपल होंगी, तीन शिक्षक सदस्य होंगे, और पांच अभिभावक शामिल किए जाएंगे. इसके अलावा, दिल्ली सरकार के शिक्षा निदेशक का एक प्रतिनिधि निरीक्षक (ऑब्जर्वर) के रूप में इस समिति में रहेगा.

साथ ही इस स्कूल लेवल फीस रेगुलेशन कमेटी में पांच अभिभावकों का चयन स्कूल की पेरेंट्स टीचर एसोसिएशन के सदस्यों में से लॉटरी प्रणाली के माध्यम से किया जाएगा, ताकि चयन प्रक्रिया निष्पक्ष हो. साथ ही स्कूल लेवल की यह समिति 1 साल के कार्यकाल के लिए गठित होगी और स्कूल फीस को बढ़ाने या उससे संबंधित किसी भी निर्णय को लेने के लिए जिम्मेदार होगी.

कुल सदस्यों में से कम से कम दो महिलाएं होनी चाहिए

समिति में जो पांच अभिभावक होंगे उसमें कम से कम एक अभिभावक अनुसूचित जाति या अनुसूचित जनजाति समुदाय से होना चाहिए और स्कूल लेवल कमेटी में कुल सदस्यों में से कम से कम दो महिलाएं होनी चाहिए. सरकार के मुताबिक बिल में प्रावधान किया गया है कि स्कूल लेवल फीस रेगुलेशन कमेटी स्कूल की फीस बढ़ाने से जुड़े निर्णय कुछ मानकों के आधार पर करेगी.

जिसमें प्रमुख रूप से यह देखा जाएगा कि स्कूल की इमारत की स्थिति क्या है, खेल का मैदान कैसा है, स्कूल के पास कितनी वित्तीय संपत्ति या राशि उपलब्ध है, स्कूल की मौजूदा बुनियादी सुविधाएं कैसी हैं, स्कूल किस ग्रेड में आता है, वह अपने शिक्षकों को कौन-सी पे-कमीशन के तहत वेतन देता है, प्रॉफिट की स्थिति क्या है, लाइब्रेरी की गुणवत्ता कैसी है, क्या स्कूल डिजिटल सुविधाओं से लैस है. इन सभी चीज़ों को देख कर ही फ़ीस बढ़ाने का निर्णय लिया जाएगा.

30 से 45 दिनों के भीतर रिपोर्ट प्रस्तुत करेगी

साथ ही अगर किसी को स्कूल लेवल कमेटी का फैसला चेलेंज करना है तो उसके लिए डिस्ट्रिक्ट फीस अपीलेट समिति और रिविज़न समिति तक का सिस्टम तैयार किया गया है. डिस्ट्रिक्ट फीस अपीलेट समिति की अध्यक्षता जिले के डिप्टी डायरेक्टर ऑफ़ एजुकेशन करेंगे साथ ही समिति में जोन के डिप्टी डायरेक्टर सदस्य-सचिव होंगे, एक चार्टर्ड अकाउंटेंट शामिल होगा, और एक जिला लेखाकार पदाधिकारी शामिल रहेंगे, जो उस क्षेत्र के खातों और वित्तीय पहलुओं की देखरेख करेगा और इसके अलावा चुने गए दो शिक्षक और दो अभिभावक भी इस समिति का हिस्सा होंगे.

यह समिति जिला स्तर पर फीस बढ़ोतरी से जुड़ी अपीलों की सुनवाई करेगी और मामलों पर 30 से 45 दिनों के भीतर रिपोर्ट प्रस्तुत करेगी और अगर अपील करने वाले को जिला समिति के निर्णय से संतोष नहीं होता, तो मामला राज्य स्तर की समिति के पास भेजा जाएगा.

समिति का गठन 15 जुलाई तक कर लिया जाएगा

राज्य स्तर पर एक उच्च स्तरीय समिति का गठन किया जाएगा, जिसकी अध्यक्षता दिल्ली सरकार के शिक्षा विभाग के डायरेक्टर करेंगे, जिन्हें शिक्षा मंत्रालय द्वारा नामित किया जाएगा साथ ही इस समिति में सात सदस्य शामिल होंगे: एक प्रतिष्ठित शिक्षा विशेषज्ञ , एक चार्टर्ड अकाउंटेंट, लेखा नियंत्रक, निजी स्कूलों से संबंधित एक विशेषज्ञ, अभिभावक और शिक्षा निदेशालय के अतिरिक्त निदेशक. यह समिति जिला स्तर की समिति द्वारा लिए गए निर्णयों की समीक्षा करेगी और आवश्यक होने पर अंतिम निर्णय सुनाएगी. हर स्कूल में स्कूल स्तर की समिति का गठन 15 जुलाई तक कर लिया जाएगा.

15 सितंबर तक लिया जाएगा अंतिम निर्णय

इसके बाद, यह समिति 31 जुलाई तक फीस से संबंधित प्रस्ताव तैयार कर प्रस्तुत करेगी और फिर समिति द्वारा तैयार किए गए इस प्रस्ताव पर कमेटी द्वारा 15 सितंबर तक अंतिम निर्णय लिया जाएगा. अगर समिति की ओर से कोई अतिरिक्त सुझाव नहीं आते हैं, तो प्रस्ताव को 30 सितंबर तक जिला स्तरीय समिति को भेज दिया जाएगा, ताकि वह समय रहते अगले शैक्षणिक सत्र में लागू की जाने वाली फीस पर चर्चा कर निर्णय ले सके.

इससे अभिभावकों को समय रहते यह स्पष्ट रूप से पता चल जाएगा कि फीस बढ़ेगी या नहीं और अगर किसी को इस निर्णय पर आपत्ति या सुझाव है, तो वह अपनी बात समिति के सामने रख सकता है साथ ही पूरी प्रक्रिया को पारदर्शी बनाया गया है सभी रिकॉर्ड और बैलेंस शीट अभिभावकों के सामने प्रस्तुत किये जाएंगे.

बिल में यह भी प्रावधान किया गया था कि अगर कोई स्कूल बिना समिति की अनुमति के एकतरफा तरीके से फीस बढ़ जाता है, तो उस पर 1 लाख रुपये से 10 लाख रुपये तक का जुर्माना लगाया जा सकता है साथ ही आवश्यकता पड़ने पर शिक्षा निदेशालय को ऐसे स्कूल की मान्यता रद्द करने और प्रबंधन अपने अधीन लेने का अधिकार भी प्राप्त होगा. इसके अलावा, अगर कोई स्कूल एकतरफा तरीके से फीस बढ़ाता है और बढ़ी फीस न देने पर बच्चों को कक्षा से बाहर बैठा देता है तो इस पर भी कठोर कार्रवाई की जाएगी.

शिवांक मिश्रा साल 2020 से पत्रकारिता के क्षेत्र में सक्रिय हैं और इस वक्त एबीपी न्यूज़ में बतौर प्रिंसिपल कॉरेस्पॉन्डेंट कार्यरत हैं. उनकी विशेषज्ञता साइबर सुरक्षा, इन्वेस्टिगेटिव रिपोर्टिंग और जनहित से जुड़े मामलों की गहन पड़ताल में है. कनाडा में खालिस्तानी आतंकियों के शरण मॉड्यूल से लेकर भारत में दवा कंपनियों की अवैध वसूली जैसे विषयों पर कई महत्वपूर्ण खुलासे किए हैं. क्रिकेट और फुटबॉल देखना और खेलना पसंद है.
Read
और पढ़ें
Sponsored Links by Taboola

टॉप हेडलाइंस

'भारत में वैवाहिक बलात्कार पर पतियों को सजा क्यों नहीं...', मैरिटल रेप पर कांग्रेस सांसद का बड़ा बयान
'भारत में वैवाहिक बलात्कार पर पतियों को सजा क्यों नहीं...', मैरिटल रेप पर कांग्रेस सांसद का बड़ा बयान
'उ नेता किस चीज का, महुआ आया तो…', मारपीट मामले में तेज प्रताप पर फूटा अविनाश की मां का गुस्सा
'उ नेता किस चीज का, महुआ आया तो…', मारपीट मामले में तेज प्रताप पर फूटा अविनाश की मां का गुस्सा
भूकंप के तगड़े झटकों से डोली धरती, रिक्टर स्केल पर 6.7 तीव्रता, घरों से निकलकर भागे लोग
भूकंप के तगड़े झटकों से डोली धरती, रिक्टर स्केल पर 6.7 तीव्रता, घरों से निकलकर भागे लोग
Akhanda 2 X Review: रिलीज होते ही बॉक्स ऑफिस पर छाई ‘अखंडा 2 थांडवम’, लोग बोले- 'ब्लॉकबस्टर है ये फिल्म'
रिलीज होते ही बॉक्स ऑफिस पर छाई ‘अखंडा 2 थांडवम’, लोग बोले- 'ब्लॉकबस्टर है ये फिल्म'

वीडियोज

NPS में बड़ा धमाका! अब Gold–Silver ETF तक निवेश की आज़ादी | Paisa Live
Delhi News: सैनिक फार्म में बुलडोजर कार्रवाई, देखते ही देखते ढह गया मकान | Bulldozer Action
MP News: Bhopal में चलती कार में लगी भीषण आग... हादसे में 5 लोग जलकर राख | Road Accident | abp News
Goa Night Club Fire Update: 2-3 दिन में गोवा पुलिस की हिरासत में होंगे लूथरा बंधू | Breaking News
सीक्रेट लव का शैतान दुश्मन | Sansani

फोटो गैलरी

Petrol Price Today
₹ 94.72 / litre
New Delhi
Diesel Price Today
₹ 87.62 / litre
New Delhi

Source: IOCL

पर्सनल कार्नर

टॉप आर्टिकल्स
टॉप रील्स
'भारत में वैवाहिक बलात्कार पर पतियों को सजा क्यों नहीं...', मैरिटल रेप पर कांग्रेस सांसद का बड़ा बयान
'भारत में वैवाहिक बलात्कार पर पतियों को सजा क्यों नहीं...', मैरिटल रेप पर कांग्रेस सांसद का बड़ा बयान
'उ नेता किस चीज का, महुआ आया तो…', मारपीट मामले में तेज प्रताप पर फूटा अविनाश की मां का गुस्सा
'उ नेता किस चीज का, महुआ आया तो…', मारपीट मामले में तेज प्रताप पर फूटा अविनाश की मां का गुस्सा
भूकंप के तगड़े झटकों से डोली धरती, रिक्टर स्केल पर 6.7 तीव्रता, घरों से निकलकर भागे लोग
भूकंप के तगड़े झटकों से डोली धरती, रिक्टर स्केल पर 6.7 तीव्रता, घरों से निकलकर भागे लोग
Akhanda 2 X Review: रिलीज होते ही बॉक्स ऑफिस पर छाई ‘अखंडा 2 थांडवम’, लोग बोले- 'ब्लॉकबस्टर है ये फिल्म'
रिलीज होते ही बॉक्स ऑफिस पर छाई ‘अखंडा 2 थांडवम’, लोग बोले- 'ब्लॉकबस्टर है ये फिल्म'
दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ 9 गेंदों में गिरे 5 विकेट, टीम इंडिया के नाम बना शर्मनाक रिकॉर्ड
दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ 9 गेंदों में गिरे 5 विकेट, टीम इंडिया के नाम बना शर्मनाक रिकॉर्ड
दुनिया भर में कैसे मनाते हैं क्रिसमस, ट्री सजाने से लेकर सैंटा के इंतजार तक क्या-क्या परंपराएं मशहूर?
दुनिया भर में कैसे मनाते हैं क्रिसमस, ट्री सजाने से लेकर सैंटा के इंतजार तक क्या-क्या परंपराएं मशहूर?
फर्जीवाड़ा कर तो नहीं लिया लाडकी बहिन योजना का लाभ, वापस करना पड़ेगा पैसा; कहीं आपका नाम भी लिस्ट में तो नहीं?
फर्जीवाड़ा कर तो नहीं लिया लाडकी बहिन योजना का लाभ, वापस करना पड़ेगा पैसा; कहीं आपका नाम भी लिस्ट में तो नहीं?
मौत के नीचे शूटिंग... रीलबाजी में ट्रक के नीचे घुस गया शख्स, वीडियो देख भड़क गए यूजर्स
मौत के नीचे शूटिंग... रीलबाजी में ट्रक के नीचे घुस गया शख्स, वीडियो देख भड़क गए यूजर्स
Embed widget