Manoj Jha: 'तो पहलगाम में आतंकी हमला नहीं होता', बोले मनोज झा- संजीदगी से मामले को देखा जाए
सांसद मनोज झा ने कहा कि सैन्य कार्रवाई पर गोपनीयता मेंटेन की जाती है, लेकिन कुछ लोग ढोल नगाड़े बजा रहे. ठोस कार्रवाई हो. जो आतंक की प्रयोगशाला है उसका खात्मा हो.

MP Manoj Jha: पहलगाम हमले पर आरजेडी सांसद मनोज झा ने कहा कि पुलवामा घटना के बाद अगर हमने दुरुस्त काम किया होता तो पहलगाम में आतंकी हमला नहीं होता. पुलवामा घटने में हमने अपने जवानों को खोया. पुलवामा घटना की जांच रिपोर्ट का क्या हुआ? कहां गयी? श्रद्धांजलि देकर निश्चिंत हो जाते हैं. ठोस कार्रवाई हो. जो आतंक की प्रयोगशाला है उसका खात्मा हो.
'संजीदगी से मामले को देखा जाए'
उन्होंने कहा कि सैन्य कार्रवाई पर गोपनीयता मेंटेन की जाती है, लेकिन कुछ लोग ढोल नगाड़े बजा रहे. जब पाकिस्तान के दो टुकड़े हुए थे. बांग्लादेश बना था तो चार दिन पहले तक किसी को पता नहीं चला था. संजीदगी से मामले को देखा जाए.
पाकिस्तानी नेताओं के जरिए भारत को दी जा रही धमकी पर उन्होंने कहा कि बिलावल भुट्टो जैसे नेताओं को गंभीरता से नहीं लेना चाहिए. इससे बड़ी धमकियां हमने देखीं हैं, जो जुल्फिकार अली भुट्टो ने दी थी. यह लोग स्मरण कर लें कि भारत इतिहास में कहां दर्ज है. हमारे देश जैसी डेमोक्रेसी का स्वाद उनको नहीं मिला. पंजाब के पूर्व सीएम और कांग्रेस नेता चन्नी के सर्जिकल स्ट्राइक के सबूत मांगने पर कहा कि देखिए इससे अब आगे बढ़ना है. यह बीती बातें हैं.
जातीय जनगणना के निर्णय, तेजस्वी यादव के जरिए पीएम को लिखी गई चिट्ठी पर कहा कि ताकतवर हुकूमत को हमारी मांग के आगे झुकना पड़ा. 40 वर्षों से लालू जी इसकी मांग कर रहे थे. तेजस्वी ने पीएम को चिट्ठी लिखकर कहा है कि यह आखिरी मील का पत्थर नहीं है.
केंद्र सरकार से तेजस्वी की मांग पर बोले
केंद्र सरकार बताए जातीय गणना कब होगी? आरक्षण का दायरा बढ़ाया जाए. पिछड़ों/अति पिछड़ों के लिए आरक्षित निर्वाचन क्षेत्र, निजी क्षेत्र में आरक्षण. आय की असमानता खत्म करो, मंडल कमीशन की शेष सिफारिशों को लागू कराया जाए. यह मांगें हैं. इन सबके बिना आपके जातीय गणना की घोषणा आधारहीन है.
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