कोलकाता में हार के बाद अश्विन हुए आगबबूला, भारतीय टीम को ये क्या कह दिया
भारत की कोलकाता टेस्ट हार के बाद रविचंद्रन अश्विन ने टीम की बड़ी कमी उजागर की है. उन्होंने कहा कि भारतीय बल्लेबाज अब स्पिन के खिलाफ संघर्ष कर रहे हैं.

IND Vs SA: ईडन गार्डन्स में दक्षिण अफ्रीका के हाथों 30 रन की करारी हार ने टीम इंडिया की कमजोरियां जाहिर कर दी हैं. 134 रनों का मामूली लक्ष्य देकर भी अफ्रीकी टीम के गेंदबाजों ने भारत के बल्लेबाजों ने 93 पर ही समेट दिया. अब टीम इंडिया के पूर्ब खिलाड़ी आर. अश्विन ने टीम को आईना दिखाया है.
अपने यूट्यूब चैनल पर अश्विन ने बेबाकी से कहा कि आज की भारतीय टीम, खासकर स्पिन के खिलाफ, उतनी मजबूत नहीं है जितनी पहले थी. उनके अनुसार पश्चिमी देशों की टीमें अब भारत से ज्यादा बेहतर तरीके से स्पिन को खेलती हैं और यह बात ईडन गार्डन की पिच पर साफ दिखाई दी.
“सचिन होते तो मैच चौथे दिन जाता”
अश्विन ने तुलना करते हुए कहा कि अगर सचिन तेंदुलकर, अमोल मजूमदार या मिथुन मनहास जैसे महान बल्लेबाज इसी पिच पर स्पिन के खिलाफ खेलते, तो यह टेस्ट तीन दिन नहीं बल्कि चार दिन तक खेला जाता. अश्विन के मुताबिक, 16 बल्लेबाजों में से सिर्फ 3-4 ही मैच में ढंग से डिफेंस कर पाए. उन्होंने साफ कहा, “अगर आप टर्निंग ट्रैक पर खेलना चाहते हैं, तो आपका स्पिन के खिलाफ गेम मजबूत होना ही चाहिए. नही तो ऐसी पिचों पर मत खेलो.”
भारत की बल्लेबाजी पूरी तरह लड़खड़ा गई
शुभमन गिल पहली पारी में गर्दन की चोट के कारण बाहर हो गए और टीम को सिर्फ 10 खिलाड़ियों के साथ बल्लेबाजी करनी पड़ी. वाशिंगटन सुंदर (31) और अक्षर पटेल (26) ने कुछ देर संघर्ष किया, लेकिन बाकी बल्लेबाज सस्ते में चलते बने. दक्षिण अफ्रीका के स्पिनर साइमन हार्मर ने 4 विकेट लिए.
2020 के बाद से भारतीय बल्लेबाजों की स्पिन के खिलाफ गिरावट
अश्विन ने एक चौंकाने वाला आंकड़ा पेश किया है. उन्होंने बताया 2016 से 2019 के बीच भारतीय बल्लेबाजों का स्पिन के खिलाफ औसत 53.3 की रफ्तार से रन बनाते थे. 2020 से 2024 तक यह औसत गिरकर 33.8 हो गया है. यही गिरावट भारत के घरेलू टेस्ट दबदबे में भी दिखती है. 2011 से 2023 तक भारत ने घर में सिर्फ 5 टेस्ट हारे थे. हालांकि 2023 के बाद से गौतम गंभीर के कोच बनने के बाद भारत 5 टेस्ट हार चुका है.
“तेज गेंदबाजी पर मेहनत करते हैं, स्पिन पर नहीं”
अश्विन ने कहा कि भारतीय खिलाड़ी अब तेज गेंदबाजी को चुनौती मानकर उस पर ज्यादा मेहनत करते हैं, जबकि स्पिन गेंदबाजी को नजरअंदाज कर देते हैं. उन्होंने कहा, “दुनिया में स्पिन खेलने वाले हम सबसे अच्छे थे. अब वेस्टर्न टीमें हमसे बेहतर हैं क्योंकि वे प्रेक्टिस ज्यादा करती हैं.”
दूसरा टेस्ट अब ‘करो या मरो’ जैसा
दक्षिण अफ्रीका ने 2010 के बाद पहली बार भारत में टेस्ट जीता है. सीरीज का दूसरा और अंतिम टेस्ट 22 नवंबर को गुवाहाटी में खेला जाएगा, जहां भारत को किसी भी हाल में जीत चाहिए. स्पष्ट है, अगर भारत को फिर से घर में अपना दबदबा साबित करना है, तो स्पिन के खिलाफ अपनी पुरानी पहचान वापस लानी होगी.
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Source: IOCL























