Rakesh Tikait: आंदोलन खत्म होने के बाद महाराष्ट्र-तमिलनाडु में किसानों की बैठक, टिकैत बोले- जहां बुलाते हैं, वहां मीटिंग करते हैं
Farmers Protest End: भारतीय किसान यूनियन (बीकेयू) के नेता राकेश टिकैत ने कहा कि जहां भी लोग हमें बुलाते हैं और जरूरत होती है वहां हम बैठकें आयोजित करते हैं.
Farmers Protest End, Rakesh Tikait: भारतीय किसान यूनियन (बीकेयू) के नेता राकेश टिकैत ने कहा कि जहां भी लोग हमें बुलाते हैं और जरूरत होती है वहां हम बैठकें आयोजित करते हैं. टिकैत ने कहा कि हम 19 दिसंबर को महाराष्ट्र के वर्धा और 17 दिसंबर को तमिलनाडु जा रहे हैं. बता दें कि कृषि कानूनों को निरस्त किए जाने और केंद्र सरकार की ओर से किसानों की अन्य मांग माने जाने के बाद आंदोलन को स्थगति कर दिया गया था. इस दौरान किसान नेताओं ने कहा था कि संयुक्त किसान मोर्चा बरकरार रहेगा. किसान नेताओं ने कहा था कि किसानों के मुद्दे पर आंदोलन जारी रहेगा.
'धन्यवाद किसान महापंचायत' का आयोजन
आंदोलन स्थगित कर दिया गया है. ऐसे में तय तारीख यानी 11 दिसंबर से किसान दिल्ली-हरियाणा के बॉर्डरों पर धरना स्थल से अपने घर के लिए लौट रहे हैं. इस दौरान आज यानी रविवार को कैराना पानीपत बाईपास के पास भारतीय किसान यूनियन ने एक 'धन्यवाद किसान महापंचायत' का आयोजन किया था. वहीं, नेता राकेश टिकैत ने शनिवार को कहा था कि किसान 15 दिसंबर तक दिल्ली सीमा पर अपना आंदोलन स्थल पूरी तरह से खाली कर देंगे.
टिकैट ने बताया कि किसानों का पहला समूह शनिवार को उत्तराखंड और उत्तर प्रदेश के लिए रवाना हो गया.उन्होंने कहा कि रविवार को गाजीपुर बॉर्डर का एक बड़ा हिस्सा खाली कर दिया जाएगा, हालांकि इसे पूरी तरह से 15 दिसंबर तक खाली किया जाएगा. टिकैत ने कहा था कि वे सभी किसानों को भेजकर घर लौटेंगे.
We organise meetings wherever people call us and is required...We are going to Wardha, Maharashtra on December 19 and to Tamil Nadu on December 17: BKU leader Rakesh Tikait pic.twitter.com/NDcsefPFkd
— ANI (@ANI) December 12, 2021
किसान अपने-अपने घरों की ओर हो रहे रवाना
वहीं, किसानों के घर लौटने के क्रम में शनिवार को फूलों से लदी ट्रैक्टर ट्रॉलियों के काफिले विजय गीत बजाते हुए सिंघु धरना स्थल से बाहर निकले. सिंघु बॉर्डर छोड़ने से पहले कुछ किसानों ने हवन किया, तो कुछ ने अरदास और ईश्वर को धन्यवाद करके पंजाब, हरियाणा और उत्तर प्रदेश स्थित अपने-अपने घरों की ओर रवाना हुए.
गौरतलब है कि तीन कृषि कानून को वापस लिए जाने के एलान और केंद्र सरकार की तरफ से मिले नए प्रस्ताव पर बनी सहमति के बाद किसान संगठनों की तरफ से गुरुवार को आंदोलन स्थगित कर दिया था. पिछले एक साल से ज्यादा समय से दिल्ली की विभिन्न सीमाओं पर किसान आंदोलन कर रहे थे. शनिवार से किसानों का धरना स्थल से घर लौटना शुरू हो गया है.
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