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Delhi Murder Case: पुलिस को अभी नहीं मिला दिल्ली हत्याकांड में इस्तेमाल किया गया चाकू, साहिल की रिमांड 3 दिन और बढ़ी
शाहबाद डेरी हत्याकांड मामले में आरोपी साहिल की पुलिस रिमांड को अदालत ने 3 दिनों के लिए बढ़ा दिया है, उसने भीड़ के सामने ही पीड़िता को 20 बार चाकुओंं से गोदकर हत्या कर दी थी.
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Delhi Murder Case: दिल्ली हत्याकांड मामले में आरोपी साहिल की पुलिस रिमांड 3 दिन के लिए बढ़ा दी गई है. दिल्ली पुलिस का कहना है कि अभी आरोपी के पास से मर्डर वेपेन नहीं बरामद किया जा सका है जिस वजह से हमें आरोपी से पूछताछ करनी है. दिल्ली पुलिस ने साहिल की 5 दिन की रिमांड की मांग की थी लेकिन अदालत ने सिर्फ 2 दिन की रिमांड दी.
इसके बाद पुलिस ने एक बार और रिमांड बढ़ाने की मांग की तो पुलिस की रिक्वेस्ट को कंसीडर करते हुए अदालत ने 1 दिन की और रिमांड बढ़ा दी. साहिल 3 दिन की पुलिस रिमांड पर है. आरोपी साहिल ने पीड़िता की रविवार (28 मई) को देर रात एक गली में चाकुओं से गोदकर हत्या कर दी थी.
राष्ट्रीय अनुसूचित जाति आयोग ने राष्ट्रीय राजधानी (एनसीएससी) में एक नाबालिग लड़की की जघन्य हत्या को लेकर दिल्ली सरकार और शहर की पुलिस से एक रिपोर्ट मांगी. साक्षी (16) की शाहबाद डेरी इलाके की एक भीड़भाड़ वाली गली में साहिल ने 20 से अधिक बार चाकू से ताबड़तोड़ वार कर और फिर पत्थर से कुचलकर हत्या कर दी थी. इस दौरान उनके साथ के राहगीर तमाशबीन बने रहे थे.
क्या कहती है पीड़िता की पोस्टमार्टम रिपोर्ट?
पुलिस के मुताबिक, पीड़िता के शरीर पर चोट के 34 निशान मिले हैं और उसकी खोपड़ी फट गयी थी. एनसीएससी ने दिल्ली के मुख्य सचिव, अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजाति/अन्य पिछड़ा वर्ग कल्याण विभाग के सचिव, दिल्ली सरकार, शहर के पुलिस आयुक्त, उपायुक्त और जिला मजिस्ट्रेट को पत्र लिखकर उसे इस मामले पर विस्तृत रिपोर्ट मांगी थी. आयोग ने कहा कि वह अखबारों में आयी खबरों के आधार पर घटना का स्वत: संज्ञान ले रहा है.
क्या बोला अनुसूचित जाति आयोग?
राष्ट्रीय अनुसूचित जाति आयोग ने कहा, उसने इस खबर पर स्वत: संज्ञान लिया है. आयोग ने भारत के संविधान के अनुच्छेद 338 के तहत प्रदत्त शक्तियों के अनुसार मामले की जांच करने का फैसला किया है. आयोग ने कहा कि अगर उसे निर्धारित समय के भीतर जवाब नहीं मिलता है तो वह भारत के संविधान के अनुच्छेद 338 के तहत प्रदत्त दीवानी अदालतों की शक्तियों का इस्तेमाल कर सकता है और आयोग के समक्ष आपकी या किसी प्रतिनिधि की पेशी के लिए सम्मन जारी कर सकता है.
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