मुंबई को मिलेगा पहला अंडरग्राउंड कॉरिडोर, ट्रैफिक का दबाव कम करने के लिए सरकार का बड़ा कदम
Mumbai Underground Road Corridor: मुंबई को पहला अंडरग्राउंड रोड कॉरिडोर मिलने जा रहा है. इस प्रोजेक्ट की कुल लागत आठ करोड़ बताई जा रही है. CM देवेंद्र फडणवीस ने कहा कि यह अपने आपमें एक नायाब कंस्ट्रक्शन होगा.

मुंबई में ट्रैफिक दबाव कम करने और पूर्व–पश्चिम कनेक्टिविटी को सुगम बनाने की दिशा में एक बड़ा कदम उठाते हुए MMRDA ने ऑरेंज गेट से मरीन ड्राइव तक बनने वाले शहरी टनल प्रोजेक्ट में टनेल बोरिंग मशीन (TBM) का सफल लॉन्च किया है. यह देश का पहला ऐसा शहरी भूमिगत रस्ता प्रोजेक्ट है, जो घनी आबादी वाले इलाके और रेलवे-मेट्रो संरचनाओं के 50 मीटर नीचे से गुजरता है. प्रोजेक्ट की कुल लागत 8,056 करोड़ रुपये है और इसे 54 महीनों में पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है.
प्रोजेक्ट के मुख्य फायदे
इस महत्त्वाकांक्षी 9.96 किलोमीटर लंबे प्रोजेक्ट का लगभग 7 किलोमीटर हिस्सा भूमिगत होगा. इसके शुरू होने से मुंबई के पूर्व–पश्चिम उपनगर और नवी मुंबई को सीधी भूमिगत कनेक्टिविटी मिलेगी. सफर का समय 15–20 मिनट तक कम होगा, ईंधन की बचत होगी, शोर और वायु प्रदूषण में कमी आएगी.
हर टनल में 3.2 मीटर चौड़ाई वाले दो लेन और एक इमरजेंसी लेन का निर्माण किया जाएगा. दोनों टनल में 300 मीटर की दूरी पर क्रॉस-पैसेज होंगे, ताकि आपातकाल में तुरंत निकासी संभव हो सके. वाहनों के लिए अधिकतम गति सीमा 80 किमी प्रतिघंटा तय की गई है. टनल के भीतर आधुनिक वेंटिलेशन सिस्टम, फायर सेफ्टी मैकेनिज़्म, हाई-क्वालिटी लाइटिंग और इंटेलिजेंट ट्रांसपोर्ट सिस्टम (ITS) लगाया जाएगा, जिससे सफर सुरक्षित और आसान बनेगा.
TBM टेक्नोलॉजी की खासियत
इस प्रोजेक्ट में स्लरी शील्ड प्रकार की टनेल बोरिंग मशीन का उपयोग किया जा रहा है, जो मुंबई के तटीय मिश्रित और खुरदरे भूगर्भ में सुरक्षित और सटीक खुदाई के लिए उपयुक्त मानी जाती है. इसी तकनीक का उपयोग मुंबई कोस्टल रोड प्रोजेक्ट में भी किया गया था, जहां इसकी दक्षता साबित हुई है.
TBM के प्रमुख स्पेसिफिकेशन
कटर हेड व्यास: 12.19 मीटर, लंबाई: 82 मीटर, वजन: लगभग 2,400 मेट्रिक टन. इस मशीन का रिनोवेशन और असेंबलिंग मुंबई में ही मूल निर्माता (OEM) की निगरानी में पूरा किया गया है.
प्रोजेक्ट की प्रगति
वर्तमान में प्रोजेक्ट की भौतिक प्रगति 14% दर्ज की गई है. भूमिगत संरेखन के कारण भू-अधिग्रहण बेहद कम है, जिससे शहर की सतह पर न्यूनतम बाधा पहुंचते हुए काम आगे बढ़ रहा है. यह टनल मुंबई कोस्टल रोड और अटल सेतु जैसे प्रमुख इन्फ्रास्ट्रक्चर प्रोजेक्ट्स को भी जोड़ देगी, जिससे यातायात नेटवर्क और मजबूत होने की उम्मीद है.
मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने कहा कि यह अपने आपने आप में यह एक नायाब कंस्ट्रक्शन होगा यह जो पैनल है यह टनल सेंट्रल रेलवे वेस्टर्न रेलवे और एक्वा लाइन मेट्रो के नीचे से गुजरते हुए बनाया जाएगा वहीं पर इस प्रोजेक्ट की खासियत यह भी है कि करीब इस प्रोजेक्ट के दौरान 700 इमारतें भी आएंगे जिसमें से कई मारते हैं हेरिटेज हैं और इस प्रोजेक्ट के चलते किसी भी स्ट्रक्चर को कोई नुकसान नहीं होगा इस तरह से यह प्रोजेक्ट बनाया जाएगा जिससे मुंबई के लोगों को ट्रैफिक से राहत मिलेगी.
Source: IOCL






















