Covid-19 In China: चीन में कोविड से कितने बदतर हैं हालात? जानिए पांच प्वाइंट्स में
चीन में कोविड से स्थिति काफी ज्यादा बिगड़ गई. महामारी की शुरुआत से जारी जीरो कोविड पॉलिसी दिसंबर 2022 में नीतिगत रुप से तब फेल हो गई जब वहां पर कोविड के इतने ज्यादा मामले सामने आ गये.
Covid-19 In China: दिसंबर 2019 में यह चीन ही था जहां पर कोविड महामारी (Covid Pandemic) की शुरुआत हुई. ये दिसंबर 2022 है जहां चीन कोविड की अब तक की सबसे खतरनाक वेव का सामना कर रहा है. तीन साल के कड़े कोविड नियमों और जीरो कोविड नीति (Zero Covid Policy) के बावजूद चीन में कोविड रुकता हुआ नजर नहीं आ रहा है.
आलम ऐसा है कि मंगलवार (27 दिसंबर) को फाइनेंशियल रिपोर्ट के अनुसार चीन में एक दिन में लगभग 3.7 करोड़ लोग कोविड से संक्रमित पाये गये हैं. चीनी विदेश मंत्रालय ने कहा कि चीन ने दूसरे देश से आने वाले लोगों को अनिवार्य क्वारंटीन करना बंद करेगा.
चीन की स्थिति के बारे में 5 प्वाइंट्स में जानें
1.चीन में कोविड की शुरुआत में क्यम्युनिस्ट पार्टी की सरकार ने जीरो कोविड पॉलिसी का नारा दिया था. हाल में उनकी इस नीति का बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन शुरू हो गया. हाल ही में उसने अपनी इस नीति में ढ़ील दी है.
2. चीन में फैले कोविड से वहां पर सामन्य दवाओं और मेडिकल इक्विपमेंट तक कम पड़ गये हैं. लोग अस्पताल में भर्ती मरीजों के लिए एंटीवायरल दवाओं तक की व्यवस्था नहीं कर पा रहे हैं. डॉक्टरों का कहना है कि उन्होंने अस्पताल में पांच से छह गुना ज्यादा मरीजों को अपने यहां पर एडमिशन दिया हुआ है.
3. कोविड और फिर उसकी सख्त नीतियों की वजह परेशान लोग चीन में सरकार से नागरिक विद्रोह की कगार पर हैं. बीते दिनों सोशल मीडिया पर चीन के कई ऐसे वीडियो वायरल हुअ जिसमें लोग सीधे स्वास्थ्य और नियामक एजेंसियों से लड़ाई करते नजर आ रहे हैं. ऐसे में वह सरकार से जवाबदेही चाहते हैं.
4. चीन दुनिया और अपने देश के नागरिकों को महामारी की शुरुआत से ही यह कहता आ रहा है कि वहां पर स्थिति नियंत्रण में है. चीन ने हर बार कहा कि उन्होंने महामारी को नियंत्रित कर लिया है लेकिन उसने कभी भी इससे जुड़े आंकड़ो को सार्वजनिक नहीं किया. जिससे खुद उनके नागरिकों में कंफ्यूजन की स्थिति पैदा हुई.
5. कोविड की वजह से आलम ऐसा है कि इस बार जब तक सरकार चीन में लॉकडाउन लगाती राजधानी बीजिंग में पहले ही लोगों ने खुद को आइसोलेट कर लिया. इससे पता चलता है कि वहां के लोग सरकार से कितने असंतुष्ट हैं.
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