आईएमएफ के साथ करार के करीब पाकिस्तान
इसे लेकर हाल ही में पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान और आईएमएफ के प्रमुख क्रिस्टीन लेगार्द के बीच दुबई में एक बैठक हुई है. यह बैठक दोनों के बीच रविवार को सातवें विश्व सरकार शिखर सम्मेलन के दौरान अलग से हुई.

इस्लामाबाद: नकदी संकट से जुझ रहे पाकिस्तान को अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) से सुरक्षित वित्तीय सहायता देने से जुड़ा करार जल्द होने की उम्मीद है. पाकिस्तान के वित्त मंत्री असद उमर ने सोमवार को यह जानकारी दी. इसे लेकर हाल ही में पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान और आईएमएफ के प्रमुख क्रिस्टीन लेगार्ड के बीच दुबई में एक बैठक हुई है. यह बैठक दोनों के बीच रविवार को सातवें विश्व सरकार शिखर सम्मेलन के दौरान अलग से हुई.
पाकिस्तान के करीबी सहयोगी देश संयुक्त अरब अमीरात ने उसकी नाजुक अर्थव्यवस्था को संभालने के लिए तीन अरब डॉलर की सहायता देने की पेशकश की है. सऊदी अरब ने पाकिस्तान को छह अरब डॉलर का राहत पैकेज देने की पेशकश की है. वहीं पाकिस्तान को चीन से भी वित्तीय सहायता मिलने की खबर है.
जियो टीवी की खबर के अनुसार पेशावर में सरहद चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्रीज को संबोधित करते हुए उमर ने कहा कि रविवार की बैठक के आईएमएफ के साथ हमारे मतभेद कम हुए हैं. आईएमएफ ने अपनी स्थिति में बदलाव किया है. अब आईएमएफ के साथ जल्द ही समझौता होने की उम्मीद है.
रूस भी करेगा अरबों का निवेश सरकार बदलने के बाद से पाकिस्तान के आसार भी बदले-बदले से नज़र आ रहे हैं. इमरान ख़ान द्वारा प्रधानमंत्री का पद संभाले जाने के बाद से पाकिस्तान में निवेश की मानो बहार सी आ गई है. ताज़ा मामले में तो भारत का सबसे बड़ा मित्र देश रूस भी पाक में भारी निवेश करने वाला है. नकदी संकट से जूझ रहे पाकिस्तान में ऊर्जा क्षेत्र में रूस 14 अरब डॉलर (9,99,39,00,00,000 रुपए) का एकमुश्त निवेश करने वाला है. एक मीडिया रिपोर्ट में बृहस्पतिवार को इसकी जानकारी दी गयी. ‘एक्सप्रेस ट्रिब्यून’ की एक ख़बर के मुताबिक गैजप्रोम मैनेजमेंट कमिटी के डिप्टी चेयरमैन विटली ए. मार्कलोव की अध्यक्षता में रूस के एक प्रतिनिधिमंडल ने पाकिस्तान के हालिया दौरे में इस निवेश की प्रतिबद्धता जाहिर की. ख़बर के मुताबिक रूस की कंपनी पंजाब प्रांत की जरूरतों को पूरा करने के लिये कराची से लाहौर तक एक गैस पाइपलाइन बिछाएगी. कुल 14 अरब डॉलर के निवेश में से करीब 10 अरब डॉलर ऑफशोर गैस पाइपलाइन में, 2.5 अरब डॉलर उत्तर-दक्षिण पाइपलाइन में और बाकी की रकम का इस्तेमाल अंडरग्राउंड रिज़र्व बनाने में किया जाएगा. पाकिस्तान और रूस की सरकारी कंपनियों ने 10 अरब डॉलर की लागत से तैयार होने वाली पाइपलाइन परियोजना की रिसर्च के लिये बुधवार को करार पर हस्ताक्षर किया. इसका निर्माण तीन से चार साल में पूरा होने का अनुमान है.ये भी देखें
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