11 साल की आराध्या ने इंटरनेशनल कराटे चैंपियनशिप में जीता गोल्ड, महाराष्ट्र सीएम फडणवीस ने दी बधाई
वडोदरा में चल रही 21वीं इंटरनेशनल कराटे चैंपियनशिप 2025 में महाराष्ट्र की युवा कराटे खिलाड़ी आराध्या पांडेय ने शानदार प्रदर्शन किया. इस दौरान उन्होंने शानदार प्रदर्शन करते हुए स्वर्ण पदक हासिल किया.

गुजरात के वडोदरा स्थित समा स्पोर्ट्स कॉम्प्लेक्स में 28 से 30 नवंबर तक आयोजित 21वीं WKI इंटरनेशनल कराटे चैंपियनशिप 2025 में महाराष्ट्र की युवा कराटे खिलाड़ी आराध्या पांडेय ने शानदार प्रदर्शन कर भारत का गौरव बढ़ाया. वाडो-काई इंडिया (WKI) की तरफ से आयोजित इस अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिता में दुनिया भर से प्रतिभाशाली खिलाड़ी शामिल हुए. वहीं, आराध्या का प्रदर्शन सबसे प्रभावशाली रहा.
11 साल की आराध्या ने तीन दिनों तक चली इस चैंपियनशिप में प्रतिभागियों ने काता (Kata) और कुमिते (Kumite) वर्गों में अपनी क्षमता दिखाई. काता में तकनीक, नियंत्रण और शरीर के संतुलन की परीक्षा होती है, जबकि कुमिते में खिलाड़ी आमने-सामने मुकाबला करते हुए कौशल और फुर्ती दिखाते हैं. आराध्या ने दोनों श्रेणियों में दमदार खेल पेश कर निर्णायकों और दर्शकों को प्रभावित किया.
वडोदरा येथे झालेल्या WKI इंटरनॅशनल कराटे स्पर्धेत महाराष्ट्राची आराध्या पांडेय हिने कुमितेमध्ये सुवर्ण आणि कातामध्ये कांस्य पदक जिंकत भारताचा झेंडा अभिमानाने उंचावला. मी तिचे अतिशय मनापासून अभिनंदन करतो. महाराष्ट्राची लेक म्हणून आम्हाला तिचा अभिमान आहे. तिच्या भविष्यातील… pic.twitter.com/cbH9TtIh2U
— Devendra Fadnavis (@Dev_Fadnavis) December 1, 2025
कुमिते स्टाइल में आराध्या ने नेपाल की खिलाड़ी को मात देकर स्वर्ण पदक हासिल किया, वहीं काता में श्रीलंका की खिलाड़ी के खिलाफ शानदार प्रदर्शन करते हुए कांस्य पदक अपने नाम किया. उनकी रणनीति, आत्मविश्वास और टेक्निकल कौशल पूरे मुकाबले में बेहतरीन रहा. कोच पुरु रावल ने आराध्या पांडेय और अपनी टीम के खिलाड़ियों की उपलब्धियों पर खुशी जाहिर करते हुए कहा कि ऐसे उभरते खिलाड़ी भविष्य में भारत को कई अंतरराष्ट्रीय मंचों पर सम्मान दिलाएंगे.
अपनी जीत को देश को समर्पित करते हुए आराध्या पांडेय ने कहा कि अभी उनके करियर की शुरुआत है. वह आगे भी कठिन मेहनत कर भारत का नाम वैश्विक स्तर पर और ऊंचा करना चाहती हैं.
आराध्या ने बताया की उनके पिता अश्विनी पांडेय और मां वंदना पांडेय हमेशा से चाहते थे की कि पढ़ाई के साथ साथ स्पोर्ट्स में भी ध्यान दिया जाए. आज इसी सोच का नतीजा है कि पढ़ाई के साथ साथ स्पोर्ट्स में भी बहुत रुची है. आराध्या ने कहा कि मैं देश के लिए स्पोर्ट्स में अच्छा करना चाहती हूं. आराध्या का यह प्रदर्शन न केवल महाराष्ट्र बल्कि पूरे देश के लिए प्रेरणादायक है.
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