भारत ने किया ब्रह्मोस सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल का सफल परीक्षण, रक्षामंत्री ने दी बधाई
तीन महीने पहले भारतीय वायु सेना के अग्रणी सुखोई-30 एमकेआई लड़ाकू विमान से पहली बार ब्रह्मोस क्रूज मिसाइल का सफल परीक्षण किया गया था.

नई दिल्ली/पोखरण: भारत ने राजस्थान में पोखरण परीक्षण रेंज से ब्रह्मोस सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल का आज सफल परीक्षण किया. रक्षा मंत्री निर्मला सीतारमण ने बताया कि मिसाइल ने एकदम सटीकता के साथ लक्ष्य को भेदा और इस सफलता से भारत की राष्ट्रीय सुरक्षा बढ़ेगी.
तीन महीने पहले भारतीय वायु सेना के अग्रणी सुखोई-30 एमकेआई लड़ाकू विमान से पहली बार ब्रह्मोस क्रूज मिसाइल का सफल परीक्षण किया गया था. रक्षामंत्री सीतारमण ने ट्वीट कर कहा, ‘‘सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल ब्रह्मोस का राजस्थान में पोखरण परीक्षण रेंज से आज सुबह 8:42 पर सफल परीक्षण किया गया. सटीक निशाना लगाने वाली यह मिसाइल अपने निर्धारित प्रक्षेप पथ पर उड़ी और उसने एकदम सटीकता से लक्ष्य को भेदा.’’
Formidable Supersonic Cruise Missile #BrahMos was successfully flight tested at 8:42 AM today at Pokhran test range, Rajasthan. The precision strike weapon with Indian-made seeker flew in its designated trajectory and hit the target with pin-point accuracy.@PIB_India @MIB_India
— Raksha Mantri (@DefenceMinIndia) March 22, 2018
भारत-रूस द्वारा संयुक्त रूप से बनाई गई ब्रह्मोस मिसाइल की दूरी को 400 किलोमीटर तक बढ़ाया जा सकता है. भारत के पिछले साल मिसाइल टेक्नॉलजी कंट्रोल रिजीम (एमटीसीआर) का पूर्ण सदस्य बनने के बाद मिसाइल से कुछ तकनीकी सीमाएं हटाई गई जिसके बाद इसकी दूरी बढ़ायी जा सकती है. भारत के डीआरडीओ और रूस के एनपीओ मशिनोस्त्रोयेनिया ने संयुक्त रूप से ब्रह्मोस का निर्माण किया है. रक्षा मंत्री ने मिसाइल के सफल परीक्षण पर आज डीआरडीओ को बधाई दी.
ब्रह्मोस मिसाइल भारत के सुखोई-30 लड़ाकू विमान पर तैनात सबसे भारी हथियार है. ब्रह्मोस सुपरसोनिक क्रूज़ मिसाइलों को 40 सुखोई लड़ाकू विमानों में जोड़ने का काम जारी है और ऐसा कहा जा रहा है कि क्षेत्र में नए उभरते सुरक्षा परिदृश्य में इस कदम से भारतीय वायुसेना की जरुरतें पूरी हो जाएंगी.
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