Winter Health Tips: कब-कैसे और कितनी देर इस्तेमाल करें अंगीठी-हीटर, जिससे न घुटें सांसें? जानें डॉक्टर की सलाह
हर साल सर्दियों में ऐसी घटनाएं सामने आती हैं, जहां लोग सोते-सोते दम घुटने से मौत के शिकार हो जाते हैं. बीते साल भी इसी तरह की घटना दर्ज हुई थी. इस वर्ष जनवरी और सितंबर में भी कई लोगों की जान गई है.

सर्दियों की शुरुआत के साथ ही लोग खुद को गर्म रखने के लिए तरह-तरह के उपाय अपनाने लगते हैं. शरीर को गर्म रखने के लिए जहां गर्म कपड़ों का इस्तेमाल किया जाता है, वहीं कमरे का तापमान बढ़ाने के लिए हीटर, ब्लोअर या अंगीठी का सहारा लिया जाता है. इससे कमरा बाहर की ठंड की तुलना में जरूर गर्म हो जाता है, लेकिन कई बार यह तरीका जान के लिए खतरा भी बन सकता है.
बंद कमरे में आग या ब्लोअर जलाने से दम घटने का खतरा
हर साल सर्दियों में ऐसी घटनाएं सामने आती हैं, जहां लोग सोते-सोते दम घुटने से मौत के शिकार हो जाते हैं. बीते साल भी इसी तरह की घटना दर्ज हुई थी, जबकि इस वर्ष जनवरी और सितंबर में भी कई लोगों की जान गई है. एबीपी लाइव की टीम को जानकारी देते हुए पश्चिमी दिल्ली के बड़े अस्पतालों में से एक मग्गो हॉस्पिटल के वरिष्ठ डॉ. अमन ने बताया कि, जब बंद कमरे में अंगीठी या कोई भी जलने वाली वस्तु जलाई जाती है, तो वह कमरे की ऑक्सीजन तेजी से खत्म कर देती है. बाहर से ताज़ी हवा न आने की वजह से ऑक्सीजन की मात्रा लगातार कम होती जाती है और इस दौरान आग से निकलने वाली कार्बन मोनोऑक्साइड शरीर में सांस के ज़रिए प्रवेश करती है, जो बेहद जानलेवा होती है.
कार्बन मोनोऑक्साइड से क्यों होता है डीप कोमा?
जब कार्बन मोनोऑक्साइड शरीर में जाती है तो यह हीमोग्लोबिन से चिपक जाती है. इससे कार्बोक्सी-हीमोग्लोबिन बनता है, जिसकी मात्रा बढ़ने पर व्यक्ति गहरी नींद में चला जाता है. यह स्थिति डीप कोमा जैसी होती है और कई बार व्यक्ति की नींद कभी खुलती नहीं—वह सोते-सोते ही मौत का शिकार हो जाता है
कैसे बचें इस खतरे से? ध्यान रखें ये जरूरी बातें
- जहां अलाव या अंगीठी जला रहे हों, वह कमरा पूरी तरह बंद न रखें और एक बाल्टी पानी अवश्य रखें.
- कमरे में कई लोग सो रहे हों तो सोने से पहले आग अवश्य बुझा दें.
- अंगीठी जलने से कमरे की ऑक्सीजन कम होती है—इसे आदत न बनाएं.
- बंद कमरे में रोज अंगीठी या हीटर जलाने से सीने में दर्द जैसे लक्षण दिखें तो तुरंत सावधान हो जाएं.
- हीटर या ब्लोअर चलाते समय थोड़ी-थोड़ी देर के लिए कमरा खोलकर हवा आने दें.
- हीटर के पास जलने वाली वस्तुएं न रखें.
- सोने से पहले हीटर अवश्य बंद कर दें, यह जान बचाने के लिए जरूरी है.
- कमरे में पानी का बर्तन रखें ताकि हवा ड्राई न हो.
- मजबूरी में हीटर या ब्लोअर का उपयोग करना पड़े तो गुनगुना पानी, सूप या चाय पीते रहें.
- स्किन को ड्राईनेस से बचाने के लिए मॉइश्चराइज़र का उपयोग करते रहें.
Disclaimer: यह जानकारी रिसर्च स्टडीज और विशेषज्ञों की राय पर आधारित है. इसे मेडिकल सलाह का विकल्प न मानें. किसी भी नई गतिविधि या व्यायाम को अपनाने से पहले अपने डॉक्टर या संबंधित विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें.
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Source: IOCL





















