पतंजलि का दावा- FMCG से परे, कंपनी ने शिक्षा-स्वास्थ्य और खेती में किया कमाल, दुनिया में बनाई अलग पहचान
पतंजलि आयुर्वेद का दावा है कि कंपनी अब केवल FMCG तक सीमित नहीं है. शिक्षा, स्वास्थ्य, वित्तीय सेवाएं और जैविक खेती में भी कंपनी ने विस्तार किया है. कंपनी का लक्ष्य भारत की शीर्ष FMCG कंपनी बनना है.

आयुर्वेदिक और हर्बल उत्पादों के लिए मशहूर पतंजलि आयुर्वेद ने बताया है कि कंपनी आज केवल FMCG (फास्ट-मूविंग कंज्यूमर गुड्स) तक सीमित नहीं है. कंपनी ने शिक्षा, स्वास्थ्य, वित्तीय सेवाओं और जैविक खेती जैसे क्षेत्रों में कदम रखकर एक ऐसी विरासत बनाई है, जो भारतीय जीवन के हर पहलू को छू रही है. पतंजलि ने कहा कि स्वदेशी और आत्मनिर्भर भारत के विजन के साथ पतंजलि ने लाखों लोगों का भरोसा जीता है.
पतंजलि ने बताया, ''कंपनी की शुरुआत सस्ते और रसायन-मुक्त उत्पादों जैसे घी, शहद, साबुन और शैंपू से हुई थी. इन उत्पादों ने उपभोक्ताओं को आयुर्वेद की शक्ति से जोड़ा और भारतीय संस्कृति को बढ़ावा दिया. लेकिन कंपनी ने यहीं नहीं रुका. पतंजलि ने वित्तीय सेवाओं में प्रवेश किया, जैसे कि मैग्मा जनरल इंश्योरेंस में हिस्सेदारी खरीदकर. साथ ही, शिक्षा के क्षेत्र में स्कूल और विश्वविद्यालय स्थापित किए, जो भारतीय मूल्यों और आधुनिक ज्ञान का मिश्रण प्रदान करते हैं.''
स्वास्थ्य सेवा में कंपनी का योगदान उल्लेखनीय- पतंजलि
पतंजलि का दावा है, ''स्वास्थ्य सेवा में कंपनी का योगदान उल्लेखनीय है. इसके 34 वेलनेस सेंटर योग, आयुर्वेद और प्राकृतिक चिकित्सा को बढ़ावा देते हैं. ये सेंटर ग्रामीण क्षेत्रों में भी स्वास्थ्य सेवाएं पहुंचाते हैं, जहां आधुनिक चिकित्सा की पहुंच सीमित है. इसके अलावा, पतंजलि जैविक खेती को बढ़ावा दे रही है. पतंजलि बायो रिसर्च इंस्टीट्यूट (PBRI) के माध्यम से किसानों को जैविक खेती की ट्रेनिंग और संसाधन दिए जाते हैं, जिससे उनकी आय बढ़ी और मिट्टी की उर्वरता में सुधार हुआ.''
पतंजलि का लक्ष्य भारत की शीर्ष FMCG कंपनी बनना
पतंजलि ने बताया, ''कंपनी की सफलता का एक बड़ा कारण इसकी मजबूत वितरण नेटवर्क और पर्यावरण के प्रति जागरूकता है. कंपनी का लक्ष्य अगले पांच साल में भारत की शीर्ष FMCG कंपनी बनना है, जो हिंदुस्तान यूनिलीवर जैसे दिग्गजों को टक्कर दे. पतंजलि ने न केवल व्यापार में नवाचार किया, बल्कि सामाजिक जिम्मेदारी भी निभाई. यह छोटे उद्योगों और किसानों को सशक्त बनाकर आत्मनिर्भर भारत के सपने को साकार कर रही है.''
यह भी पढ़ें-
आयुर्वेद के दम पर भरी वैश्विक उड़ान, पतंजलि ने कैसे बदली प्रतिस्पर्धी कारोबार की तस्वीर?
Source: IOCL























