दिसंबर 2025 में पंचक 24 तारीख को शाम 7 बजकर 47 मिनट पर शुरू होगा।
दिसंबर 2025 पंचक: साल का आखिरी पंचक कब है? अशुभ काल में न करें ये 5 अशुभ काम और 2026 पंचक तिथि?
December 2025 Panchak: 24 दिसंबर को साल का आखिरी पंचक लगने जा रहे हैं, जो 29 दिसंबर की सुबह तक रहेगा. इस दौरान क्या करना चाहिए और क्या नहीं? इसके अलावा नए साल 2026 में कब-कब पंचक लग रहा है? जानिए.

December 2025 Panchak: हिंदू धर्म में पंचक का खास महत्व है. वैदिक ज्योतिष में पंचक को अशुभ काल माना जाता है. इस दौरान कई ऐसे कार्य हैं, जिन्हें करने से बचना चाहिए. हिंदू पंचांग के अनुसार दिसंबर महीने में पचंक की शुरुआत 24 तारीख से हो रही है, जो 29 दिसंबर की सुबह 7 बजकर 41 मिनट तक रहेगा.
साल का आखिरी पंचक 24 दिसंबर बुधवार के दिन पड़ने जा रहा है, जिस वजह से यह दिन पंचक राज पंचक कहा जाएगा. आइए जानते हैं पंचक काल कब से कबतक है?
पंचक कब से कब तक है?
दिसंबर माह में पंचक की शुरुआत 24 दिसंबर 2025, दिन बुधवार को शाम 7 बजकर 47 मिनट पर हो रही है.
वहीं, दिसंबर माह में ही पंचक की समाप्ति 29 दिसंबर 2025, सोमवार की सुबह 7 बजकर 41 मिनट होगा.
ज्योतिष शास्त्र के मुताबिक, चंद्र ग्रह का धनिष्ठा नक्षत्र के तीसरे चरण और शतभिषा, पूर्वभद्रापद, उत्तराभाद्रपद और रेवती नक्षत्र के चारों चरणों में भ्रमण काल पंचक काल होता है. जब चंद्रमा गोचर होकर कुंभ और मीन राशि में प्रवेश करते हैं, तो पंचक की स्थिति बनती है.
कहने का अर्थ पंचक के अंतर्गत धनिष्ठा, शतभिषा, उत्तरा भाद्रपद, पूर्वा भाद्रपद व रेवती नक्षत्र आते हैं. इन 5 नक्षत्रों से गुजरने में चंद्रमा को करीब 5 दिन का समय लगता है. चंद्रमा की इस 5 दिन की अवधि ही पंचक कहलाती है. हिंदू शास्त्रों में पंचक को अशुभ माना गया है और इस दौरान शादी, गृह प्रवेश से जुड़े शुभ कार्य वर्जित माने जाते हैं.
पंचक में किन कार्यों को करने की मनाही होती है?
पंचक काल के दौरान चरपाई बनवाना अशुभ माना जाता है, ऐसा करने से धन की हानि होने की संभावना बनी रहती है. इसके अलावा कोई अशुभ घटना भी घट सकती है.
पंचक के दौरान घास, लकड़ी आदि जलने वाली वस्तुओं को जलाने से बचना चाहिए. ऐसा करने से आने वाले दिनों में बनते हुए कार्य बिगड़ सकते हैं.
दक्षिण दिशा में पंचकों के दौरान भूलकर भी यात्रा करने से बचना चाहिए. क्योंकि यह दिशा यम और पितरों की मानी जाती है. ऐसा करने से यात्रियों को परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है.
पंचक के दौरान घर की छत बनवाना अशुभ माना जाता है. ऐसा करने से घर में आर्थिक तंगी के साथ क्लेश और धन की हानि हो सकती है.
शास्त्रों के मुताबिक शय्या का निर्माण पंचकों के दौरान नहीं करना चाहिए. अगर किसी व्यक्ति की मृत्यु पंचक के दौरान हुई है, तो मृतक के शव के साथ 5 पुतले आटे या कुश के बनाकर रखना चाहिए. माना जाता है कि, ऐसा करने से पंचक दोष खत्म होता है.
जब कभी भी पंचक लगता है, तो आमतौर पर ये राशियां अधिक प्रभावित होती हैं-
- कुंभ (शतभिषा का स्वामी)
- मकर (धनिष्ठा)
- मेष (उत्तरा भाद्रपद का प्रभाव)
- मीन (रेवती)
साल 2026 में पंचक कब-कब लगेगा?
जनवरी 2026 पंचक
नए साल 2026 पर साल का पहला पंचक 21 जनवरी से लेकर 25 जनवरी तक रहेगा.
फरवरी 2026 पंचक
फरवरी 2026 में पंचक 17 फरवरी से लेकर 21 फरवरी तक रहेगा.
मार्च 2026 पंचक
मार्च 2026 में पंचक 16 मार्च से लेकर 21 मार्च तक लगेगा.
अप्रैल 2026 पंचक
अप्रैल 2026 में पंचक 13 अप्रैल से लेकर 17 अप्रैल तक रहेगा.
मई 2026 पंचक
मई 2026 में पंचक 10 मई से लेकर 14 मई के बीच लगेगा.
जून 2026 पंचक
जून 2026 में पंचक 06 जून से लेकर 11 जून तक रहेगा.
जुलाई 2026 पंचक
जुलाई 2026 में पंचक 04 जुलाई से लेकर 8 जुलाई तक रहेगा.
अगस्त 2026 पंचक
अगस्त 2026 में पंचक 27 अगस्त से लेकर 1 सितंबर तक रहेगा.
सितंबर 2026 पंचक
सितंबर 2025 में पंचक 21 अक्टूबर से लेकर 25 अक्टूबर तक रहेगा.
अक्टूबर 2026 पंचक
अक्टूबर 2026 में पंचक 21 अक्टूबर से लेकर 25 अक्टूबर तक रहेगा.
नवंबर 2026 पंचक
नवंबर 2026 में पंचक 17 नवंबर से लेकर 22 नवंबर तक रहेगा.
दिसंबर 2026 पंचक
दिसंबर 2026 में पंचक 14 दिसंबर से लेकर 19 दिसंबर तक रहेगा.
Disclaimer: यहां मुहैया सूचना सिर्फ मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. यहां यह बताना जरूरी है कि ABPLive.com किसी भी तरह की मान्यता, जानकारी की पुष्टि नहीं करता है. किसी भी जानकारी या मान्यता को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह लें.
Frequently Asked Questions
दिसंबर 2025 में पंचक कब से शुरू हो रहा है?
पंचक काल में किन कार्यों को करने से बचना चाहिए?
पंचक काल में चरपाई बनवाना, जलने वाली वस्तुएं जलाना, दक्षिण दिशा में यात्रा करना, घर की छत बनवाना और शय्या का निर्माण नहीं करना चाहिए।
पंचक क्या होता है?
जब चंद्रमा धनिष्ठा नक्षत्र के तीसरे चरण और शतभिषा, पूर्वभद्रापद, उत्तराभाद्रपद और रेवती नक्षत्रों से गोचर करता है, तो यह पंचक काल कहलाता है।
2026 में पंचक कब-कब लगेगा?
2026 में पंचक जनवरी से दिसंबर तक विभिन्न तिथियों में लगेगा, जैसे जनवरी में 21 से 25 तक।
Source: IOCL


















