World Environment Day: डे-नाइट टेस्ट खेलने पर मजबूर हो सकती है भारतीय टीम, जानें क्या है कारण
Climate Change: मौसम में बदलाव का असर क्रिकेट पर भी देखने को मिल रहा है. दिन का तापमान इतना बढ़ गया है कि बाहर निकलना दूभर हो रहा है. ऐसे में प्लेयर्स को धूप में क्रिकेट खेलने में समस्या होती है.
Test Cricket: जलवायु परिवर्तन (Climate Change) के चलते भारत में कई जगहों पर दिन के तापमान में लगातार बढ़ोत्तरी देखने को मिल रही है. दिन से घर से बाहर निकलना काफी मुश्किल हो गया है. क्रिकेट (Cricket) पर भी इसका असर पड़ सकता है. गर्मी के कारण दिन में टेस्ट मैच (Test Cricket) खेलने में काफी समस्या आ रही है. ऐसे में पारंपरिक टेस्ट क्रिकेट (Test Cricket) के वजूद पर खतरा मंडरा रहा है. अगर ऐसा ही चलता रहा तो भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (BCCI) को डे-नाइट टेस्ट की संख्या बढ़ानी होगी.
खिलाड़ियों ने बदली जर्सी
साल 1901 में टेम्परेचर दर्ज करने की शुरुआत हुई थी. तब अप्रैल के महीने में पहली बार 37.8 डिग्री सेल्सियस टेम्परेचर दर्ज किया गया था. उस समय यह सबसे ज्यादा था. संयुक्त राष्ट्र ने चेताया था कि जिस तरह टेम्परेचर बढ़ रहा है इससे भविष्य में मुश्किलें पैदा हो सकती हैं. आईपीएल 2022 में दोपहर के मुकाबलों में खिलाड़ियों को खेलने में काफी समस्या हुई. खिलाड़ी मुकाबले के दरमियान कई बार जर्सी बदलते नजर आए.
डे-नाइट टेस्ट अच्छा विकल्प
टी20 मैच और IPL के दौरान खिलाड़ियों को पर्याप्त ब्रेक मिल जाते हैं. यह क्रिकेट का सबसे छोटा फॉर्मेट भी है. टेस्ट क्रिकेट में खिलाड़ी पूरे दिन मैदान पर होते हैं. ऐसे में भीषण गर्मी के चलते इंडिया में टेस्ट क्रिकेट के आयोजन में बाधा आ सकती है. इसके लिए BCCI के पास डे-नाइट टेस्ट एक अच्छा विकल्प है. हालांकि, डे-नाइट टेस्ट में तीसरे सत्र के दौरान जमकर ओस गिरती है और बल्लेबाजी खासी आसान हो जाती है.
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