टैक्सी की टेंशन: दिल्ली HC से कैब चालकों को झटका, लगाई जमकर लताड़

नई दिल्ली: दिल्ली सरकार के साथ ओला और उबर के हड़ताली ड्राइवरों के बीच बातचीत गुरुवार को बेनतीजा रहने से कैब ड्राइवरों की हड़ताल जारी है. हालांकि दिल्ली प्रशासन ने किसी तरह की हिंसा के खिलाफ सख्त कार्रवाई की चेतावनी दी है. इस बीच दिल्ली हाईकोर्ट ने मामले से संबंधित सुनवाई के दौरान कैब चालकों को लताड़ लगाई है.
मारपीट की घटनाएं आगे से नहीं होनी चाहिए : HC
कोर्ट ने हड़ताली चालकों को निर्देश दिया है की मारपीट की घटनाएं आगे से नहीं होनी चाहिए. दिल्ली हाईकोर्ट ने टिप्पणी करते हुए कहा कि अगर कॉन्ट्रैक्ट की शर्तों का पालन नहीं हो रहा तो आप इसको तोड़ सकते हैं, लेकिन अगर कोई कॉन्ट्रैक्ट जारी रखना चाहता है तो आप उसको नहीं रोक सकते. कोर्ट में बताया कि कई ऐसे ड्राइवर हैं जो गाड़ी चलाना चाहते हैं ओला-उबर ने कोर्ट में बताया कि कई ऐसे ड्राइवर हैं जो गाड़ी चलाना चाहते हैं, पर हड़ताली चालक उनके साथ मारपीट करते हैं. ओला-उबर ने मांग की कि अदालत पुलिस को निर्देश जारी करे की अगर कोई सड़क पर चलने वाली टैक्सी को रोकता है तो उसके खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाए. यह भी पढ़ें: गर्भ में लिंग जांच से जुड़ी सामग्री पर SC सख्त, गूगल, माइक्रोसॉफ्ट को फटकार कंपनी 6 रुपए प्रति किमी का पैसा वसूलती है जबकि खर्चा 3-4 रुपए का इस बीच कोर्ट ने पूछा की मांग क्या है. चालकों की ओर से कहा गया कि कंपनी 6 रुपए प्रति किमी का पैसा वसूलती है जबकि 3-4 रुपए चलाने की कीमत आती है, ऐसे में लाभ कैसे होगा. कोर्ट ने कहा कि किसने आपको रोका है कि आप इनके साथ ही गाड़ी चलाएं. आपको कहीं और मिलता है तो आप वहां जा सकते हैं. यही रवैया रहा तो फिर ये कंपनियां दिल्ली से बाहर चली जायेंगी कोर्ट ने कहा कि अगर यही रवैया रहा तो फिर ये कंपनियां दिल्ली से बाहर चली जायेंगी. बाकी शहरों में गाड़ियां चलवाएंगे. कोर्ट ने कहा कि अगर इसी तरह से मारपीट की घटना होती रही तो इससे जनता का भरोसा भी इन चालकों पर से कम होगा. हड़ताली ड्राइवरों ने कहा कि वो शान्तिपूर्वक जंतर-मंतर पर प्रदर्शन कर रहे हैं. वो किसी तरह से मार पीट नहीं कर रहे. हाइकोर्ट ने जारी किया था अंतरिम आदेश हाईकोर्ट ने यह अंतरिम आदेश उबर की याचिका पर दिया था. जस्टिस राजीव सहाय एंडलॉ ने राजधानी टूरिस्ट चालक संघ और सर्वोदय चालक संघ, दिल्ली को नोटिस जारी कर जवाब भी मांगा था. उन्होंने अपने आदेश में कहा कि कोई भी चालक या संघ याचिकाकर्ता उबर के कार्यालय के आसपास धरना भी नहीं दे सकता. यह भी पढ़ें: तीन तलाक कानूनन वैध है या नहीं? सुप्रीम कोर्ट ने तेज की कवायददिल्ली सरकार के साथ बातचीत का नहीं निकला कोई नतीजा
इससे पहले यूनियन के प्रतिनिधियों ने परिवहन मंत्री सत्येंद्र जैन से मुलाकात की, लेकिन बातचीत बेनतीजा रहा. इस बैठक में मंत्री ने चालकों की सभी मांगों पर विचार करने के लिए समय मांगा. लेकिन, ड्राइवर इस पेशकश को स्वीकार करने को तैयार नहीं थे. हड़ताल को आठ दिन हो गए हैं और वे अब सरकार को और समय देने के पक्ष में नहीं हैं.
हड़ताल से दिल्ली वाले बेहाल, देने पर रहे हैं ज्यादा किराया गौरतलब है कि सर्वोदय ड्राइवर्स एसोसिएशन ऑफ दिल्ली (एसडीएडी) के आह्वान पर की गई इस हड़ताल का आज 8वां दिन है. हड़ताल की वजह से लोगों को काफी असुविधा हो रही है. लोगों को काफी अधिक किराए का भुगतान करना पड़ रहा है. पिछले शुक्रवार से जंतर मंतर पर भूख हड़ताल पर बैठे इस एसोसिएशन के दो नेताओं की हालत बिगड़ने पर उन्हें आरएमएल अस्पताल में भर्ती कराए जाने के मद्देनजर यूनियन के ड्राइवरों का एक वर्ग उग्र है.टॉप हेडलाइंस
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