वर्ल्ड कप में भारत का मैच देखते समय चली गई थी इस कलाकार की जान, निभाए थे कई दमदार रोल
बॉलीवुड फिल्मों में साइड किरदारों में नज़र आए शफी इनामदार की प्रसिद्धि किसी बॉलीवुड एक्टर से कम नहीं थी. उन्होंने बड़े परदे के अलावा छोटे परदे पर भी अपने अभिनय का लोहा मनवाया था लेकिन 51 साल की उम्र में ही शफी का दुनिया से चले जाना उनके फैन्स के लिए किसी सदमे से कम नहीं था.
शफी इनामदार एक ऐसा नाम है जिसे आज भी किसी पहचान की ज़रुरत नहीं है. शफी ऐसे कलाकारों में से एक थे जिनकी बादशाहत ना सिर्फ छोटे पर्दे बल्कि बॉलीवुड की फिल्मों तक में दिखाई पड़ती थी. वैसे तो शफी ने 1982 में आई फिल्म ‘विजेता’ से बॉलीवुड में डेब्यू किया था लेकिन उन्हें इंडस्ट्री में असली पहचान मिली थी 1983 में आई फिल्म ‘अर्ध्य सत्य’ से जिसमें उनके द्वारा निभाए गए इंस्पेक्टर हैदर अली के किरदार को लोगों ने खूब सराहा था.
शफी इनामदार अधिकांश फिल्मों में हीरो के दोस्त के रोल में नज़र ज़रूर आए लेकिन उनकी एक्टिंग इस कदर लाजवाब होती थी कि कई मर्तबा हीरो से ज्यादा लोग उनके किरदार को पसंद करते थे. इसकी एक बानगी आपको ‘नज़राना’, ‘अनोखा-रिश्ता’ और ‘अमृत’ जैसी फिल्मों में देखने को मिल जाएगी.
बड़े पर्दे के साथ ही शफी इनामदार ने छोटे पर्दे पर आए सीरियल ‘ये जो है ज़िंदगी’ में बेहद सशक्त रोल निभाया था. यही नहीं शफी ने एक फिल्म ‘हम दोनों’ भी डायरेक्ट की थी, जिसमें ऋषि कपूर और नाना पाटेकर के साथ ही पूजा भट्ट भी नज़र आई थीं.
हालांकि, साल 1996 ना सिर्फ शफी इनामदार बल्कि उनके फैन्स के लिए भी एक अनहोनी लेकर आया. दरअसल, 1996 में भारत और श्रीलंका के बीच क्रिकेट वर्ल्डकप का सेमीफाइनल्स खेला जा रहा था. इस मैच को देखते समय शफी को हार्ट अटैक आ गया और डॉक्टर्स उनकी जान नहीं बचा सके. ऐसे में महज 50 साल की उम्र में इंडस्ट्री का एक बेहद होनहार सितारा हमेशा-हमेशा के लिए इस दुनिया को अलविदा कह गया.
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