नेपाल की अंतरिम PM सुशीला कार्की का वाराणसी से गहरा नाता, राजशाही विरोधी आंदोलन में थीं एक्टिव
Nepal News: प्रोफेसर मलिक ने बताया कि सुशीला कार्की ने 1975 में बीएचयू से राजनीति विज्ञान में स्नातकोत्तर किया था. उन्होंने कहा कि कार्की भी उसी राजशाही विरोधी आंदोलन से जुड़ी थीं.

नेपाल में अंतरिम सरकार का नेतृत्व करने वाली पहली महिला प्रधानमंत्री बनीं पूर्व मुख्य न्यायाधीश सुशीला कार्की (73) का वाराणसी से गहरा नाता है. सुशीला कार्की ने हाल ही में एक साक्षात्कार में खुद को भारत का मित्र बताया था. उन्होंने बनारस हिंदू विश्वविद्यालय (बीएचयू) से स्नातकोत्तर की उपाधि प्राप्त की.
बीएचयू में रहने के दौरान ही सुशीला की मुलाकात अपने जीवनसाथी दुर्गा प्रसाद सुबेदी से हुई थी. बीएचयू में राजनीति विज्ञान के पूर्व प्रोफेसर दीपक मलिक ने प्रसिद्ध विश्वविद्यालय में कार्की के प्रवास को जीवंत रूप से याद किया.
राजशाही विरोधी आन्दोलन से जुड़ी थीं
प्रोफेसर मलिक ने पीटीआई-भाषा को बताया कि सुशीला कार्की ने 1975 में बीएचयू से राजनीति विज्ञान में स्नातकोत्तर किया था. उस समय, वाराणसी लंबे समय तक नेपाल में राजशाही विरोधी आंदोलन का केंद्र था. उन्होंने कहा कि कार्की भी उसी राजशाही विरोधी आंदोलन से जुड़ी थीं. लेखक बीपी कोइराला, जो बाद में नेपाल के प्रधानमंत्री बने, उसी समय वाराणसी में सक्रिय थे.
ईमानदार और सक्षम नेता का दावा
प्रोफ़ेसर मलिक ने कहा कि 1940 से 1980 के बीच बीपी कोइराला भी वाराणसी में थे और नेपाली कांग्रेस के लिए काम कर रहे थे, जिसका आधार बीएचयू था. इस तरह सुशीला कार्की राजशाही विरोधी आंदोलन से जुड़ गईं. उन्होंने नेपाल की अंतरिम प्रधानमंत्री को एक बेहद ईमानदार और सक्षम नेता बताया.
प्रोफेसर ने कहा कि नेपाल की अंतरिम प्रधानमंत्री के रूप में सुशीला कार्की का चुनाव नेपाल के इतिहास में एक बड़ा कदम है. मैं उन्हें बधाई देता हूं. मलिक ने कहा कि नेपाली युवाओं ने भ्रष्टाचार और आर्थिक असमानता पर सवाल उठाए हैं तथा इन मुद्दों पर ध्यान देने की जरूरत है. उन्होंने कहा कि युवाओं ने भ्रष्टाचार और आर्थिक असमानता के मुद्दे पर नेपाल में सरकार गिरा दी.
शुक्रवार रात ली शपथ
सुशीला कार्की ने शुक्रवार रात को शपथ ली और इसी के साथ वह नेपाल की अंतरिम सरकार का नेतृत्व करने वाली पहली महिला प्रधानमंत्री बनीं. राष्ट्रपति रामचंद्र पौडेल ने कार्की को पद की शपथ दिलाई. राष्ट्रपति पौडेल ने कहा कि अंतरिम प्रधानमंत्री कार्की के नेतृत्व वाली नई कार्यवाहक सरकार को छह महीने के भीतर नए संसदीय चुनाव कराने का अधिकार है.
शपथ ग्रहण में ये शामिल हुए
नए प्रधानमंत्री के शपथ ग्रहण समारोह में नेपाल के मुख्य न्यायाधीश, सरकार के वरिष्ठ अधिकारी, सुरक्षा प्रमुख और राजनयिक समुदाय के सदस्य शामिल हुए. राष्ट्रपति पौडेल, नेपाल सेना प्रमुख और जेन ज़ी प्रदर्शनकारियों के प्रतिनिधियों के बीच हुई एक बैठक में अंतरिम सरकार के प्रमुख के रूप में सुशीला कार्की के नाम पर सहमति बनी. बता दें कि वर्ष 1997 से लेकर 2012 तक के बीच जन्में युवाओं को प्राय: ‘जेन ज़ी’ पीढ़ी के नाम से जाना जाता है.
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Source: IOCL





















