दिल्ली: आईआईटियन ने आत्महत्या करने के लिए रची अपने ही अपहरण की झूठी कहानी, पुलिस ने सकुशल किया बरामद
दिल्ली पुलिस की सतर्कता के चलते एक आईआईटियन को सकुशल बरामद कर लिया गया है. उसने आईआईएम में दाखिला न मिलने के चलते आत्महत्या करने की ठानी थी.

दिल्ली: पुलिस की तत्परता और सतर्कता के चलते एक आईआईटियन को सकुशल बरामद कर लिया गया है. उसने आईआईएम में दाखिला न मिलने के चलते आत्महत्या करने की ठानी थी. आत्महत्या करने के लिए उसे कुछ समय मिल सके इसलिए उसने खुद के ही अपहरण की झूठी कहानी रची. साथ ही अपने पिता के फोन पर एसएमएस के माध्यम से 5 लाख रुपये की फिरौती मांगी.
मकसद पैसा नहीं, बस यह था कि उसके परिजनों को यह लगे कि उनके बेटे का अपहरण कर लिया गया है. जिससे वह आत्महत्या कर लेता है तो कोई ये न समझे कि उसने खुदकुशी की है. बल्कि सबको यह लगे कि अपहरणकर्ताओं ने उसकी हत्या कर दी.
हालांकि जब परिजनों ने इसकी शिकायत दिल्ली पुलिस से की तो दिल्ली पुलिस ने 6 घंटे के अंदर ही इस युवक का पता खोज निकाला. साथ ही जयपुर की जीआरपी पुलिस की मदद से उसे संपर्क क्रांति राजधानी एक्सप्रेस से सकुशल बरामद भी कर लिया गया. बताया जा रहा है कि मामला रोहिणी जिला का है.
आइये समझते हैं क्या है मामला
रोहिणी जिले के डीसीपी पीके मिश्रा के अनुसार 19 जुलाई की रात को बुध विहार इलाके में रहने वाले एक परिवार ने पीसीआर पर कॉल किया और बताया कि उनके बेटे का अपहरण कर लिया गया है. साथ ही अपहरणकर्ताओं ने उसकी रिहाई के लिए 5 लाख रुपये की मांग की है. अपहरण की कॉल मिलते ही पुलिस तुरंत कार्रवाई में जुट गई. पुलिस ने ना केवल बुध विहार थाना, बल्कि रोहिणी जिले के ऑपरेशन सेल को भी काम में लगा दिया. ऑपरेशन सेल के एसीपी ब्रह्मजीत सिंह की देखरेख में एक टीम का गठन किया गया.
सबसे पहले उस नंबर का पता लगाया गया, जिससे अपहरण और फिरौती का एसएमएस आया था. मालूम हुआ कि यह नंबर उस युवक का ही है, जिसके अपहरण की बात की गई है. पुलिस ने तुरंत उस नंबर की लोकेशन पता की तो मालूम हुआ कि यह नंबर सराय रोहिल्ला रेलवे स्टेशन पर सक्रिय रहा था. पुलिस की टीम तुरंत ही सराय रोहिल्ला स्टेशन पहुंची और वहां पर सीसीटीवी फुटेज खंगाली गई. जिसमें वह युवक स्टेशन पर दिखाई दिया. यह भी पता चला कि युवक के नाम से ही एक रिजर्वेशन भी किया गया है, जो जयपुर जाने वाली राजधानी ट्रेन का है.
पुलिस ने जब ट्रेन में संपर्क किया तो कुछ खास मालूम नहीं हुआ. एक बार फिर से सीसीटीवी फुटेज खंगाली गई, जिसमें यह स्पष्ट हो गया कि वह युवक उस ट्रेन में चढ़ा है. पहले अलवर जीआरपी से संपर्क करके युवक का नाम और विवरण दिया गया, लेकिन वहां पर उसका कुछ पता नहीं चला. उसके बाद जयपुर की जीआरपी पुलिस को इस बारे में सूचित किया गया. जयपुर जीआरपी ने उस युवक को ट्रेन के अंदर सकुशल बरामद कर लिया और उसे ट्रेन से नीचे उतार लिया. दिल्ली पुलिस सूचना मिलते ही जयपुर के लिए रवाना हो गई.
आखिर क्यों उठाया युवक ने ऐसा कदम
पुलिस का कहना है युवक से हुई पूछताछ में यह पता चला कि उसने वर्ष 2017 में आईआईटी दिल्ली से इंजीनियरिंग पास की थी. जिसके बाद उसने एक कंपनी में जॉब की. वहां से छोड़कर उसने नोएडा में दूसरी कंपनी में जॉब ज्वाइन की. फिलहाल वह वर्क फ्रॉम होम कर रहा था.
युवक का बड़ा भाई अमेरिका में एक ई-कॉमर्स कंपनी में काम करता है. युवक आईआईएम से एमबीए करना चाहता था और वह दो बार इसकी परीक्षा दे चुका था, लेकिन वह सफल नहीं रहा. जिसकी वजह से वह डिप्रेशन का शिकार हो गया था और वह आत्महत्या करना चाह रहा था.
लेकिन वह यह भी नहीं चाहता था कि आत्महत्या जैसे कदम उठाने के बाद उसके परिवार वाले यह जान सके कि उसने आत्महत्या की है. उसने अपने मन में ही विचार बनाया और अपने अपहरण की झूठी कहानी रची. 19 जुलाई की शाम 6 बजे वह घर से एटीएम के लिए गया.
पुलिस का कहना है कि एटीएम के सीसीटीवी फुटेज से यह पुख्ता हुआ है कि वह एटीएम गया था. उसके बाद वह रेलवे स्टेशन गया. उसने अपने मोबाइल से अपने पिता को एसएमएस किया था कि "अगर अपने बच्चे की जान बचाना चाहते हो तो 5 लाख का इंतजाम कर ले."
एसएमएस और अपहरण की झूठी कहानी रचने का मकसद सिर्फ यही था कि युवक को आत्महत्या करने के लिए समय मिल जाए. वो इसी वजह से जयपुर जा रहा था कि दूर जाकर आत्महत्या करे, ताकि परिजनों को यह लगे कि अपहरणकर्ता उसे दूर ले गए और वहां पर उसकी हत्या कर दी. फिलहाल युवक को सकुशल दिल्ली लाया जा चुका है.
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