एक्सप्लोरर

क्या है थ्री-लैंग्वेज पॉलिसी? जिसमें हिंदी की अनिवार्यता पर महाराष्ट्र में मचा बवाल; जानिए सबकुछ 

महाराष्ट्र सरकार ने अपने संशोधित आदेश में कहा था कि मराठी और अंग्रेजी माध्यम के स्कूलों में पहली से पांचवी कक्षा तक हिंदी को तीसरी भाषा के रूप में पढ़ाया जाएगा, जिसका बड़े स्तर पर विरोध हो रहा था.

महाराष्ट्र सरकार ने थ्री-लैंग्वेज पॉलिसी के तहत तीसरी भाषा के रूप में हिंदी की अनिवार्यता से जुड़े सरकारी आदेश का वापस ले लिया है. सरकार का कहना है थ्री-लैंग्वेज पॉलिसी की समीक्षा और क्रियान्वयन के लिए एक समिति का गठन किया गया है. इस समिति की रिपोर्ट आने के बाद ही राज्य में थ्री-लैंग्वेज पॉलिसी को लागू किया जाएगा. बता दें, महाराष्ट्र में पहले थ्री-लैंग्वेज पॉलिसी के तहत कक्षा एक से पांच तक तीसरी भाषा के रूप में हिंदी को पढ़ाए जाने को अनिवार्य किया था, जिसके बाद  इसका विरोध शुरू हो गया था. 

बता दें, अभी तक महाराष्ट्र में कक्षा एक से पांच तक हिंदी को तीसरी भाषा के रूप में पढ़ाया जाना अनिवार्य नहीं था. हालांकि, सरकार ने अपने संशोधित आदेश में कहा था कि मराठी और अंग्रेजी माध्यम के स्कूलों में पहली से पांचवी कक्षा तक हिंदी को तीसरी भाषा के रूप में पढ़ाया जाएगा, जिसका बड़े स्तर पर विरोध हो रहा था. दरअसल, थ्री-लैंग्वेज पॉलिसी के तहत उठा यह विवाद पहला मामला नहीं है. इससे पहले तमिलनाडु सरकार भी इसको लेकर केंद्र सरकार को घेर चुकी है. ऐसे में चलिए जानते हैं थ्री-लैंग्वेज पॉलिसी क्या है और इसमें क्या कहा गया है? 

क्या है थ्री-लैंग्वेज पॉलिसी?

थ्री-लैंग्वेज पॉलिसी को पहली बार शिक्षा आयोग (1964-66) ने प्रस्तावित किया था, जिसे तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की सरकार ने 1968 में अपनाया था. इसके बाद राजीव गांधी के कार्यकाल में नेशनल एजुकेशन पॉलिसी 1968 में थ्री-लैंग्वेज पॉलिसी की पुष्टि की गई थी. हालांकि, 1992 में नरसिम्हा राव की सरकार में इसमें संशोधन किया, जिसके बाद इस फॉर्मूले में तीन भाषाओं को शामिल किया गया. ये तीन भाषाएं थीं- मातृभाषा या क्षेत्रीय भाषा, आधिकारिक भाषा (अंग्रेजी) और एक आधुनिक भारतीय या यूरोपीय भाषा. 

2020 में फिर किया गया संशोधन

भाजपा के नेतृत्व वाली सरकार ने नेशनल एजुकेशन पॉलिसी 2020 में थ्री-लैंग्वेज पॉलिसी में संशोधन किया, जिसका उद्देश्य इस फॉर्मूले में ज्यादा लचीलापन और किसी भी राज्य पर कोई भी भाषा नहीं थोपा जाना था. इस नीति में कहा गया गया था कि राज्य छात्रों द्वारा सीखी जाने वाली तीन भाषाओं को खुद चुन सकते हैं, बशर्ते इसमें कम से कम दो भारत की मूल भाषाएं शामिल हों. इस नीति में अंग्रेजी को विदेशी भाषा माना गया, जो ज्यादातर स्कूलों में पढ़ाई जाती है. यही कारण था कि इस नीति का तमिलनाडु जैसे दक्षिण भारतीय राज्यों ने विरोध किया था और इसे हिंदी थोपे जाने की साजिश बताया था.

यह भी पढ़ें: कौन था दुनिया का पहला कथावाचक और किसने सुनी थी कथा? इटावा विवाद के बाद उठ रहे सवाल

और पढ़ें
Sponsored Links by Taboola

टॉप हेडलाइंस

पश्चिम बंगाल में बाबरी मस्जिद के निर्माण को लेकर बवाल, हुमायूं कबीर का दावा - ‘हमें प्रशासन का...’
पश्चिम बंगाल में बाबरी मस्जिद के निर्माण को लेकर बवाल, हुमायूं कबीर का दावा - ‘हमें प्रशासन का...’
अजमेर दरगाह चादरपोशी पर बड़ा विवाद, हिंदू सेना की याचिका पर कोर्ट ने केंद्र को भेजा नोटिस
अजमेर दरगाह चादरपोशी पर बड़ा विवाद, हिंदू सेना की याचिका पर कोर्ट ने केंद्र को भेजा नोटिस
20 हार के बाद बदली किस्मत, 2023 के बाद अब भारत को मिली जीत; दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ हुआ 'करिश्मा'
20 हार के बाद बदली किस्मत, 2023 के बाद अब भारत को मिली जीत; दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ हुआ 'करिश्मा'
Bigg Boss 19: शो में जाने से पहले क्या अमाल मलिक को डेट कर चुकी हैं मालती चाहर? बता दी सच्चाई
शो में जाने से पहले क्या अमाल मलिक को डेट कर चुकी हैं मालती चाहर? बता दी सच्चाई

वीडियोज

Indigo Flight News: क्या भारतीय विमान सेक्टर में इंडिगो मोनोपॉली का उठा रही फायदा ? | abp News
Indigo Flight News: इंडिगो की मनमानी... यात्रियों के लिए बनी बड़ी परेशानी ! | abp News
Indigo Flight News: 'घर से निकलने से पहले फ्लाइट  का स्टेटस चेक करें यात्री '- IGI Airport
Indigo Flight News:  वीडियो के जरिए इंडिगो संकट पर परेशान यात्री ने सुनाई अपनी दर्द भरी कहानी
Indigo Flight News: 'इंडिगो हाय हाय'... यात्रियों ने लगाए नारे ! | abp News

फोटो गैलरी

Petrol Price Today
₹ 94.72 / litre
New Delhi
Diesel Price Today
₹ 87.62 / litre
New Delhi

Source: IOCL

पर्सनल कार्नर

टॉप आर्टिकल्स
टॉप रील्स
पश्चिम बंगाल में बाबरी मस्जिद के निर्माण को लेकर बवाल, हुमायूं कबीर का दावा - ‘हमें प्रशासन का...’
पश्चिम बंगाल में बाबरी मस्जिद के निर्माण को लेकर बवाल, हुमायूं कबीर का दावा - ‘हमें प्रशासन का...’
अजमेर दरगाह चादरपोशी पर बड़ा विवाद, हिंदू सेना की याचिका पर कोर्ट ने केंद्र को भेजा नोटिस
अजमेर दरगाह चादरपोशी पर बड़ा विवाद, हिंदू सेना की याचिका पर कोर्ट ने केंद्र को भेजा नोटिस
20 हार के बाद बदली किस्मत, 2023 के बाद अब भारत को मिली जीत; दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ हुआ 'करिश्मा'
20 हार के बाद बदली किस्मत, 2023 के बाद अब भारत को मिली जीत; दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ हुआ 'करिश्मा'
Bigg Boss 19: शो में जाने से पहले क्या अमाल मलिक को डेट कर चुकी हैं मालती चाहर? बता दी सच्चाई
शो में जाने से पहले क्या अमाल मलिक को डेट कर चुकी हैं मालती चाहर? बता दी सच्चाई
दुनिया में कहां हैं सबसे ज्यादा हवाई अड्डे, टॉप-10 में कौन से देश? जानें किस नंबर पर है भारत
दुनिया में कहां हैं सबसे ज्यादा हवाई अड्डे, टॉप-10 में कौन से देश? जानें किस नंबर पर है भारत
न्यूक्लियर प्लांट, यूरिया प्रोडक्शन, टूरिस्ट वीजा और यूक्रेन वॉर... PM मोदी और पुतिन का ज्वाइंट स्टेटमेंट | बड़ी बातें
न्यूक्लियर प्लांट, यूरिया प्रोडक्शन, टूरिस्ट वीजा और यूक्रेन वॉर... PM मोदी और पुतिन का ज्वाइंट स्टेटमेंट | बड़ी बातें
क्या गारंटर न होने पर पैसे निकालने से मना कर सकते हैं बैंक, जान लीजिए नियम
क्या गारंटर न होने पर पैसे निकालने से मना कर सकते हैं बैंक, जान लीजिए नियम
रेलवे दे रहा 1 लाख से ज्यादा कैंडिडेट्स को जॉब, यहां क्लिक कर चेक कर लें पूरी डिटेल्स
रेलवे दे रहा 1 लाख से ज्यादा कैंडिडेट्स को जॉब, यहां क्लिक कर चेक कर लें पूरी डिटेल्स
Embed widget