Joshimath Sinking: छूटा घर-द्वार... बही आंसुओं की धार | Master Stroke
चमोली जिले के जोशीमठ (Joshimath) में हो रहे भू-धंसाव के बाद केदारनाथ (Kedarnath) और बद्रीनाथ धाम (Badrinath Dham) में भी बड़ा नुकसान होने की आशंका नजर आ रही है जिसको लेकर चारधाम महापंचायत को चिंता सताने लगी है. चारधाम महापंचायत के उपाध्यक्ष और केदारनाथ धाम के वरिष्ठ तीर्थ पुरोहित संतोष त्रिवेदी (Santosh Trivedi) ने कहा कि आपदा के बाद से केदारनाथ धाम में शीतकाल के समय भी पुनर्निर्माण कार्य किए जा रहे हैं जबकि बद्रीनाथ धाम में कई बड़े निर्माण कार्य जारी हैं. ग्रीष्मकाल में जहां नर भगवान केदारनाथ और बद्री विशाल की पूजा-अर्चना करते हैं. वहीं शीतकाल में देवता दोनोंं धामों की पूजा करते हैं. ऐसे में दोनों धामों की परंपरा के साथ खिलवाड़ हो रहा है जो भविष्य के लिए शुभ संकेत नहीं हैं.
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