झारखंड विधानसभा में 5 बड़े विधेयक पास, गिग वर्कर्स को मिला सुरक्षा कवच, बीजेपी ने किया विरोध
Jharkhand Assembly News: मंगलवार को झारखंड विधानसभा में 5 अहम विधेयक पारित हुए. विश्वविद्यालय विधेयक, गिग वर्कर्स, कोचिंग संस्थानों और MSME से जुड़े बिल पास हुए.

झारखंड विधानसभा के मानसून सत्र में मंगलवार का दिन राज्य सरकार के लिए बेहद अहम रहा. सदन में कुल 5 बड़े विधेयक पेश किए गए और लंबी चर्चा के बाद इन्हें ध्वनिमत से पारित भी कर दिया गया. इनमें सबसे ज्यादा चर्चा झारखंड राज्य विश्वविद्यालय विधेयक, 2025 की रही, जिसे लेकर सत्ता और विपक्ष के बीच तीखी नोकझोंक देखने को मिली.
विश्वविद्यालय विधेयक पर टकराव
उच्च एवं तकनीकी शिक्षा मंत्री सुदिव्य कुमार ने भोजनावकाश के बाद सदन में झारखंड राज्य विश्वविद्यालय विधेयक, 2025 पेश किया. इस विधेयक का मकसद है चिकित्सा और कृषि विश्वविद्यालयों को छोड़कर बाकी सभी विश्वविद्यालयों के लिए एक समान और व्यापक कानून बनाना.
लेकिन भाजपा ने इसका जोरदार विरोध किया. हटिया से भाजपा विधायक नवीन जायसवाल ने आरोप लगाया कि यह विधेयक पूरी तरह राजनीति से प्रेरित है और इसका असली मकसद राज्यपाल की शक्तियों को कम करना है.
उन्होंने कहा, “यह राज्यपाल की शक्तियों को छीनने का प्रयास है. इसे प्रवर समिति के पास भेजा जाना चाहिए.” हालांकि, विधानसभा अध्यक्ष रवींद्र नाथ महतो ने यह मांग ध्वनिमत से खारिज कर दी.
जायसवाल के सवालों पर मंत्री सुदिव्य कुमार ने जवाब दिया कि इस विधेयक को कई विभागों ने समीक्षा के बाद तैयार किया है. इससे उच्च शिक्षा व्यवस्था में सुधार आएगा. चर्चा पूरी होने के बाद विधेयक को ध्वनिमत से पास कर दिया गया.
इस विधेयक के तहत अब कुलपतियों की नियुक्ति राज्य सरकार द्वारा की जाएगी, लेकिन यह नियुक्ति विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (UGC) द्वारा तय पात्रता मानदंडों के अनुसार होगी.
निजी कॉलेजों और कोचिंग सेंटरों पर सख्ती
सदन ने शिक्षा से जुड़े दो और विधेयक झारखंड व्यावसायिक शैक्षणिक संस्थान (शुल्क विनियमन) विधेयक, 2025 और झारखंड कोचिंग सेंटर (नियंत्रण एवं विनियमन) विधेयक 2025 को भी पास किया.
इन कानूनों का मकसद है निजी कॉलेजों और कोचिंग संस्थानों की मनमानी पर रोक लगाना और छात्रों-वालिदेन से वसूली जाने वाली भारी-भरकम फीस में पारदर्शिता लाना. सरकार का कहना है कि इन विधेयकों से शैक्षणिक संस्थानों में हो रही शोषणकारी प्रथाओं पर लगाम लगेगी.
गिग वर्कर्स के लिए नया कानून
राज्य में पहली बार गिग वर्कर्स के लिए भी एक विशेष विधेयक लाया गया. श्रम मंत्री संजय प्रसाद यादव ने झारखंड प्लेटफ़ॉर्म आधारित गिग वर्कर्स (पंजीकरण एवं कल्याण) विधेयक, 2025 सदन में पेश किया, जिसे पास कर दिया गया.
इस कानून के तहत अस्थायी काम करने वाले श्रमिकों जैसे डिलीवरी बॉय, कैब ड्राइवर और ऐप-आधारित सेवाओं में काम करने वालों को अब सामाजिक सुरक्षा मिलेगी.
इसमें दुर्घटना बीमा कवर, पेंशन और अन्य कल्याणकारी योजनाओं का प्रावधान है. सरकार का कहना है कि यह कदम श्रमिकों को सुरक्षा कवच देने में मददगार साबित होगा.
MSME को बढ़ावा देने के लिए नया कदम
सदन ने चौथा बड़ा फैसला लेते हुए झारखंड सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम (विशेष छूट) विधेयक, 2025 को मंजूरी दी. इस कानून का लक्ष्य है. राज्य में उद्योगों को बढ़ावा देना और रोजगार के नए अवसर पैदा करना.
सरकार का दावा है कि इससे छोटे और मझोले उद्योगों को प्रोत्साहन मिलेगा और निवेश का माहौल बेहतर होगा.
Source: IOCL





















