राम मंदिर पर तोगड़िया का योगी पर हमला, कहा- सरकार मर्यादा न सिखाए, पहले वचन निभाए
तोगड़िया ने कहा कि "वर्ष 1984 में यह संकल्प लिया गया था कि सोमनाथ की तर्ज पर अयोध्या में मंदिर बनेगा. अगर अदालत के आदेश से ही मंदिर बनाना था तो जनता को वचन नहीं देना चाहिए था. कारसेवक बनाकर मुलायम की गोलियां नहीं खिलवानी चाहिए थी."
लखनऊ: विश्व हिंदू परिषद (विहिप) के पूर्व अध्यक्ष प्रवीण तोगड़िया ने उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ पर मंगलवार को हमला बोलते हुए कहा कि राम मंदिर निर्माण को लेकर संतों को मर्यादा सिखाने की नसीहत देने के बजाए उन्हें अपना वचन निभाना चाहिए. तोगड़िया इस दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर भी जमकर बरसे. लखनऊ के वीवीआईपी गेस्ट हाउस में पत्रकारों से मुखातिब तोगड़िया ने कहा कि दिल्ली में अंतर्राष्ट्रीय हिंदू परिषद की शुरुआत करके अब राम लला के दर्शन करने आज अयोध्या जा रहा हूं.
तोगड़िया ने कहा, "चार साल में मंदिर बनाने के लिए कानून लाने की बात कही गई थी, लेकिन यह आज तक नहीं हुआ. यह हिंदुओं के साथ और भगवान राम के साथ विश्वासघात है. बीजेपी के लोग छद्म हिंदू हैं. जनता 2019 में इनको सबक सिखाएगी." बता दें कि प्रवीण तोगड़िया ने नए संगठन 'अंतर्राष्ट्रीय हिंदू परिषद' का गठन किया है.
तोगड़िया ने राम मंदिर के मुद्दे पर बीजेपी को कटघरे में खड़ा करते हुए कहा, "बीजेपी का नेतृत्व झूठा है. बीजेपी सरकार के चार साल हो गए, लेकिन अभी तक कोई कानून नहीं बना. राम मंदिर के लिए हमें तीसरे विकल्प की तलाश करनी होगी." उन्होंने सरकार के समक्ष मांग रखते हुए कहा कि संसद में कानून बनाकर काशी विश्वनाथ मंदिर, मथुरा में श्रीकृष्ण जन्मभूमि और अयोध्या में श्रीराम जन्मभूमि हिंदुओं को सौंपी जाए.
बीजेपी द्वारा लगातार अदालत के फैसले का हवाला देने से नाराज तोगड़िया ने कहा कि "वर्ष 1984 में यह संकल्प लिया गया था कि सोमनाथ की तर्ज पर अयोध्या में मंदिर बनेगा. अगर अदालत के आदेश से ही मंदिर बनाना था तो जनता को वचन नहीं देना चाहिए था. कारसेवक बनाकर मुलायम की गोलियां नहीं खिलवानी चाहिए थी."