Digital Clothing & Fashion: फैशन मार्केट में लाखों रुपए में बिक रहे हैं डिजिटल कपड़े, एक Digital Top की उड़ा देगी आपके होश
फैशन की दुनिया में नई तकनीक शामिल हुई है. कई अंतर्राष्ट्रीय फैशन ब्रांड ने डिजिटल क्लोथिंग का बिजनेस शुरू किया है. डिजिटल ड्रेस या एक्सेसरीज की कीमतें फिजिकल वर्जन से भी कहीं ज्यादा महंगी बिक रही हैं.
आज फैशन काफी तेजी से आगे बढ़ रहा है. कई राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय फैशन ब्रांड लाखों-करोड़ों में बेच रहे हैं. लेकिन जब इस फैशन को टेक्नोलोजी का साथ भी मिलता है, तो काफी महंगा और अलग हो जाता है. हाल ही में फैशन ब्रांड गुच्ची ने एक हैंडबेग को 3 लाख रुपए से ज्यादा कीमत में बेचा. इसमें कोई नहीं बात नहीं क्योंकि इसके हैंडबैग की कीमत इससे भी ज्यादा महंगी होती है.
लेकिन लगभग 3 लाख रुपए से ज्यादा कीमत वाले इस हैंडबैग की खासियत ये है कि ये डिजिटल है. इसकी वजह से गुच्ची (Gucci) लाइमलाइट में है. इस डिओनिसस बैग के डिजिटल वर्जन को एक गेमिंग प्लेटफॉर्म 'रोबलोक्स' पर 3,05,448.43 रुपए में बेचा गया. ये कीमत इसकी फिजिकल कीमत से भी ज्यादा है.
सिर्फ गुच्ची ही नहीं कई इंटरनेशनल ब्रांड डिजिटल क्लोथिंग को ऑनलाइन बेच रहे हैं. कोरोना वायरस महामारी के दौरान ज्यादा फैशन ब्रांड्स ने कई फिल्म और वर्चुअल कैटवॉक शो में पार्टिसिपेंट करने वाले एक्टर, एक्ट्रेस और मॉडल्स को डिजिटल क्लोथ बेचे हैं.
Digital Clothing का बाजार बड़ा
महामारी से पहले भी कई फैशन ब्रांड ने डिजिटल क्लोथ को ऑनलाइन बेचना शुरू कर दिया था. इन डिजिटल क्लोथ को खासकर ऑनलाइन गेमिंग के लिए भी इस्तेमाल किया जा रहा है. इसकी वजह से डिजिटल क्लोथ और एक्सेसरीज का बिजनेस बढ़कर 129 डॉलर बिलियन का हो गया है जबकि ये 2019 में 109 बिलियन डॉलर का था.
Digital Clothing में फ्यूचर
क्रोएशिया की एक फैशन कंपनी 'ट्रिब्यूट' डिजिटल क्लोथ और आउटफिट ऑनलाइन बेचती है. इसके कई डिजाइन सोशल मीडिया पर वायरल होते हैं और कई फैशन इंफ्लुएंशर्स इनके डिजिटल फैशन की सराहना भी करते हैं. 'ट्रिब्यूट' को-फाउंडर्स गाला मरिजा वर्बैनिक और फिलिप वाजदा का कहना है,"हमें पूरा विश्वास है कि डिजिटल फैशन में फ्यूचर है. इसे बढ़ाना चाहिए."
डिजिटल टॉप की कीमत 51 हजार रुपए
ट्रिब्यूट का दावा है कि उसने अपनी वेबसाइट पर अबतक 25 डिजिटल क्लोथ बेचे हैं. इनके यहां डिजिटल कोट की कीमत 2100 रुपए और टॉप की कीमत 51 हजार रुपए से ज्यादा में बिके हैं.
ऐसे बनते हैं डिजिटल क्लोथ
डिजिटल क्लोथ बनाने के लिए कंपनी एक 3डी सॉफ्टवेयर का इस्तेमाल करती है. ये वर्चुअल वर्जन को ग्राहकों की फोटो पर इस्तेमाल करती हैं और तब तक एडिट करती है, जब तक ये रियल ना लगे. इस प्रक्रिया में लगभग 5 घंटे लगते हैं. यानी एक डिजिटल क्लोथ बनाने में 5 घंटे का वक्त लगता है.
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