Greater Noida News: रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ग्रेटर नोएडा की गलगोटिया यूनिवर्सिटी पहुंचे, जहां उन्होंने शोध वीर समागम कार्यक्रम का उद्घाटन किया. इस दौरान रक्षा मंत्री ने कहा कि हमारी सरकार ने अंग्रेजों के जमाने से चले आ रहे सैकड़ों कानूनों को समाप्त कर दिया है. कुछ कानूनों में संशोधन की तैयारी कर रहे हैं. तकरीबन 1000 से भी ज्यादा पुराने पड़ चुके कानूनों को समाप्त कर दिया है. नेताजी सुभाष चंद्रबोस ने स्वतंत्र संग्राम में दिये योगदान के चलते हमारी सरकार ने अंडमान निकोबार दीप समूह में स्थित उसका नाम बदलकर नेताजी सुभाष चंद्रबोस दीप रख दिया है. 


पीएम मोदी ने दिया नेताजी को सम्मान


यूनिवर्सिटी के कार्यक्रम को संबोधित करते हुए रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि हम आत्मनिर्भर भारत की संकल्प को लेकर चल रहे हैं वह नेताजी के संकल्पना में कैसा था, मैं मानता हूं आजाद भारत में नेताजी सुभाष चन्द्र बोस के जीवन पर इतने बड़े प्रामाणिक चिन्तन पर इससे पहले कभी नहीं किया गया, सही मूल्यांकन नहीं किया जाता था, सत्य को जनता के सामने लाने में परहेज किया जाता था. नरेन्द्र मोदी के प्रधानमंत्री बनने के बाद नेताजी को वो सम्मान दिया गया जिसके वे सच्चे हकदार थे।. नेताजी से जुड़े करीब 300 से अधिक दस्तावेज को सार्वजनिक किया गया.


नेताजी सुभाष चन्द्र बोस के बारे में बहुत कम जानते हैं कि वो अखण्ड भारत के पहले प्रधानमंत्री थे, जो पहली स्वदेशी सरकार थी 21 अप्रैल 1943 में उन्होंने प्रधानमंत्री के रूप में शपथ ली थी. आजाद हिंद फौज कोई प्रतीकात्मक सरकार नहीं थी, इस सरकार की अपनी मुद्रा थी. अलग खुफिया तंत्र था. कम संसाधन के बावजूद बहुत बड़ी उपलब्धि थी. एक ऐसी महाशक्ति के खिलाफ प्रयास कर रहे थे जिसका सूरज कभी अस्त नहीं होता था. उन्होंने अपना एक ही लक्ष्य बनाया कि अंग्रेजी हुकूमत से मुक्त दिलाना. आज भारत को आजाद हुए 75 साल हो गए हैं लेकिन उनके सपनों का भारत नहीं बन पाया है.


अंग्रेजों के जमाने के कानून खत्म किए


राजनाथ सिंह ने कहा कि इसका सबसे बड़ा कारण रहा कि जो सरकार बनी वो गुलामी की मानसिकता से नहीं निकल पाई. इस सरकार के आने के बाद भारत का स्वाभिमान बढ़ रहा है. अंग्रेजों के जमाने से चले आ रहे हजार से अधिक कानूनों को समाप्त कर दिया गया है. आत्मनिर्भर भारत का सपना नेताजी सुभाष चन्द्र बोस से प्रेरणा लेकर काम किया जा रहा है. बिना मजबूत नींव के कोई इमारत नहीं बन सकती. बिना मजबूत जड़ के कोई वृक्ष बड़ा नहीं हो सकता. बिना अपनी संस्कृति को समझे कोई देश महान नहीं बन सकता है.


स्वामी दयानंद सरस्वती ने 'वेदों की तरफ लौटो' का नारा दिया था. राजनाथ सिंह ने कहा कि भारत अपार संभावनाओं का देश है, एक राजवंश में पैदा होने के बावजूद एक महान भिक्षु बन जाता है. एक साधारण बालक एक गरीब ब्राह्मण की मदद से एक साम्राज्य स्थापित कर लेता है. यही भारत की महानता है. शोध के लिए गूगल एक माध्यम जरुर हो सकता है शोध के लिए रिसर्च इंस्टीट्यूट, आर्काइव और ग्रन्थों का अध्ययन जरूरी है. 


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