हिमाचल: 2 लोकसभा और 6 विधानसभा सीट के लिए कांग्रेस ने अब तक नहीं किया उम्मीदवारों का ऐलान, कहां फंसा पेच?
Himachal Lok Sabah Election 2024: हिमाचल प्रदेश में बीजेपी उम्मीदवारों की घोषणा पहले ही कर चुकी है. वहीं कांग्रेस ने अब तक दो लोकसभा और छह विधानसभा सीट पर उपचुनाव के लिए उम्मीदवार नहीं उतारे हैं.
Lok Sabha Elections 2024: हिमाचल प्रदेश में सातवें और आखिरी चरण में 1 जून को वोटिंग होनी है. इसके परिणाम पूरे देश के साथ 4 जून को ही घोषित होंगे. हिमाचल प्रदेश के चुनाव कई मायनों में खास हैं. यहां चार लोकसभा सीट के साथ छह विधानसभा क्षेत्र में उपचुनाव होने हैं. इस बीच कांग्रेस के लिए हिमाचल में एक बड़ी परेशानी खड़ी हो गई है.
कई दौर की बैठकों और गहन मंथन के बाद भी अब तक कांग्रेस दो लोकसभा क्षेत्र के चुनाव और छह विधानसभा क्षेत्र के उपचुनाव के लिए प्रत्याशियों की घोषणा नहीं कर सकी है. कांग्रेस अब तक सिर्फ शिमला संसदीय क्षेत्र से विनोद सुल्तानपुरी और मंडी संसदीय क्षेत्र से विक्रमादित्य सिंह के नाम की ही घोषणा कर पाई है. दोनों ही हिमाचल प्रदेश विधानसभा में सिटिंग विधायक हैं.
लोकसभा चुनाव के लिए बचा 35 दिन का वक्त
हिमाचल प्रदेश में चुनाव के लिए 35 दिन का वक्त रह गया है. ऐसे में संभावित प्रत्याशी अब भी असमंजस में हैं. इसके अलावा कार्यकर्ता भी हतोत्साहित होते हुए नजर आ रहे हैं. पार्टी में जिन पदाधिकारियों ने टिकट के लिए अप्लाई किया है, उनकी दूर-दूर तक कोई चर्चा नहीं है. इससे इतर हिमाचल भाजपा ने करीब एक महीने पहले अपने प्रत्याशियों की घोषणा कर दी है.
यही नहीं बीजेपी ने विधानसभा क्षेत्र के उपचुनाव में भी उन सभी कांग्रेस से आए नेताओं को अपना प्रत्याशी बना दिया, जिन्होंने राज्यसभा चुनाव में कांग्रेस का खेल बिगाड़ा था. इससे बीजेपी को डैमेज कंट्रोल करने का वक्त मिल गया. हालांकि बीजेपी अब तक इसमें पूरी तरह सफल नहीं हो सकी है.
लोकसभा चुनाव नहीं लड़ना चाह रहे संभावित प्रत्याशी
मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू विशेष तौर पर केंद्रीय चुनाव समिति की बैठक में शामिल होने के लिए दिल्ली गए थे. हालांकि दिल्ली में यहां बैठक नहीं हुई. माना जा रहा है कि अब बिना बैठक के ही कांग्रेस प्रत्याशियों की घोषणा करने वाली है. प्रदेश में जिन-जिन नेताओं के चुनाव लड़ने की चर्चा है, वह खुद ही आगे जाकर चुनाव लड़ने से इनकार कर रहे हैं.
कांगड़ा से रघुबीर सिंह बाली का नाम जैसे ही सुर्खियों में आया, तो उन्होंने पत्र लिखकर राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे से अपने दिल की बात कह दी. कांगड़ा से ही एक अन्य संभावित प्रत्याशी और सरकार में पूर्व शिक्षा मंत्री ही आशा कुमारी की अब तक चुनाव लड़ने की इच्छा को लेकर कोई प्रतिक्रिया नहीं आई है.
अनुराग ठाकुर के सामने नहीं मिला रहा बड़ा चेहरा
इसी तरह हमीरपुर से उप मुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री और उनकी बेटी आस्था अग्निहोत्री का चुनाव लड़ने के लिए नाम सामने आया, तो उन्होंने भी हाल ही में पैदा हुई पारिवारिक समस्याओं के चलते इसके लिए असर्मथता जाहिर कर दी. हाल ही में मुकेश अग्निहोत्री की धर्मपत्नी डॉ. सिम्मी अग्निहोत्री का निधन हुआ है. ऐसे में वे चुनाव लड़ने के लिए मानसिक रूप से तैयार नहीं हैं. बीते दिनों दिल्ली में हुई केंद्रीय चुनाव समिति की बैठक में भी कांग्रेस के आला नेताओं ने केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर के खिलाफ हिमाचल कांग्रेस को एक मजबूत और सशक्त चेहरे का चयन करने के लिए कहा था.
हिमाचल कांग्रेस की बढ़ रही है परेशानी
इस सबके बीच हिमाचल कांग्रेस की परेशानी बढ़ती हुई नजर आ रही है. हिमाचल कांग्रेस अध्यक्ष प्रतिभा सिंह लंबे वक्त से यह कहती रही हैं कि हिमाचल एक पहाड़ी राज्य है. यहां प्रचार करने में भी खासी परेशानी का सामना करना पड़ता है. ऐसे में यहां जल्द से जल्द प्रत्याशियों की घोषणा की जानी चाहिए. प्रतिभा सिंह जनवरी महीने से ही प्रत्याशियों के घोषणा की मांग करती रही, लेकिन अब अप्रैल खत्म होने को है और यहां प्रत्याशियों की घोषणा नहीं हो सकी है.
क्या कहते हैं मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू?
टिकट आवंटन में देरी को लेकर मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू का कहना है कि कांग्रेस प्रचार शुरू कर चुकी है. जिन क्षेत्र में उपचुनाव है, वहां में खुद जा रहे हैं और प्रचार कर रहे हैं. हिमाचल प्रदेश में आखिरी चरण में चुनाव हैं. ऐसे में यहां टिकट आवंटन के लिए वक्त है. मुख्यमंत्री का कहना है कि जनता ने बिके हुए विधायकों और भारतीय जनता पार्टी को सबक सिखाने का मन बना लिया है. मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू चार लोकसभा सीट के साथ छह विधानसभा क्षेत्र में होने जा रहे उपचुनाव में जीत के लिए आश्वस्त हैं.
ट्रेडिंग न्यूज
टॉप हेडलाइंस
and tablets