![metaverse](https://cdn.abplive.com/imagebank/metaverse-top.png)
Gujarat News: गुजरात में आवारा मवेशियों के लिए आश्रय गृह का होगा निर्माण, सरकार 10 करोड़ रुपये करेगी निवेश
Stray Cattle in Gujarat: गुजरात में अब चरवाहे अपने घरेलू मवेशियों को आश्रय गृह में रख सकते हैं. गुजरात सरकार ने इसकी घोषणा कर दी है. सरकार इसके लिए 10 करोड़ रुपए आवंटित करेगी.
![Gujarat News: गुजरात में आवारा मवेशियों के लिए आश्रय गृह का होगा निर्माण, सरकार 10 करोड़ रुपये करेगी निवेश Gujarat Shelter home for stray cattle to be constructed government will invest 10 crore Rupees Gujarat News: गुजरात में आवारा मवेशियों के लिए आश्रय गृह का होगा निर्माण, सरकार 10 करोड़ रुपये करेगी निवेश](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2022/08/25/579cc0e5e9dccb3bca397e599b538be61661404988802359_original.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=1200&height=675)
Shelter Home for Stray Cattle: सरकार ने घोषणा की है कि वह चरवाहों को अपने घरेलू मवेशियों को आश्रय गृह (Shelter Home) (पंजरापोल) में रखने की अनुमति देगी, जिसका खर्च राज्य सरकार वहन करेगी. शिक्षा मंत्री और प्रवक्ता जीतू वघानी (Jitu Vaghani) ने कहा कि यह अधिक आश्रय गृह (Shelter Home) भी बनाएगा जिसके लिए वह 10 करोड़ रुपये आवंटित करेगा. वघानी ने कहा कि एक साथ आठ नगर निगमों और 156 नगरपालिका क्षेत्रों में, स्थानीय निकाय सड़कों को मुक्त रखने और दुर्घटनाओं को कम करने के लिए आवारा पशुओं (Stray Animals) को पकड़ना जारी रखेंगे.
आश्रय गृह में होगी पर्याप्त पानी और चारे की व्यवस्था
राज्य इन आश्रयों में पर्याप्त पानी और चारे की व्यवस्था सुनिश्चित करेगा. इससे पहले बुधवार को गुजरात हाई कोर्ट (Gujarat High Court) ने आवारा पशुओं (Stray Animals) की समस्या पर एक जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए राज्य सरकार की आलोचना करते हुए कहा था कि वह कार्रवाई करे या अदालत इस मुद्दे पर फैसला करेगी और राज्य सरकार को निर्देश देगी.
गुजरात हाई कोर्ट ने अहमदाबाद नगर निगम को दिए ये निर्देश
गुजरात हाई कोर्ट (Gujarat High Court) ने अहमदाबाद नगर निगम (Ahmedabad Municipal Corporation) को लगातार तीन दिनों तक आवारा पशुओं (Stray Animals) को पकड़ने, पशु उपद्रव नियंत्रण विभाग के लिए दो अधिकारी नियुक्त करने और आवारा पशुओं (Stray Animals) के कारण दुर्घटना होने पर प्राथमिकी दर्ज करने को कहा है. गुजरात हाई कोर्ट ने यह भी सवाल किया है कि सड़कों पर मवेशियों के घूमने से होने वाले हादसों में एफआईआर क्यों नहीं दर्ज कराई जाती. वघानी ने कहा कि यदि पशुचारक मांग करते हैं, तो स्थानीय निकाय मवेशियों को आश्रय गृह (Shelter Home) तक ले जाने के लिए परिवहन प्रदान करेंगे.
ये भी पढ़ें:
ट्रेंडिंग न्यूज
टॉप हेडलाइंस
![metaverse](https://cdn.abplive.com/imagebank/metaverse-mid.png)
![डॉ. सब्य साचिन, वाइस प्रिंसिपल, जीएसबीवी स्कूल](https://feeds.abplive.com/onecms/images/author/045c7972b440a03d7c79d2ddf1e63ba1.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=70)