Delhi–Dehradun Expressway News: दिल्ली-देहरादून एक्सप्रेस वे के दूसरे चरण का काम काफी तेजी से चल रहा है. इसे जल्द पूरा कर के मार्च के अंतिम सप्ताह या फिर अप्रैल महीने की शुरुआत में खोले जाने की योजना है. दूसरे चरण का 95 प्रतिशत काम पूरा हो चुका है, बचे हुए काम को भी इस महीने के अंत तक पूरा कर लिया जाएगा. जिसके बाद इस पर लोड टेस्ट और ट्रायल रन किया जाएगा. फिर इसे आम लोगों के लिए खोल दिया जाएगा.


नेशनल हाईवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया (NHAI) के मुताबिक, मार्च के पहले सप्ताह से इस पर लोड टेस्ट शुरू किया जाएगा और उसके बाद दूसरे सप्ताह से इस पर ट्रायल रन शुरू हो जाएगा. वहीं एक्सप्रेसवे के तीसरे चरण को भी मई तक वाहनों की आवाजाही के लिए खोलने की तैयारी है. इन दोनों चरणों के खुलने पर अरक्षाम स्थित दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेसवे से बागपत के खेकड़ा स्थित ईस्टर्न पेरिफेरल से सीधे जुड़ जाएगा. जिससे ईस्ट दिल्ली से बागपत, शामली और ईस्टर्न पेरिफेरल होते हुए हरियाणा में सोनीपत की तरफ का आवागमन सुगम हो जाएगा. 


लोनी बॉर्डर से बागपत के खेकड़ा तक हो रहा 16.60 किलोमीटर का एक्सप्रेस वे तैयार
वहीं दूसरे चरण में दिल्ली स्थित लोनी बॉर्डर से बागपत के खेकड़ा तक 16.60 किलोमीटर का एक्सप्रेस वे तैयार किया जा रहा है. इसमें से 12 किलोमीटर लंबे एलिवेटेड कॉरिडोर के पिलर और गार्डर रखने का काम काफी पहले पूरा किया जा चुका है. सड़क बनाने के काम भी लगभग पूरा किया जा चुका है. जो थोड़ा बहुत काम बचा है, उसे भी अगले 20 दिनों के भीतर पूरा कर लिया जाएगा. इसके अलावा एलिवेटेड कॉरिडोर के साथ ही नीचे सर्विस रोड बनाने का काम भी पूरा हो चुका है. जबकि, करीब ढाई किलोमीटर के हिस्से में नाला बनाने का काम चल रहा है, जिसे 25 फरवरी तक पूरा कर लेने की योजना है.


अक्षरधाम से यूपी बॉर्डर तक एलिवेटेड कॉरिडोर का 95 प्रतिशत काम पूरा
बता दें कि दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेसवे के पास अक्षरधाम से शुरू होकर शास्त्री पार्क, गांधी नगर के रास्ते यूपी बॉर्डर तक करीब 15.50 किलोमीटर लंबे पहले चरण के इस हिस्से में करीब 95 प्रतिशत एलिवेटेड रोड है. जिसका 85 प्रतिशत काम पूरा हो चुका है, जबकि बाकी काम मार्च के अंतिम सप्ताह तक पूरा कर लेने की योजना है. इसके अलावा सहारनपुर स्थित गणेशपुर से देहरादून के बीच तीन पैकेज भी 31 मार्च तक बनकर तैयार हो जाएगा. इन्हें अप्रैल में लोगों के लिए खोल दिया जाएगा, लेकिन ईस्टर्न पेरिफेरल एक्सप्रेस वे से गणेशपुर के बीच काम की गति धीमी है, जिसके चलते 210 किलोमीटर लंबे इस पूरे एक्सप्रेस वे को तैयार होने में नवंबर तक का समय लग सकता है.


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