Indian Cricketers Engineering Degree: भारत एक ऐसा देश है, जहां से हर साल बड़ी संख्या में कॉलेजों से छात्र इंजीनियरिंग की पढ़ाई पूरी करके निकलते हैं. लेकिन आज हम आपको कुछ ऐसा बताने जा रहे हैं, जिसके बारे में बेहद कम क्रिकेट फैंस को जानकारी होगी. कुछ ऐसे भारतीय क्रिकेटर हैं, जिन्होंने क्रिकेट की दुनिया में कदम रखने से पहले इंजीनियरिंग की डिग्री पूरी की. आज हम इंजीनियरिंग की डिग्री हासिल करने वाले भारतीय क्रिकेटरों पर एक नजर डालेंगे.


रविचंद्रन अश्विन


35 वर्षीय भारतीय ऑफ स्पिनर अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट में दुनिया के सबसे बेहतरीन स्पिनरों में से एक हैं. भारतीय टीम की तरफ से अश्विन 79 टेस्ट, 111 वनडे और 46 टी-20 मुकाबले खेल चुके हैं. लेकिन बेहद कम लोग जानते होंगे कि अश्विन इंजीनियरिंग की डिग्री हासिल कर चुके हैं. रविचंद्रन अश्विन के पास एसएसएन कॉलेज ऑफ इंजीनियरिंग, चेन्नई से सूचना प्रौद्योगिकी में बीटेक की डिग्री है.


श्रीनिवासराघवन वेंकटराघवन


श्रीनिवासराघवन वेंकटराघवन एक पूर्व भारतीय ऑफ स्पिनर हैं. उन्होंने 1965 से 1983 तक देश का प्रतिनिधित्व किया. उन्होंने टीम इंडिया की तरफ से 57 टेस्ट और 15 वनडे खेले. जबकि फर्स्ट क्लास क्रिकेट की बात की जाए तो उन्होंने 341 मैच और लिस्ट एक के 71 मुकाबले खेले. पूर्व भारतीय ऑफ स्पिनर श्रीनिवासराघवन वेंकटराघवन ने चेन्नई के कॉलेज से इंजीनियर की डिग्री प्राप्त की. क्रिकेट से संन्यास लेने के बाद उन्होंने अंपायरिंग भी की.


जवागल श्रीनाथ


पूर्व भारतीय तेज गेंदबाज जवागल श्रीनाथ देश के सबसे तेज और सफल तेज गेंदबाजों में से एक हैं. उन्होंने भारतीय टीम की तरफ से 67 टेस्ट, 229 वनडे मुकाबले खेले. वह अपने वक्त के सबसे घातक तेज गेंदबाजों में से एक थे. उन्होंने श्री जयचामाराजेंद्र कॉलेज ऑफ इंजीनियरिंग, मैसूर से डिग्री हासिल की.


अनिल कुंबले


अनिल कुंबले महान भारतीय स्पिनर हैं, जिन्होंने 1990-2008 तक भारतीय क्रिकेट टीम की तरफ से क्रिकेट खेला. उन्होंने टीम इंडिया के लिए 132 टेस्ट और 271 वनडे मुकाबले खेले. ये बात बेहद कम लोग जानते होंगे कि महान लेग स्पिनर के पास राष्ट्रीय विद्यालय कॉलेज ऑफ इंजीनियरिंग, बैंगलोर से मैकेनिकल इंजीनियरिंग में बीटेक की डिग्री है.


ईएएस प्रसन्ना


एरापल्ली अनंतराव श्रीनिवास प्रसन्ना एक पूर्व भारतीय ऑफ स्पिनर हैं, जिन्होंने 1962 से 1978 तक अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट में अपने देश को अपनी सेवाएं दीं. उन्होंने देश के लिए 49 टेस्ट मैच खेले. वहीं, उन्होंने फर्स्ट क्लास के 235 मुकाबले और लिस्ट एक के 9 मैच खेले. 1961-62 में कुछ टेस्ट खेलने के बाद पूर्व भारतीय क्रिकेटर ने अपनी स्नातक की पढ़ाई खत्म करने का फैसला किया और पांच साल तक टेस्ट क्रिकेट से दूर रहे. उन्होंने 1967 में क्रिकेट में वापसी की. एरापल्ली अनंतराव श्रीनिवास प्रसन्ना के पास नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ इंजीनियरिंग, मैसूर से इंजीनियरिंग की डिग्री है.


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