Go First Resolution: दिवालिया हो चुकी बजट एयरलाइंस गो फर्स्ट (Go First) को लेकर एक बड़ी खबर आई है. समाचार एजेंसी रॉयटर्स की खबर के मुताबिक एयरलाइंस को खरीदने के लिए स्पाइसजेट के सीएमडी अजय सिंह ने गो फर्स्ट ने बोली बढ़ा दी है, लेकिन यह लेंडर्स यानी एयरलाइंस को कर्ज देने वाले बैंकों की उम्मीद के से बहुत कम है. कुछ दिन पहले ही गो फर्स्ट को अपने रिवाइवल के लिए दो बोलियां मिली थीं.  


कितनी बढ़ाई गई बोली


देश में सस्ती हवाई सेवा प्रदान करने वाली एयरलाइंस गो फर्स्ट को खरीदने के लिए स्पाइसजेट के चेयरमैन और मैनेजिंग डायरेक्टर सीएमडी (CMD) अजय सिंह ने बिजी बी एयरलाइंस के साथ मिलकर कंपनी को खरीदने के लिए अपनी बोली में 100 से 150 करोड़ रुपये की बढ़त की है. पहले यह बोली 1600 करोड़ रुपये की थी, लेकिन बैंकों की गुजारिश के बाद दोनों ने अपनी बोली को 100 से 150 करोड़ रुपये तक बढ़ा दिया है. बिजी बी एयरलाइंस के मुख्य शेयरहोल्डर्स में निशांत पिट्टी का नाम भी शामिल है जो ट्रैवल प्लेटफॉर्म EaseMyTrip के सीईओ भी है.


कब दिवालिया हुई गो फर्स्ट?


मई 2023 में गो फर्स्ट ने पहले बार NCLT से दिवालिया होने की प्रक्रिया को शुरू करने की अर्जी लगाई थी. इसके बाद कंपनी को दिवालिया प्रक्रिया के तहत कुल दो वित्तीय बोलियां मिली हैं. एक बोली स्पाइसजेट के सीएमडी अजय सिंह ने लगाई है तो दूसरी बोली शरजाह के स्काई वन एयरवेज (Sky One Airways) द्वारा लगाई गई है. खास बात ये है कि दोनों ही बिडर्स द्वारा लगाई गई बोली बैंकों की उम्मीद से बेहद कम है, ऐसे में बैंकों ने दोनों बिडर्स को अपनी बोली बढ़ाने के लिए आग्रह किया था.


बैंकों की होगी मीटिंग


अपनी दिवालिया फाइलिंग में गो फर्स्ट ने यह जानकारी दी है कि उस पर बैंक ऑफ बड़ौदा, IDBI बैंक, सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया और Deutsche बैंक जैसे बैंकों का कुल 65 अरब रुपये का कर्ज है. रॉयटर्स की रिपोर्ट के मुताबिक अगले हफ्ते गो फर्स्ट को कर्ज दिए बैंकों की मीटिंग होने वाली है. इस बैठक में आगे बिड को बढ़ाने और स्पाइसजेट और बिजी बी की ज्वाइंट बिड के ऑफर पर चर्चा होगी.


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